Shivling Puja: घर में स्थापित है शिवलिंग, तो जरूर गांठ बांध लें ये जरूरी बातें
घर के मंदिर में शिवलिंग रखना और उनकी नियमित रूप से पूजा-अर्चना करना काफी शुभ माना गया है। लेकिन आपको शिवलिंग पूजा का लाभ तभी मिल सकता है जब आप इससे जुड़े नियमों का ध्यान रखें। ऐसे में चलिए जानते हैं शिवलिंग (Shivling Puja Significance) से जुड़े कुछ जरूरी नियम।

धर्म डेस्क, नई दिल्ली। शिवलिंग, भगवान शिव का ही स्वरूप है। हिंदू धर्म में यह माना जाता है कि शिवलिगं पर जल चढ़ाने मात्र से महादेव प्रसन्न हो जाते हैं और साधक को सुख-समृद्धि का आशीर्वाद देते हैं। अगर आपके घर में भी शिवलिंग विराजमान है, तो ऐसे में आपको कुछ नियमों का ध्यान जरूर रखना चाहिए।
किसी दिशा का रखें शिवलिंग
शिवलिंग को पूर्व दिशा में रखना ज्यादा शुभ माना जाता है। ऐसा करने पर पूजा के दौरान भक्त का मुख भी पूर्व दिशा में ही होगा। इसी के साथ शिवलिंग की जलधारी हमेशा उत्तर दिशा की ओर होनी चाहिए। इस बात का खासतौर से ध्यान रखें कि जल अर्पित करते समय आपका मुख पश्चिम या फिर दक्षिण दिशा की ओर नहीं होना चाहिए।
रखें इन बातों का ध्यान
घर में स्थापित शिवलिंग की नियमित रूप से पूजा-अर्चना करनी चाहिए और जल अर्पित करना चाहिए। साथ ही शिवलिंग और उसके आसपास साफ-सफाई का भी पूरा ध्यान रखें। इसी के साथ घर में हमेशा अंगूठे के आकार जिनता शिवलिंग स्थापित करना चाहिए और घर में एक से ज्यादा शिवलिंग भी नहीं होने चाहिए।
शिवलिंग को कभी भी सीधा जमीन पर न रखें, इसे हमेशा किसी चौकी या फिर ऊंचे स्थान पर रखना चाहिए। अगर आप इन बातों का ध्यान रखने पर साधक के घर-परिवार में सुख-समृद्धि का माहौल बना रहता है।
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न करें ये गलतियां
हमेशा स्नान करने और साफ-सुथरे कपड़े पहनने के बाद ही शिवलिंग की पूजा व अभिषेक करें। भूल से भी शिवलिंग पर ऐसा जल अर्पित न करें, जो साफ न हो, वरना आपको इसके नकारात्मक परिणाम मिल सकते हैं। साथ ही जल चढ़ाते समय अपने मन को शांत रखें और किसी तरह के नकारात्मक विचार मन में न लाएं।
न चढ़ाएं ये चीजें
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार शिवलिंग पर कभी भी तुलसी, शंख या फिर श्रीफल नहीं चढ़ाया जाता। इसके पीछे पौराणिक कथाएं मिलती हैं। इसी के साथ सिंदूर, हल्दी, केतकी और कनेर के फूल, नारियल का पानी व टूटे हुए चावल भी शिवलिंग पर अर्पित करना भी शुभ नहीं माना जाता।
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अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।
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