Move to Jagran APP

Chandigarh: पंजाब व राजस्थान का हिसाब-किताब बराबर, BJP प्रदेश प्रधान ने राजस्थान में कांग्रेस की हार पर किया तंज

राजस्थान के चुनाव परिणाम में पंजाब के साथ एक अजब संयोग जुड़ा हुआ है। 2022 में पंजाब में हुए विधान सभा चुनाव में राजस्थान के हरीश चौधरी पंजाब के प्रभारी थे। जबकि 2023 में राजस्थान में हुए विधान सभा चुनाव में सुखजिंदर रंधावा प्रभारी थे जोकि पंजाब से हैं। इस पर भाजपा के प्रदेश प्रधान सुनील जाखड़ ने राजस्थान में कांग्रेस की हार पर तंज कसा है।

By Kailash Nath Edited By: Shoyeb AhmedPublished: Sun, 03 Dec 2023 08:42 PM (IST)Updated: Sun, 03 Dec 2023 08:42 PM (IST)
भाजपा के प्रदेश प्रधान ने राजस्थान में कांग्रेस की हार पर किया तंज

कैलाश नाथ, चंडीगढ़। राजस्थान के चुनाव परिणाम में पंजाब के साथ एक अजब संयोग जुड़ा हुआ है। 2022 में पंजाब में हुए विधान सभा चुनाव में राजस्थान के हरीश चौधरी पंजाब के प्रभारी थे। जबकि 2023 में राजस्थान में हुए विधान सभा चुनाव में सुखजिंदर रंधावा प्रभारी थे, जोकि पंजाब से हैं।

loksabha election banner

अहम बात यह है कि चौधरी के नेतृत्व में पंजाब में कांग्रेस को सत्ता से दूर जाना पड़ा था और वहीं स्थिति राजस्थान में है। सुखजिंदर रंधावा के प्रभारी रहते हुए कांग्रेस को सत्ता से दूर जाना पड़ा। बस एक ही बात दोनों नेताओं को अलग बनाती है। सुखजिंदर रंधावा अपना विधान सभा चुनाव जीत गए थे। जबकि हरीश चौधरी बाईतू से अपना चुनाव हार गए।

पंजाब में हिसाब-किताब बराबर

राजस्थान के चुनाव में कांग्रेस को मिली हार के बाद पंजाब कांग्रेस में यह चर्चा चल रही रही है कि पंजाब ने अपना हिसाब-किताब बराबर कर लिया है। 2022 के विधान सभा चुनाव में हरीश चौधरी के पास प्रदेश प्रभारी की कमान थी।

जबकि 2021 में कैप्टन अमरिंदर सिंह को मुख्यमंत्री पद से हटाने व उनके स्थान पर नए मुख्यमंत्री को लाने के लिए बनी कमेटी में हरीश चौधरी शामिल थे। यह वह समय था जब पंजाब में कांग्रेस बेहद मजबूत स्थिति में थी लेकिन मुख्यमंत्री को बदलने के बाद से स्थितियों में बदलाव आना शुरू हो गया।

ये भी पढे़ं- द्रष्टिबाधित श्रेणी में मिला राष्ट्रपति पुरस्कार, पंजाब के शिक्षा मंत्री ने कहा- हमें तुम पर गर्व है दिव्या

चन्नी व सिद्धू के बीच पूरे चुनाव के दौरान बनी रही टकराव की स्थिति 

चरणजीत सिंह चन्नी के मुख्यमंत्री बनने के बाद तत्कालीन प्रदेश प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू अति महत्वाकांक्षी बनकर उभरे। चन्नी और सिद्धू के बीच पूरे चुनाव के दौरान टकराव की स्थिति बनी रही। जिसे संभालने में हरीश चौधरी पूरी तरह से विफल साबित हुए थे। चन्नी और सिद्धू के खींचतान के कारण ही पंजाब में कांग्रेस 77 से मात्र 18 सीटों पर सिमट कर रह गई।

वहीं, राजस्थान के चुनाव में पार्टी ने सुखजिंदर रंधावा को प्रदेश प्रभारी की जिम्मेदारी सौंपी। दोनों राज्यों की स्थिति एक जैसी ही थी। 2022 में पंजाब में कांग्रेस की सरकार थी तो राजस्थान में अशोक गहलोत की लेकिन परिणाम एक जैसे ही रहे। एक तरफ जहां हरीश चौधरी पंजाब में कोई चमत्कार नहीं दिखा पाए थे।

भाजपा के प्रदेश प्रधान सुनील जाखड़ ने कांग्रेस की हार पर किया तंज 

वहीं, आप की सुनामी में भी डेरा बाबा नानक से विजय हासिल करने वाले सुखजिंदर रंधावा राजस्थान में कोई चमत्कार नहीं दिखा पाए। भाजपा के प्रदेश प्रधान सुनील जाखड़ ने राजस्थान में कांग्रेस की हार पर तंज कसते हुए कहा हैं ‘राजस्थान के नेता ने जो हाल पंजाब का किया। पंजाब के नेता ने उसका हिसाब-किताब बराबर कर दिया है।’

ये भी पढे़ं- तीन राज्यों में BJP की जीत, प्रदेश कार्यालय में ढोल-नगाड़ों के साथ मनाया जश्न; जाखड़ बोले- कहीं की नहीं रही कांग्रेस


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.