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लुधियाना के साहनेवाल खुर्द में बाहरी लोगों को अंतिम संस्कार से पहले पुलिस व सरपंच को देनी होगी सूचना

लुधियाना में साहनेवाल खुर्द के श्मशानघाट में बाहरी लोगों को अंतिम संस्कार करने से पहले स्थानीय सरपंच और पुलिस को सूचित करना होगा। अगर किसी बाहरी व्यक्ति ने अंतिम संस्कार कर दिया और सरपंच या पुलिस को सूचित नहीं किया तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी।

By Vinay KumarEdited By: Published: Wed, 26 May 2021 10:36 AM (IST)Updated: Wed, 26 May 2021 10:36 AM (IST)
साहनेवाल खुर्द में बाहरी लोगों को अंतिम संस्कार से पहले पुलिस व सरपंच को सूचना देनी होगी।

लुधियाना [राजेश भट्ट/गुरमीत सिंह]। साहनेवाल खुर्द के श्मशानघाट में बाहरी लोगों को अंतिम संस्कार करने से पहले स्थानीय सरपंच और पुलिस को सूचित करना होगा। गांव के सरपंच ने श्मशानघाट पर इस संबंध में बकायदा बोर्ड लगा दिया है। इसमें यह भी लिखा है कि अगर किसी बाहरी व्यक्ति ने अंतिम संस्कार कर दिया और सरपंच या पुलिस को सूचित नहीं किया तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी। कुछ दिन पहले गांव में किराये पर रहने वाले करनैल सिंह ने आरोप लगाया था कि पत्नी हरजीत कौर की मौत के बाद उसे श्मशानघाट में अंतिम संस्कार करने से रोका गया था। इसके बाद उसे साहनेवाल के श्मशानघाट में अंतिम संस्कार करवाना पड़ा। उसने आरोप लगाया था कि उन्हें इसलिए अंतिम संस्कार की इजाजत नहीं दी गई क्योंकि वह किराये पर रहते हैं।

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कुछ दिन पहले एक आडियो भी हुई थी वायरल

कुछ दिन पहले इंटरनेट मीडिया पर एक आडियो भी वायरल हुई। बताया जा रहा है कि इसमें करनैल सिंह के एक जानकार ने सरपंच के पति को फोन किया और उनसे गांव के श्मशानघाट में अंतिम संस्कार की इजाजत मांगी, लेकिन उन्हें इजाजत नहीं दी गई। उनसे कहा गया कि वे किराएदारों और बाहरी लोगों को संस्कार करने की इजाजत नहीं देंगे।

गांव में 10 हजार से ज्यादा किराएदार : साहनेवाल खुर्द सानी गांव के आसपास इंडस्ट्रियल एरिया है। फैक्ट्रियों में काम करने वाले ज्यादातर लोग यहां पर किराये पर रहते हैं। हालांकि किरायेदारों की सही संख्या के बारे में सरपंच को भी जानकारी नहीं है।

हमने किसी भी किरायेदार को श्मशानघाट में संस्कार करने से नहीं रोका। जो लोग गांव में नहीं रहते हैं और बाहर से यहां आकर संस्कार करते हैं उन्हें पंचायत व पुलिस से अनुमति लेनी होगी। उनके लिए बोर्ड लगाया गया है।

रजिंदर सिंह, सरपंच जसबीर कौर के पति।

गांव से बाहर के लोगों को संस्कार से पहले सूचना देने के लिए इसलिए कहा जाता है ताकि संंस्कार करने वाली की जानकारी रहे। कानूनी प्रक्रिया के दौरान गांव के सरपंच से पूछताछ होती है। श्मशानघाट में बोर्ड लगाया गया है इसकी जानकारी नहीं है।

बलविंदर सिंह, एसएचओ थाना साहनेवाल।

मुझे इस बारे में पता नहीं है गांव के सरपंच से बात करूंगा कि बोर्ड लगाने की जरूरत क्यों पड़ी। इस मामले में अभी कोई टिप्पणी नहीं कर सकता।

शरणजीत सिंह ढिल्लों, विधायक व नेता सदन अकाली दल।

गांव में रहने वाले लोगों को अंतिम संस्कार के लिए नहीं रोका जा सकता है। हमारे पास किसी ने अभी इस तरह शिकायत नहीं दी है। इस मामले को चेक करवाता हूं।

अमरजीत सिंह बैंस, एडीशनल डिप्टी कमिश्नर (जनरल)।

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