Agra Double Murder Case: संपत्ति विवाद में भाई बना भाई का दुश्मन... साथ में मारा गया हिस्ट्रीशीटर, खुलासे ने किया हैरान
आगरा में संपत्ति विवाद में एक भाई ने दूसरे की हत्या करवा दी। पुलिस ने 24 घंटे में खुलासा करते हुए भाई भतीजे समेत चार को गिरफ्तार किया। आरोपियों ने पहले गोली मारी फिर लोहे की रॉड से वार कर हत्या की। मृतक के पिता सेवानिवृत्त जेई थे और संपत्ति को लेकर भाइयों में विवाद था। पुलिस ने हत्या में इस्तेमाल हथियार बरामद कर लिए हैं।

जागरण संवाददाता, आगरा: किरावली के पुरामना गांव में युवक की हत्या की साजिश उसके बड़े भाई ने ही रची थी।नाबालिग भतीजे के साथ गांव के दो युवक घात लगाकर खेत पर बैठ गए। फोन करके बुलाने के बाद पहले पिस्टल से गोली मारी।
इससे बचने पर लोहे की रॉड से प्रहार कर युवक और उसके हिस्ट्रीशीटर दोस्त को मार डाला। पुलिस ने भाई और नाबालिग भतीजे समेत चार को गिरफ्तार कर 24 घंटे बाद ही मामले का पर्दाफाश कर दिया। आरोपितों से पिस्टल और लोहे की रॉड भी बरामद कर ली गई है।
अछनेरा के अरदाया निवासी 37 वर्षीय कृष्णपाल सिंह उर्फ केपी और उसके हिस्ट्रीशीटर दोस्त 35 वर्षीय नेत्रपाल रविवार रात को आठ बजे प्लाट पर सबमर्सिवल बंद करने को जाने की कहकर घर से निकले थे। साेमवार सुबह आठ बजे उनके लहूलुहान शव गांव के बाहर धनौली माइनर के पास पड़े मिले थे।हत्याकांड के बाद गुस्साए लोगों ने अछनेरा थाने के बाहर हंगामा करने के साथ ही जाम भी लगा दिया। पुलिस ने जल्द पर्दाफाश का आश्वासन देकर जाम खुलवाया।
सेवानिवृत्त अवर अभियंता पिता की करोड़ों की संपत्ति में बंटवारे का था विवाद
डीसीपी पश्चिमी जोन अतुल शर्मा ने बताया कि इस मामले में मुकदमा दर्ज कराने वाले कृष्णपाल सिंह के भाई अजयपाल को साजिश के आरोप में गिरफ्तार किया है। उनके साथ ही अजयपाल के नाबालिग बेटे, उसके दोस्त मनीष और धर्मेंद्र उर्फ धनेश को भी गिरफ्तार किया है। पूछताछ में पता चला कि अजय पाल का अपने छोटे भाई कृष्णपाल से संपत्ति को लेकर विवाद चल रहा है। उनके पिता लालाराम एक विभाग में जेई थे।
उन्होंने अजय पाल को संपत्ति में देखरेख की जिम्मेदारी दे रखी थी। कुछ संपत्ति उसके नाम कर दी थी। चांदी बेचकर उसे रकम दे दी थी। इसका विरोध कृष्णपाल करता था। वह संपत्ति में हक मांग रहा था। इसको लेकर कई बाद विवाद भी हुआ था। पंचायत में समझाता नहीं हो सका।
लोहे की राड से की दोनों की हत्या, भाई, नाबालिग भतीजे समेत चार गिरफ्तार
इस पर अजयपाल ने हत्याकांड का तानाबाना अपने बेटे के साथ चुना था। बेटे ने मनीष और धनीश को 5.50 लाख रुपये का लालच दिया।20 हजार रुपये एडवांस के रूप में उन्हें दे दिए। रविवार रात को मनीष ने नेत्रपाल को कॉल करके खेत पर बुलाया। उन्हें पता था कि दोनों साथ में आएंगे। ऐसा ही हुआ। दोनों को बाइक से आते देखकर मनीष ने सीधी गोली चला दी, लेकिन वे बच गए।
ऐसे में आरोपितों ने लोहे की रॉड से दोनों पर प्रहार किए। तब तक वे उन पर प्रहार करते रहे, जब तक सांसें नहीं थम गईं। आरोपितों ने कृष्णपाल और नेत्रपाल के मोबाइल तोड़ दिए थे। पिस्टल, दो लोहे की रॉड, टूटे मोबाइल और बाइक बरामद कर ली है।
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