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    'आज अगर बालासाहेब जीवीत होते और देखते...' श्रीकांत शिंदे ने Waqf Bil का विरोध कर रह उद्धव गुट की लगाई क्लास

    Updated: Wed, 02 Apr 2025 05:35 PM (IST)

    शिवसेना नेता श्रीकांत शिंदे ने कहा कि मैं और मेरे पिता (एकनाथ शिंदे) इस बिल का पूर्ण समर्थन करते हैं। यह एक ऐतिहासिक और महत्वपूर्ण दिन है। पहले अनुच्छेद 370 फिर ट्रिपल तलाक और CAA और अब यह विधेयक गरीबों के कल्याण के लिए इस सदन में लाया गया है। उनका (UBT के अरविंद सावंत) भाषण सुनकर मुझे बहुत दुख हुआ।

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    Waqf Amendment Bill: श्रीकांत शिंदे ने कहा- मैं और मेरे पिता इस बिल का पूर्ण समर्थन करते हैं।(फोटो सोर्स: एएनआई)

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। वक्फ संशोधन बिल (Waqf Amendment  Bill)  आज (02 अप्रैल) लोकसभा में पेश किया गया। इस विधेयक को पारित करने के लिए एनडीए और उसकी सहयोगी पार्टियां एकजुट हैं। वहीं, विधेयक को लेकर चल रही चर्चा में हिस्सा लेते हुए शिवसेना सांसद श्रीकांत शिंदे ने अपनी बात रखी। उन्होंने इस बिल की पैरवी करते हुए शिवसेना UBT पर जमकर निशाना साधा।

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    श्रीकांत शिंदे ने कहा,"मैं और मेरे पिता इस बिल का पूर्ण समर्थन करते हैं। यह एक ऐतिहासिक और महत्वपूर्ण दिन है। पहले अनुच्छेद 370, फिर ट्रिपल तलाक और CAA, और अब यह विधेयक गरीबों के कल्याण के लिए इस सदन में लाया गया है। उनका (UBT के अरविंद सावंत) भाषण सुनकर मुझे बहुत दुख हुआ। यह बहुत चौंकाने वाला था। मैं UBT से एक सवाल पूछना चाहता हूं, उन्हें अपनी अंतरात्मा से पूछना चाहिए कि क्या वे आज बालासाहेब (ठाकरे) जीवित होते तो भी यही बोलते?"

    यूबीटी नेताओं ने बाबासाहेब की  विचारधारा को कुचल दिया: श्रीकांत शिंदे

    उन्होंने कहा,"आज यह स्पष्ट है कि UBT आज किसकी विचारधारा को अपनाकर इस विधेयक का विरोध कर रही है। उनके पास अपनी गलतियों को सुधारने, अपने इतिहास को फिर से लिखने और अपनी विचारधारा को जीवित रखने का सुनहरा अवसर था, लेकिन UBT ने पहले ही उनकी विचारधारा को कुचल दिया। अगर बालासाहेब आज यहां होते और UBT का असहमति नोट पढ़ते, तो उनकी आत्मा को बहुत वेदना होती है।

    श्रीकांत शिंदे ने आगे कहा कि मैं यहां पर यूबीटी का असहमति नोट लेकर आया हूं। पार्टी ने कहा है कि नॉन मुस्लिम मेंबर वक्फ बोर्ड में नहीं होने चाहिए। जो बालासाहब हमेशा हिंदुत्व के लिए लड़ते रहे। आज के समय शिवसेना यूबीटी नेताओं को हिंदुत्व के साथ साथ हिंदुओं से भी एलर्जी होने लगी है।

    'औरंगजेब की पैरवी कर रही यूबीटी'

    शिवसेना यूबीटी ने असहमति नोट में एक और बात कहा की पुराने निजाम, जमींदारों के स्मारक और स्थल का रक्षा होना चाहिए। हम ऐसे ही नहीं कहते हैं कि शिवसेना यूबीटी के नेता औरंगजेब और अफजल खान की प्रॉपर्टी की रक्षा करने का काम कर रहे हैं। जो औरंगजेब, छत्रपति शिवाजी महाराज की हत्या करने महाराष्ट्र आया शिवाजी संभाजी महाराज की हत्या की,  उस औरंगजेब की पैरवी शिवसेना यूबीटी कर रही है।

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