सेटेलाइट मैपिंग के जरिए रखी जाएगी अवैध निर्माण करने वालों पर नजर
पंजाब में अवैध निर्माण करने वालों पर जल्द शिकंजा कसेगा। सेटेलाइट मैपिंग के जरिए इलीगल कंस्ट्रक्शन करने वालों पर नजर रखेगी।
जेएनएन, लुधियाना। पंजाब में आने वाले समय में अवैध निर्माण करना आसान नहीं होगा, क्योंकि सरकार अब सेटेलाइट मैपिंग के जरिए अवैध निर्माण करने वालों पर नजर रखेगी। इसके तहत पंजाब सरकार जल्द ही पंजाब रिमोट सेंसिंग सेंटर (पीआरएससी) लुधियाना के साथ एक एमओयू हस्ताक्षर करने जा रही है। यह स्थानीय निकाय मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू ने दी।
सिद्धू वीरवार को पीआरएससी में इंडियन सोसाइटी ऑफ जियोमेटिक्स लुधियाना चैप्टर व पंजाब रिमोट सेंसिंग सेंटर की ओर से संयुक्त रूप से आयोजित नेशनल कांफ्रेंस में पहुंचे थे। सिद्धू ने कहा कि पंजाब में करीब साढ़े आठ हजार के करीब अवैध कालोनियां सामने आई है। अब भी कई जिलों में निगम की जमीनों, शामलाट जमीनों पर कब्जे हैं। यह कब्जे व अवैध कालोनियां अपनेआप नहीं बने हैं। इसमें अफसरों की सांठगांठ है।
उन्होंने कहा कि इसी सांठगांठ को खत्म करने के लिए अब वह विज्ञान व टेक्नोलॉजी का सहारा लेंगे और टैक्स चोरों का पर्दाफाश करेंगे। उन्होंने कहा कि जल्द ही पंजाब रिमोट सेंसिंग सेंटर के साथ हम एमओयू साइन करेंगे। जिसके पूरे पंजाब की सेटेलाइट मैपिंग होगी। इस मैपिंग के तहत पंजाब के एक-एक घर, एक-एक बिल्डिंग और एक-एक कंस्ट्रक्शन का पता लग जाएगा।
इमारतों की हाइट से यह मालूम चल सकेगा कि इमारतों की कंस्ट्रक्शन लीगल है या नहीं। पंजाब के लिए यह कदम मार्गदशक होगा। इससे अवैध निर्माण व कब्जे करने वाले बच नहीं पाएंगे। सिद्धू ने कहा कि पंजाब पहला स्टेट होगा जो कंपलीट सेटेलाइट मैपिंग करेगा। पंजाब की इकोनोमी के लिए बहुत बड़ा कदम होगा। इससे टैक्स चोरों को दबोचने में मदद मिलेगी।
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