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    Kanaka Dasa Jayanti 2023: कैसे मनाई जाती है कनक दास जयंती? जानें इसका महत्व

    By Vaishnavi DwivediEdited By: Vaishnavi Dwivedi
    Updated: Thu, 30 Nov 2023 10:49 AM (IST)

    Kanaka Dasa Jayanti 2023 कनक दास सबसे प्रसिद्ध भक्ति कवियों में से एक थे और कम उम्र से ही भगवान के प्रति समर्पित हो गए थे। कवि ने अपना पूरा जीवन भगवान को समर्पित कर दिया था। उनका जन्म धनी व्यास परिवार में हुआ था। कवि होने के साथ-साथ वो संगीतकार भी थे और उनके कीर्तन कर्नाटक संगीत में रचित थे।

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    Kanaka Dasa Jayanti 2023: कनक दास जयंती का महत्व

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Kanaka Dasa Jayanti 2023: कनक दास एक महान कवि और समाज सुधारक थे। उन्हें भक्ति गीत की रचना के लिए जाना जाता है। आज कनक दास जयंती है, जो कवि कनकदास की याद में उनके साधक मनाते हैं। इस साल लोग उनकी 524वीं जयंती मनाने जा रहे हैं, जिसका बहुत ही खास महत्व है। इस दिन को पूरे कर्नाटक शहर में समर्पण के साथ मनाया जाता है। कनक दास जयंती कार्तिक माह के 18वें दिन 30 नवंबर यानी आज मनाई जाएगी।

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    कनक दास जयंती का महत्व

    कनक दास जयंती को लोग कवि और समाज सुधारक कनक दास जी की याद में मनाते हैं। इस दिन का बड़ा ही धार्मिक महत्व है, क्योंकि वह सबसे प्रसिद्ध भक्ति कवियों में से एक थे और कम उम्र से ही भगवान के प्रति समर्पित हो गए थे। कवि ने अपना पूरा जीवन भगवान को समर्पित कर दिया था।

    उनका जन्म धनी व्यास परिवार में हुआ था। कवि होने के साथ-साथ वो संगीतकार भी थे और उनके कीर्तन कर्नाटक संगीत में रचित थे। उन्होंने हरिदास साहित्यिक आंदोलन में भी भाग लिया।

    इसके अलावा उन्होंने अपने साहित्यिक कार्यों का उपयोग लोगों में सामाजिक जागरूकता बढ़ाने के लिए किया। वह हमेशा भेदभाव और जाति व्यवस्था के खिलाफ लड़ते थे। रामध्यानचरित्र में उन्होंने जाति व्यवस्था कैसे काम करती है इसके बारे में विस्तार से सब कुछ समझाया है। उनके कीर्तन कन्नड़ भाषा में भी लिखे गए थे, जिससे ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंच सके।

    कनक दास जयंती कैसे मनाई जाती है ?

    कनक दास जयंती कर्नाटक शहर में बेहद उत्साह के साथ मनाई जाती है और शहर में कई सारे सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं, जिसमें कवि की शिक्षाओं, लेखन के बारे में चर्चा की जाती है। साथ ही उनके द्वारा लिखे गए भक्ति गीत गाए जाते हैं।

    यही नहीं समाज के प्रति उनके योगदान के बारे में भी बात किया जाता है। इसके अलावा इस अवसर पर शहर के सभी स्कूल और कॉलेज बंद रहते हैं।

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    डिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'