Shardiya Navratri 2023: शारदीय नवरात्रि पर ऐसे करें कन्या पूजन, जानें सही तरीका
Shardiya Navratri Kanya Pujan 2023 कन्या पूजन करने से साधक को मां की विशेष कृपा प्राप्त होती है। इस महत्वपूर्ण अनुष्ठान में छोटी-छोटी कन्याओं का सम्मान किया जाता है जो देवी दुर्गा के अवतार का प्रतिनिधित्व करती हैं। कन्या पूजा जिसे कंजक पूजा भी कहा जाता है आमतौर पर यह नवरात्रि के आठवें या नौवें दिन की जाती है।

नई दिल्ली, अध्यात्म डेस्क। Shardiya Navratri 2023:15 अक्टूबर को शारदीय नवरात्रि की शुरुआत हो रही है। इस दौरान मां के नौ रूपों की पूजा का विधान है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, कन्याओं को मां का स्वरूप माना गया है। ऐसे में कन्या पूजन करने से साधक को मां की विशेष कृपा प्राप्त होती है। इस महत्वपूर्ण अनुष्ठान में छोटी-छोटी कन्याओं का सम्मान किया जाता है, जो देवी दुर्गा के अवतार का प्रतिनिधित्व करती हैं। कन्या पूजा, जिसे कंजक पूजा भी कहा जाता है, आमतौर पर यह नवरात्रि के आठवें या नौवें दिन की जाती है।
कन्या पूजन विधि -
- कन्याओं के पैर धोकर उन्हें आसन पर बिठाएं।
- उनकी कलाइयों के चारों ओर कलावा बांधें।
- माथे पर कुमकुम लगाएं।
- पूड़ी, हलवा, काला चना और नारियल को प्रसाद के रूप में खिलाएं।
- कन्याओं को दुपट्टे, चूड़ियां और नए वस्त्र उपहार में दें।
- कन्याओं के पैर छूएं और उनका आशीर्वाद लें।
- अंत में दक्षिणा देकर विदाई करें।
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कन्या पूजन का महत्व
इस दिन व्रती छोटी कन्याओं को अपने घर बुलाकर उनको भोजन कराते हैं। ऐसा माना जाता है कि यह अनुष्ठान मां भगवती के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करने के लिए किया जाता है। कंजक में कम उम्र के लड़के और लड़कियों को बुलाने का विधान है। ऐसा माना जाता है कि जो साधक नवरात्रि के दौरान नौ दिन का व्रत रखते हैं और नवरात्रि के अंत में कन्याओं की पूजा करते हैं। उनके घर में हमेशा सुख-समृद्धि का वास होता है।
इसलिए हर किसी को यह पूजन करना चाहिए। बता दें, एक कन्या की पूजा से सौभाग्य की प्राप्ति होती है। दो कन्याओं की पूजा से ज्ञान और मोक्ष की प्राप्ति होती है। वहीं नौ कन्या की पूजा से सर्वोच्चता का आशीर्वाद मिलता है।
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