पंजाब में पर्यावरण की सुरक्षा के लिए हाईकोर्ट की सख्ती, बिना अनुमति पेड़ काटने पर होगी कार्रवाई
अदालत की पूर्व अनुमति के बिना पंजाब में पेड़ों की कटाई पर रोक-पर्यावरण संरक्षण पर हाई कोर्ट का सख्त रुख, पंजाब सरकार को नोटिस, जवाब तलब--------राज्य ब ...और पढ़ें

अदालत की पूर्व अनुमति के बिना पंजाब में पेड़ों की कटाई पर रोक (फाइल फोटो)
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। पर्यावरण संरक्षण को लेकर एक महत्वपूर्ण और दूरगामी आदेश पारित करते हुए पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने पूरे पंजाब में अदालत की पूर्व अनुमति के बिना पेड़ों की कटाई पर रोक लगा दी है।
अदालत ने स्पष्ट किया है कि अगली सुनवाई या विशेष अनुमति के बिना राज्य में कहीं भी पेड़ नहीं काटे जाएंगे। यह आदेश मोहाली की एयरपोर्ट रोड पर प्रस्तावित लगभग 250 पेड़ों की कटाई के खिलाफ दायर एक जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान दिया गया।
याचिका में आरोप लगाया गया था कि विकास परियोजनाओं के नाम पर पर्यावरणीय मानकों और वैधानिक प्रक्रियाओं की अनदेखी करते हुए बड़े पैमाने पर पेड़ों की कटाई की जा रही है।
मामले की गंभीरता को देखते हुए हाई कोर्ट ने पंजाब सरकार को नोटिस जारी करते हुए जवाब तलब किया है और पूछा है कि राज्य में विभिन्न परियोजनाओं के तहत हो रही पेड़ों की कटाई को लेकर अब तक क्या ठोस पर्यावरणीय आकलन और वैधानिक अनुमति ली गई है।
यह जनहित याचिका मोहाली निवासी शुभम सेखों द्वारा दायर की गई है। याचिकाकर्ता ने बिना समुचित अनुमति और वैकल्पिक पौधारोपण योजना के पेड़ों की अंधाधुंध कटाई का मुद्दा उठाया गया है।
इसी पृष्ठभूमि में अदालत ने राज्यव्यापी स्तर पर सख्त रोक लगाने का फैसला किया। हाई कोर्ट ने संकेत दिए कि पर्यावरण संतुलन और नागरिकों के स्वच्छ जीवन के अधिकार को विकास की आड़ में कुर्बान नहीं किया जा सकता।
अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि जब तक प्रत्येक मामले में न्यायिक निगरानी और विधिक प्रक्रिया का पालन सुनिश्चित नहीं किया जाएगा, तब तक ऐसी गतिविधियों की अनुमति नहीं दी जा सकती। मामले की अगली सुनवाई पर पंजाब सरकार को अपना विस्तृत रुख और रिकॉर्ड अदालत के समक्ष प्रस्तुत करना होगा।

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