Rajasthan: शादी के कार्ड से मेहमानों के घर में खिलाइए फूल
Unique Marriage Card. इनका शादी का कार्ड कुछ ऐसा है जिसे गीला कर मिट्टी में गाड कर खाद पानी दिया जाए तो इससे एक पौधा उग सकता है और इसमें खूबसूरत फूल खिल सकते हैं।
जयपुर, मनीष गोधा। Unique Marriage Card. अपनी शादी को यादगार बनाने के लिए हम क्या-क्या नहीं करते, लेकिन हमारी शादी सिर्फ हमारे लिए ही नहीं बल्कि हमारे मेहमानों के लिए भी एक यादगार बन जाए तो कैसा रहे। आपकी शादी का निमंत्रण पत्र ही यह काम कर देगा और जिन्हें आप न्योतेंगे उनके घर में फूल खिला देगा। जयपुर में 16 जनवरी को शादी करने जा रहे अंकित शर्मा और आकांक्षा गोस्वामी अपनी शादी के जरिए ऐसा ही कुछ कर रहे हैं।
इसलिए तैयार कराया विशेष निमंत्रण पत्र
अंकित वायुसेना में लेफ्टनेंट कमांडर है और अभी मुंबई में पदस्थापित हैं। उनकी होने वाली पत्नी आकांक्षा मुंबई में ही शाॅर्ट फिल्मस बनाती हैं। उनकी शादी न सिर्फ उनके लिए यादगार बने, बल्कि शादी में आने वाले लोगों के लिए भी एक अनूठा अनुभव बन जाए, इसके लिए उन्होंने विशेष निमंत्रण पत्र तैयार कराए हैं। निमंत्रण पत्र का कागज कुछ ऐसा है, जिसे गीला कर मिट्टी में गाड़ दिया जाए और खाद पानी दिया जाए तो इससे एक पौधा उग सकता है और इसमें खूबसूरत फूल खिल सकते हैं।
अंकित का कहना है कि यूं तो आजकल शादी के कार्ड काफी महंगे, चमकदार और भारी भरकम होते हैं, लेकिन हमने सोचा कि इस चमक के बजाए कुछ पर्यावरण के बारे में सोचा जाए और मेहमानों को ऐसे कार्ड से न्यौता जाए, जो उनके आंगन में हमेशा मौजूद रहे, क्योंकि आपका कितना भी बड़ा और महंगा कार्ड छपवा लें, बाद में वह रद्दी के ढेर में ही चला जाता है।
अंकित ने बताया कि हमने इधर-उधर कुछ खोज की तो पता चला कि ऐसा हैंडमेड पेपर बनता है, जिसमें किसी पौधे के बीज डलवाए जा सकते हैं। इसे सीड हैंडमेड पेपर कहते हैं। हमने मुंबई से इसी पेपर पर अपनी शादी के कार्ड प्रिंट कराए। यह कार्ड अन्य कार्ड्स के मुकाबले चमकदार नहीं है, क्योंकि इसमें प्रिंटिंग ऐसी करानी होती है कि स्याही कागज में ज्यादा न जा पाए, लेकिन यह कार्ड वैसे बहुत उपयोगी है और हमने जिन को न्यौता है, उन सबके घर में यह कार्ड अब पौधा बन कर उगेगा।
दरअसल, हैंडमेड पेपर बहुत हद तक खुरदुरा होता है और जब यह कागज बनता है, उसी दौरान में इसमें बीज डाल दिए जाते हैं। जयपुर में भी बड़े पैमाने पर हैंडमेड पेपर का काम होता है। जयपुर के सांगानेर में इसकी कई फैक्ट्रियां हैं और यहां से बड़ी मात्रा में हैंडमेड पेपर निर्यात भी होता है। इसी काम से जुड़े नौशाद भाई बताते हैं कि जब यह कागज तैयार होता है, उसी प्रक्रिया में इसमें जिस पौधे के बीज आप चाहते हैं, वह डलवा सकते हैं।
इतना जरूर ध्यान रखना होता है कि बीज बहुत ज्यादा मोटा न हो, अन्यथा वह कागज की मोटाई के साथ सेट नहीं हो पाएगा। उन्होंने बताया कि पर्यावरण की दृष्टि से यह बहुत अच्छा विकल्प है, लेकिन लोगों को इसकी ज्यादा जानकारी नहीं है, इसलिए मांग नहीं के बराबर है। कभी-कभार कोई आता है। इस तरह के कार्ड की लागत करीब 30-40 रुपये पड़ती है जो दूसरे पेपर से बने कार्ड के मुकाबले कम ही है।
ऐसा उगता है पौधा
अंकित शर्मा ने बताया है कि निमंत्रण पत्र को 24 घंटे के लिए पानी में भिगोकर रखे। इसके बाद जब ये कागज की लुगदी में बदल जाए, तब इसे किसी गमले की मिट्टी में रोप दें। अब इसे सूर्य की उपयुक्त रोशनी में प्रतिदिन पानी देते रहें। कुछ ही दिनों में गमले में पौधा उग जाएगा। हमने गेंदे के बीज कार्ड में डलवाए हैं, क्योंकि यह काफी आसानी से उग जाता है।
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