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    Chandigarh News: 40 साल पुरानी संजय कॉलोनी पर चला बुलडोजर, एक झटके में 800 झुग्गियों में रहनेवाले लोग हुए बेघर

    Updated: Thu, 24 Apr 2025 01:10 PM (IST)

    चंडीगढ़ की 40 साल पुरानी संजय कॉलोनी को प्रशासन ने गिरा दिया है। इस कार्रवाई से करीब 800 परिवार बेघर हो गए हैं। कई लोगों के पास रहने के लिए ठिकाना नही ...और पढ़ें

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    संजय कॉलोनी के टूटने से झुग्गियों में रहनेवाले 800 लोग बेघर हो गए हैं

    जागरण संवाददाता, चंडीगढ़। 40 साल पुरानी संजय कॉलोनी का नामों निशान मिट गया है। प्रशासन ने इस कॉलोनी को पूरी तरह से खत्म कर दिया है। वीरवार सुबह पांच बजे ही प्रशासन यहां पर बुलडोजर लेकर कार्रवाई करने के लिए पहुंच गया।दोपहर तक दस्ते ने पुलिस दल बल की मौजूदगी में सभी झुग्गियों को तोड़ दिया।

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    कई झुग्गियां पहले से लोग खाली करके चले गए थे लेकिन कई लोग अभी भी वहीं पर बैठे थे जिन्हें बाहर निकालकर प्रशासन ने उन्हें बेघर करते हुए झुग्गी को तोड़ दिया। कई लोग ऐसे भी थे जिनकी कई तीन से चार पीढ़ियों ने भी यहां पर रहे हैं लेकिन आज उन्हें अपना घर मजबूरी में छोड़ना पड़ा। अब अगले सप्ताह सेक्टर-25 की जनता कॉलोनी को हटाने की कार्रवाई की जाएगी यहां पर संजय कॉलोनी से ज्यादा झुग्गियां बनी हुई है।

    नेताओं ने फ्लैट दिलाने का वादा किया लेकिन कुछ हुआ नहीं

    कार्रवाई के बाद भी कई मायूस होकर लोग अपने परिवार के साथ एरिया के पास आसपास बैठे हुए हैं। एक परिवार के अनुसार उनका बेटा किराए पर मकान तलाश करने के लिए गया हुआ है इसलिए वह खुले आसमान पर बैठे हैं। इस कार्रवाई को लेकर लोगाें में काफी रोष है। लोगों का प्रशासन से ज्यादा राजनीतिक दलों के नेताओं के प्रति नाराजगी है लोगों का कहना है कि हर चुनाव में उनका वोट बैंक लेने के लिए नेताओं ने झूठे वायदे करते हुए फ्लैट दिलवाने का वायदा किया लेकिन कुछ नहीं किया।

    इस कार्रवाई से पहले भी भाजपा और कांग्रेस के नेता अधिकारियों से मिले लेकिन प्रशासन ने इन नेताओं की एक नहीं सुनी और कॉलोनी को तय समय पर हटा दिया गया है। नेताओं के कहने पर कार्रवाई एक दिन भी आगे नहीं बढ़ाइ गई। कार्रवाई के दौरान डीसी निशांत यादव और आला अधिकारी भी मौजूद रहे।

    करीब 800 झुग्गियों को हटाया गया

    किसी को भी यहां पर विरोध प्रदर्शन तक नहीं करने दिया गया। नेताओं ने भी इस कार्रवाई से दूरी बनाई रखी क्योंकि नेताओं को भी पता था कि अगर मौके पर गए तो लोगों का गुस्सा झेलना पड़ेगा। संपदा विभाग ने कॉलोनी को हटाते हुए छह एकड़ जमीन को खाली करवाकर इसे कब्जे में लिया है। कार्रवाई के बाद भी पुलिस बल देर रात तक मौके पर मौजूद रहा। यहां पर करीब 800 झुग्गियां बनी हुई थी जिन्हें हटाया गया है।

    आसपास के एरिया में किराए हुए दोगुने

    संजय कॉलोनी के हटाने की कार्रवाई का फायदा कई लोगों ने अपने मकानों का किराया बढ़ाकर भी लिया। कॉलोनी के पास मौलीजागरा, हल्लोमाजरा, दड़वा, रामदरबार और मनीमाजरा का एरिया है यहां पर कॉलोनी में रहने वाले कई लोगाें ने मकान किराए पर लिए हैं।

    एक परिवार के अनुसार पिछले लोकसभा चुनाव में भी हर दल ने दावा किया था मलोया में फ्लैट दिलवाएंगे। इस समय भी मलोया में पुनर्वास योजना के तहत फ्लैट खाली पड़े हैं लोगों का कहना है कि प्रशासन अगर चाहता तो उन्हें किराए पर दे सकता था। जबकि इस कार्रवाई के कारण हल्लोमाजरा में 4 हजार रुपये में एक छोटा कमरा मिल रहा है जबकि मलोया में 10 हजार रुपये महीने किराए पर दो कमरे मिल रहे हैं।

    कई वापस लौट गए गांव

    कार्रवाई के दौरान कई लोग रिक्शों, ऑटो में अपना सामान लेकर जाते दिखे। जबकि कुछ लोगों ने अपने परिवार को कुछ दिन के लिए मूल राज्य के गांव में भेज दिया है। कई लोगों ने पास के स्कूल में बच्चों को पढ़ाई में डाला हुआ था ऐसे में अब उन्हें भी ज्यादा परेशानी का सामना करना पड़ा। कई लाेग तपती गरमी में सिर पर भी सामान उठाकर जाते हुए दिखे।

    एक निवासी राम कुमार ने बताया कि उनके दादा और पिता भी यहां पर रहते थे लेकिन अब एक दम से उन्हें यहां से जाना पड़ रहा है। कई लाेगों को जगह छोड़ने की पीड़ा इसलिए भी ज्यादा थी कि क्योंकि उनका बचपन और जवानी यहां पर ही बीती थी। लेकिन इस कार्रवाई से औद्योगिक क्षेत्र के उद्योगपति खुश है उन्हें उम्मीद है कि कॉलोनी के हटने से अब उनकी प्रापर्टी की कीमत बढ़ जाएगी। कई लोगों का कहना है कि उनके दस्तावेज पूरे हैं, फिर भी प्रशासन उन्हें पक्के मकान देने से इनकार कर रहा है। जो लोग दूसरे एरिया में जा रहे हैं, उन्हें बच्चों को नए स्कूलों में शिफ्ट करना पड़ेगा।

    प्रशासक को लिखा पत्र, बेघर लोगों को दिए जाएं मकान

    कांग्रेस नेता एवं पूर्व पार्षद सतीश कैंथ ने कार्रवाई पर प्रशासक गुलाब चंद कटारिया को पत्र लिखा है जिसमे उन्होंने कहा है कि करीब 1800 परिवारों को उजाड़ दिया गया। जबकि इनमें बहुत से लोगों के प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मिलने वाले मकानों के कागज पूरे थे। कोर्ट के आर्डर के बहाने उन सबको भी उजाड़ दिया जिनको मकान मिलने की आस थी।

    कैंथ ने कहा कि जब वह इस वार्ड से साल 2012-13 में पार्षद रहते हुए डिप्ट मेयर थे तो उस समय कॉलोनी-4 और संजय कॉलोनी को धनास, मालोया में पूर्व केंद्रीय मंत्री पवन कुमार बंसल के रहते पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह द्वारा पहली बार चंडीगढ़ के लोगों को मकान मिले थे। जो लोग ऐसे रह गए थे उनको भी कांग्रेस ने आगे मकान आवंटित करने का वायदा किया था। लेकिन साल 2014 में कांग्रेस की सरकार नहीं बनी, यहां से भाजपा का सांसद दस तक रहा।

    उन्होंने इन लोगों के लिए कोई कदम नहीं उठाया। अभी इन गरीब लोगों के बच्चों का दाखिला नजदीक के स्कूलों में हुआ था उन बच्चों के साथ बहुत बड़ा अन्यय आज हुआ है। इन लोगों को कोई पक्के रैन बसेरों मे या धनास, मलोया, मौलीजागरा में खाली पड़े फ्लैट में शिफ्ट किया जाए।

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