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    Planet And Your Body Part: जानें कौन सा ग्रह किस अंग को करता है प्रभावित, पढ़ें शरीर के अंगों और रचनाओं से इनका संबंध

    By Kartikey TiwariEdited By:
    Updated: Sun, 09 Aug 2020 07:15 AM (IST)

    Planet And Your Body Part आइए जानते हैं कि कुंडली के नौ ग्रह शरीर के किन अंगों और रचनाओं को नियंत्रित करते हैं।

    Planet And Your Body Part: जानें कौन सा ग्रह किस अंग को करता है प्रभावित, पढ़ें शरीर के अंगों और रचनाओं से इनका संबंध

    Planet And Your Body Part: ज्योतिष में नौ ग्रहों की स्थिति से व्यक्ति की स्थिति के बारे में जानकारी प्राप्त होती है। ऋग्वेद में ज्योतिष तथा चिकित्सा विज्ञान की भी व्याख्या की गई है। दोनों ही एक दूसरे के बिना अधूरे हैं। ज्योतिष के अनुसार, यदि हमें किसी व्यक्ति का जन्म लग्न पता हो तो इस बात की जानकारी की जा सकती है कि व्यक्ति के अंदर किन चीजों की कमी रह गई है। ज्योतिषाचार्य जन्मलग्न को देखकर ही भविष्यवाणी करते हैं कि किस व्यक्ति को किस समय या आयु में कौन सा रोग हो सकता है।

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    आइए जानते हैं कि कुंडली के नौ ग्रह शरीर के किन अंगों और रचनाओं को नियंत्रित करते हैं।

    1. चंद्रमा: चंद्रमा मानव शरीर में खून, हार्मोन्स, मन और जल तत्व नियंत्रित करता है।

    2. सूर्य: सूर्य हमारे शरीर की हड्डियों, आंख, श्वसन तंत्र और जैव विद्युत को नियंत्रित करता है।

    3. बृहस्पति: इस ग्रह का संबंध व्यक्ति के बुद्धि-विवेक से है। इसके अलावा व्यक्ति की यादास्त और नाड़ी तंत्र भी इस ग्रहण के कारण प्रभावित होता है।

    4. मंगल: मंगल ग्रह का सीधा संबंध व्यक्ति के पाचन तंत्र, रक्त कणिकाओं और लिवर से है।

    5. बुध: इस ग्रह का प्रभाव शरीर के त्वचा और तंत्रिका तंत्र पर पड़ता है।

    6. शनि: शनि ग्रह का सीधा संबंध केंद्रीय नाड़ी तंत्र से होता है। वह इसे नियंत्रित करता है।

    7. शुक्र: शुक्र ग्रह ऐश्वर्य का प्रतिनिधि है। यह शरीर में कफ, वीर्य, गुप्तांग आदि को नियंत्रित करता है।

    राहु और केतु क्रमश: आठवें और नौवें ग्रह माने जाते हैं। ये दोनों शरीर के अंदर अपानवायु एवं आकाश तत्व को नियंत्रित करते हैं।

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    ज्योतिष में व्यक्ति को होने वाले रोगों की जानकारी जन्मकुंडली के अलावा, हस्तरेखा, हाथ के पर्वत एवं नाखूनों को देखकर भी लगाया जाता है। कई बार आपने ज्योतिषाचार्य से ग्रहों को शांत कराने या रोगों के निवारण के लिए प्रमुख औषधि या रत्न आदि के बारे में सुना होगा। रत्न और औषधियों का संबंध ग्रहों से होता है। जो ग्रह प्रभावित होता है, उसको संतुलित करने के लिए औषधि और रत्नों का प्रयोग करने को कहा जाता है।