7000mAh देखकर फोन मत खरीदिए, ये फैक्टर तय करते हैं असली बैटरी लाइफ
स्मार्टफोन खरीदते समय बैटरी के साथ-साथ प्रोसेसर, डिस्प्ले और चार्जिंग तकनीक पर भी ध्यान देना चाहिए। आजकल सिलिकॉन कार्बन बैटरी और हाई रिफ्रेश रेट डिस्प्ले चलन में हैं, लेकिन ये बैटरी की खपत को प्रभावित करते हैं। लेटेस्ट प्रोसेसर और अच्छा थर्मल मैनेजमेंट बैटरी लाइफ को बेहतर बनाते हैं। केवल mAh देखकर फोन खरीदना सही नहीं है।

7000mAh देखकर फोन मत खरीदिए, ये फैक्टर तय करते हैं असली बैटरी लाइफ
टेक्नोलॉजी डेस्क, नई दिल्ली। जब भी हम नया स्मार्टफोन खरीदने के लिए मार्केट जाते हैं या ऑनलाइन किसी ई कॉमर्स प्लेटफॉर्म से ऑर्डर करते हैं तो स्मार्टफोन के बारे में दो-तीन बातें जरूर देखते हैं जैसे फोन का कैमरा कैसा है, उसका प्रोसेसर क्या है और उसकी बैटरी कैसी है। अक्सर सोचा जाता है कि जितनी ज्यादा mAh की बैटरी होगी फोन उतनी ज्यादा देर तक चलेगा, लेकिन सच तो यह है कि आज के जमाने में बैटरी लाइफ सिर्फ mAh पर ही डिपेंड नहीं करती, ऐसे कई फैक्टर हैं जो सीधे तौर पर बैटरी पर असर डालते हैं और आपकी सोच से बिल्कुल अलग असलियत सामने लाते हैं। ऐसे में अगर आप भी सिर्फ 6000 या 7000mAh बैटरी देखकर कोई फोन खरीद रहे हैं, तो पहले इन बातों के बारे में जरूर जान लें...
बैटरी साइज के साथ टेक्नोलॉजी का खास रोल
आजकल कई स्मार्टफोन कंपनियां सिलिकॉन कार्बन जैसी नई बैटरी टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर रही हैं, जिससे कॉम्पैक्ट फॉर्म फैक्टर में बड़ी बैटरी देना मुमकिन हो गया है। अब आपको मार्केट में 6000 से लेकर 7500mAh तक की बड़ी बैटरी वाले फोन आसानी से मिल जाएंगे, लेकिन यह जरूरी नहीं है कि ये सभी फोन ज्यादा चलेंगे क्योंकि बैटरी बैकअप पूरी तरह से फोन के हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर ट्यूनिंग पर डिपेंड करता है।
डिस्प्ले बैटरी का बड़ा दुश्मन
आजकल लगभग हर स्मार्टफोन में आपको हाई रिफ्रेश रेट देखने को मिलता है। कुछ फोन में 120Hz से 144Hz तक और यहां तक की हालिया कुछ फोन्स में तो 165Hz तक का रिफ्रेश रेट भी देखने को मिला है, जिससे फोन स्मूथ तो हो जाता है लेकिन बैटरी बहुत ज्यादा खर्च होती है। इसके अलावा, QHD+ डिस्प्ले ज्यादा पावर खर्च करती है जबकि फुल HD डिस्प्ले कम बैटरी खर्च करती है। अगर आपको ज्यादा पावर चाहिए तो एडैप्टिव रिफ्रेश रेट या ऑप्टिमाइज्ड ब्राइटनेस वाला फोन खरीदना बेहतर होगा।

प्रोसेसर भी बेहद खास
फोन में प्रोसेसर यह तय करता है कि बैटरी का कितना अच्छे से इस्तेमाल होना चाहिए। लेटेस्ट चिपसेट वाले डिवाइस पहले से ज्यादा पावर एफिशिएंट हो गए हैं। अगर फोन में प्रोसेसर काफी पुराना है, तो बड़ी बैटरी होने के बावजूद आपको खराब बैटरी बैकअप का अनुभव हो सकता है। खासकर गेमिंग और मल्टीटास्किंग के दौरान यह फोन आपको निराश कर सकता है।
फास्ट चार्जिंग और हीट मैनेजमेंट
आजकल, कई स्मार्टफोन 80 वॉट से लेकर 120 वॉट तक की फास्ट चार्जिंग देते हैं। इससे फोन बहुत तेजी से चार्ज होता है, लेकिन इससे बहुत ज्यादा हीट भी होते हैं। इसलिए, अच्छी बैटरी लाइफ के लिए फोन में अच्छा थर्मल मैनेजमेंट होना भी जरूरी है। इसलिए, ऐसा फोन चुनें जिसमें अच्छा हीट मैनेजमेंट और बैटरी प्रोटेक्शन जैसे फीचर्स हों।

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