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    Satellite Connectivity के जरिये ऐपल यूजर्स को अब वीडियो कॉल की भी सुविधा दे सकता है

    By Kritarth SardanaEdited By:
    Updated: Fri, 16 Dec 2022 05:07 PM (IST)

    Satellite Connectivity को Apple ने इस साल iPhone 14 सीरीज के साथ पेश किया था। इस फीचर के जरिये आपतकाल में आईफोन यूजर्स कॉल और मैसेज भेज सकते हैं लेकिन अब कंपनी इससे आगे की योजना बना रही है। जानिए ऐप्पल की योजना के बारे में।

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    iPhone 14 photo credit - Apple India

    नई दिल्ली, टेक डेस्क। iPhone 14 सीरीज के साथ apple ने Satellite Connectivity का फीचर भी पेश कर दिया था। ऐप्पल से पहले यह फीचर और किसी भी कंपनी ने अपने स्मार्टफोन में नहीं दिया था। iOS 16.2 के अपडेट के बाद यह फीचर यूएस, कनाडा, यूके, यूरोप के साथ फ़्रांस, जर्मनी, और आयरलैंड जैसे कुछ अन्य देशों में भी उपलब्ध हो चुका है।

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    सैटेलाइट कनेक्टिविटी फीचर के जरिये फिलहाल यूजर्स आपातकाल में ही फोन, SMS करने के साथ ही अपनी लोकेशन को भी शेयर कर सकते हैं। लेकिन अब मीडिया रिपोर्ट के अनुसार ऐप्पल सैटेलाइट कनेक्टिविटी फीचर में कुछ अन्य फीचर्स को भी जोड़ने की योजना बना रहा है।

    अब कौन से फीचर्स जुड़ सकते हैं

    ऐप्पल अब अपने सैटेलाइट कनेक्टिविटी फीचर में इंटरनेट से जुड़े फीचर्स को देने की योजना बना रहा है। रिपोर्ट के अनुसार हाल ही में अमेरिका में इसी फीचर से जुड़ा एक पेटेंट भी देखा गया है जिसका शीर्षक 'कम्युनिकेशन टर्मिनल' है। कंपनी सैटेलाइट कनेक्टिविटी के जरिये यूजर्स को अब वीडियो कॉल करने की सुविधा भी दे सकती है। इसके साथ ही रिपोर्ट के अनुसार इंटरनेट ब्राउज़, ट्वीट, Apple Tv को देखने जैसे फीचर्स भी मिल सकते हैं।

    हालांकि पेटेंट का यह मतलब नहीं है कि आपको अगले आईफोन में यह सभी सुविधा मिल जाएगी। कंपनी अभी इन सभी फीचर्स की टेस्टिंग करेगी। सब कुछ सही रहा तभी कंपनी इन फीचर्स को iPhone में पेश करेगी। ऐसा भी हो सकता है कंपनी इनमें से कोई एक या दो फीचर पेश करें और बाकी फीचर्स को फिर किसी भविष्य के iPhone के साथ पेश करें।

    Satellite Connectivity कैसे काम करती है ?

    यह प्रणाली लो अर्थ ऑर्बिटिंग (LEO Low Earth Orbiting) उपग्रहों के नेटवर्क के माध्यम से काम करती है, जिसका स्वामित्व और संचालन स्वयं कंपनियों द्वारा किया जाता है। लो-अर्थ ऑर्बिट सैटेलाइट कनेक्टिविटी उन सैटेलाइट पर निर्भर होते हैं जो निचली ऑर्बिट में होते हैं और इंटरनेट बीम करने के लिए जाने जाते हैं।

    सेलुलर और वाई-फाई कवरेज से बाहर होने पर ही यह सुविधा उपग्रहों के जरिये यूजर्स को मिलती है। इस सेवा को प्रयोग करने के लिए यूजर को खुली जगह में आने की जरूरत पड़ेगी ताकि Satellite के सिगनल iphone को मिल सके। ऐपल का सैटेलाइट कनेक्टिविटी फीचर उन लोगों पर केंद्रीत है, जो बिना किसी सेलुलर या वाई-फाई कवरेज के कारण कहीं फंस गए हैं।

    क्या भारत में आएगा यह फीचर?

    ऐपल ने फ़िलहाल GlobalStar कंपनी से इस सर्विस के लिए करार किया है। भविष्य में अन्य सैटेलाइट कंपनियों के साथ अपने गठजोड़ कर कंपनी इसका विस्तार कर सकती है। यह सुविधा भारत में भी शुरू हो सकती है लेकिन यह तभी संभव है जब सरकार इसकी अनुमति ऐपल को दें । सामान्य रूप से भारत में Satellite phone इस्तेमाल नहीं कर सकते। 

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