66 के मुन्नालाल ने 57 साल की प्रमिला से रचाई शादी, वृद्धाश्रम में रह रही 90 साल की मां की आखिरी इच्छा हुई पूरी
90 वर्ष की अम्मा के 66 वर्षीय बेटे ने अपनों से संताप झेलने वाली प्रमिला की मांग में सिंदूर सजाकर जीवन साथी बना लिया। उम्र के आखिरी पड़ाव पर बेटे की शादी से अम्मा की आंखें छलक पड़ी। बोलीं आज जीवन का सबसे बड़ा दिन है मेरी बहू आ गई।। गुरुवार को सामाजिक संस्था आगरा विकास मंच की ओर दूल्हा-दुल्हन के जोड़े से लेकर बरात तक के इंतजाम किए गए।

संदीप शर्मा, आगरा। अपनों के तिरस्कार से एकाकी जीवन की मजबूरियों के बीच वृद्धाश्रम में रहने वालों के बीच गुरुवार का दिन खास था। शहनाई बजी, बरात निकली और बुजुर्गों के जीवन में खुशियों की बरसात हुई।
आगरा के वृद्धाश्रम में 90 साल की अम्मा की बहू आई
90 वर्ष की अम्मा के 66 वर्षीय बेटे ने अपनों से संताप झेलने वाली प्रमिला की मांग में सिंदूर सजाकर जीवन साथी बना लिया। उम्र के आखिरी पड़ाव पर बेटे की शादी से अम्मा की आंखें छलक पड़ी। बोलीं, आज जीवन का सबसे बड़ा दिन है, मेरी बहू आ गई। रामलाल वृद्धाश्रम में 321 से ज्यादा बुजुर्ग रहते हैं।
न्नालाल ने शादी नहीं की थी
जालौन के ऑटो रिक्शा चालक 66 वर्षीय मुन्नालाल अपनी बढ़ती उम्र के एकाकीपन को खत्म करने के लिए 90 वर्ष की मां के साथ एक वर्ष पूर्व आश्रम में आए थे। मां बार-बार कहती रही, लेकिन मुन्नालाल ने शादी नहीं की। आश्रम में उन्हें भरा पूरा परिवार मिल गया।
अपनों से तिरस्कार खाई प्रमिला आई थी आश्रम
इसी आश्रम में अपनों के तिरस्कार की दर्दनाक दास्तान लेकर बुलंदशहर से 57 साल की प्रमिला पहुंची थीं। पति और बेटियों की मौत के बाद परिवार वालों ने संपत्ति छीनकर उन्हें घर से निकाल दिया। आश्रम में मुलाकात के बाद प्रमिला मुन्ना लाल की मां के संपर्क में आई और उनसे रिश्ता बन गया। वे मन से मां की सेवा करती थीं।
इसके बाद मुन्नालाल और प्रमिला के एक-दूसरे का सहारा बनने की बात चली। आश्रम प्रबंधन ने इस रिश्ते को पूरा करने का फैसला लिया।
आगरा विकास मंच ने बरात तक के इंतजाम किए
गुरुवार को सामाजिक संस्था आगरा विकास मंच की ओर दूल्हा-दुल्हन के जोड़े से लेकर बरात तक के इंतजाम किए गए। सुबह दस बजे से बरात निकली और विवाह की रस्में पूरी कराई गई। आश्रम अध्यक्ष शिवकुमार शर्मा ने दुल्हन प्रमिला के पिता के रूप में कन्यादान किया।
हमने समाज को संदेश देने की पहल की है : आगरा विकास मंच के अध्यक्ष
राजकुमार जैन और संयोजक सुनील जैन का कहना था कि इस विवाह ने समाज को संदेश देने की कोशिश है कि हर उम्र में खुशी मिल सकती है। विधवा हो चुकी महिलाओं को भी खुशहाली भरा जीवन जीने का अधिकार है। एकल बुजुर्गों के पुनर्विवाह को बढ़ावा देने के लिए संस्था अभियान चलाएगी।
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