फिरौती के कॉल, फोनों की बरामदगी... सब बताओ, लॉरेंस बिश्नोई इंटरव्यू केस में HC सख्त; जेल के ADGP को दिए कड़े निर्देश
पंजाब की जेल में गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के इंटरव्यू मामले में हाईकोर्ट ने सख्त रुख अपनाया है। अदालत ने एडीजीपी जेल अरुण पाल सिंह को निर्देश दिया है कि वे पिछले तीन महीनों में जेलों से बरामद मोबाइल फोन फिरौती की कॉल और अन्य आपराधिक गतिविधियों से जुड़े मामलों की विस्तृत जानकारी 19 मार्च को अगली सुनवाई में पेश करें।

राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। Punjab News: पंजाब की जेल में गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के इंटरव्यू (Lawrence Bishnoi Interview) मामले में हाईकोर्ट ने कड़ा रुख अपनाया है।
अदालत ने एडीजीपी )जेल) अरुण पाल सिंह को निर्देश दिया है कि वे पिछले तीन महीनों में जेलों से बरामद मोबाइल फोन, फिरौती की कॉल और अन्य आपराधिक गतिविधियों से जुड़े मामलों की विस्तृत जानकारी 19 मार्च को अगली सुनवाई में पेश करें। हाईकोर्ट ने कहा कि वह यह देखना चाहता है कि उसके आदेशों के बाद पंजाब सरकार ने क्या कार्रवाई की है।
जांच जारी, डीजीपी अगली सुनवाई में सौंपेंगे रिपोर्ट
मामले की जांच कर रहे डीजीपी (कारागार) प्रबोध कुमार (Jail ADGP Prabodh Kumar) ने बताया कि जांच जारी है और अगली सुनवाई में अंतरिम रिपोर्ट अदालत को सौंपी जाएगी। कोर्ट ने प्रबोध कुमार को आदेश दिया कि वो सभी पहलुओं पर जांच करे और यह तक देखे कि कोई उच्च अधिकारी इस मामले में शामिल तो नहीं है।
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जेलों में सुरक्षा बढ़ाई गई
एडीजीपी जेल अरुण पाल सिंह ने बताया कि राज्य की आठ जेलों में मोबाइल जैमर, सीसीटीवी कैमरे, बॉडी स्कैनर और कैदियों के लिए फोन कॉलिंग सुविधा उपलब्ध करा दी गई है। जल्द ही आठ और जेलों में यह सुविधाएं लागू की जाएंगी।
पिछली सुनवाई के दौरान पंजाब के अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कारागार) (Jail ADGP) ने हाईकोर्ट को बताया था कि जेलों की सुरक्षा मजबूत करने के लिए कई कदम उठाए गए हैं।
इन उपायों में सीसीटीवी कैमरे, पीआईसीएस (कैदियों के कॉलिंग सिस्टम), बॉडी स्कैनर, और वी-कवच 2.0 जैमर का इस्तेमाल शामिल है। उन्होंने बताया कि 18 जेलों में अब तक 598 मशीनें और 647 स्ट्रैंड लगाए गए हैं।
जैमर के लिए एनओसी लंबित
हालांकि, कुछ जेलों में जैमर लगाने के लिए गृह मंत्रालय से अभी भी एनओसी (NoC) लंबित है। इसके अलावा, आईटीआई लिमिटेड द्वारा आवश्यक प्रमाणपत्र की आपूर्ति में भी देरी हो रही है।
पंजाब पुलिस (Punjab Police) आवास निगम की ओर से हो रही देरी पर जेल विभाग ने सफाई दी कि उन्होंने सभी प्रस्ताव समय पर भेज दिए हैं। अदालत को आश्वासन दिया गया कि इन कार्यों को तेजी से पूरा करने का प्रयास किया जाएगा।
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