बिहार मतदाता सूची पुनरीक्षण पर संसद में संग्राम, चौथे दिन भी नहीं चल सके सदन; जमकर हुई नारेबाजी
संसद का मानसून सत्र हंगामे की भेंट चढ़ता दिख रहा है। सरकार पहलगाम हमले और ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा के लिए तैयार है लेकिन बिहार मतदाता सूची पुनरीक्षण पर विपक्ष का हंगामा जारी है। राज्यसभा में सेवानिवृत्त हो रहे सदस्यों को विदाई दी गई लेकिन इसके बाद विपक्षी सदस्यों ने फिर हंगामा शुरू कर दिया।

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। जैसी कि मानसून सत्र को लेकर आशंका जताई जा रही थी, बिल्कुल वैसा ही हाल संसद का दिखाई भी दे रहा है। पहलगाम हमला और ऑपरेशन सिंदूर पर तो चर्चा के लिए सरकार सहमत हो गई, लेकिन बिहार मतदाता सूची सघन पुनरीक्षण पर सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच ऐसा संग्राम छिड़ा है कि संसद के दोनों सदन लगातार चौथे दिन भी इसी पर हंगामे की भेंट चढ़ गए।
(फोटो: पीटीआई)
राज्यसभा की कार्यवाही जरूर कुछ देर तक चली, लेकिन सिर्फ सेवानिवृत्त हो रहे छह सदस्यों की विदाई तक ही विपक्षी खेमे ने संयम बरता। राजनीति को गर्माने वाले कुछ ऐसे ताजा मुद्दे हैं, जिनके कारण संसद का मानसून पटरी ही नहीं चढ़ पा रहा है। इस बीच बुधवार को हुई राज्य सभा की कार्य मंत्रणा समिति की बैठक में सरकार और विपक्ष के बीच इस पर सहमति बन गई थी कि राज्य सभा को कम से कम सेवानिवृत्त हो रहे सदस्यों की विदाई के लिए चलाया जाए।
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6 सांसदों का पूरा हो रहा कार्यकाल
हुआ भी यही, गुरुवार को राज्य सभा की कार्यवाही शुरू हुई। कुछ आवश्यक दस्तावेज प्रस्तुत किए गए। उसके बाद उपसभापति हरिवंश नारायण सिंह ने सूचना दी कि तमिलनाडु से ही आने वाले छह सांसद एमडीएमके सदस्य एम. वाइको, डीएमके सदस्य एन. शनगुनम व एम. मोहम्मद अब्दुल्ला, एआईएडीएमके सांसद एम. चंद्रशेखरन व पी. विल्सन और पीएमके से डा. अंबूमणि रामदास का कार्यकाल पूरा हो रहा है।
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ऐसे में नेता सदन जेपी नड्डा, उपनेता प्रतिपक्ष प्रमोद तिवारी सहित दलों के प्रमुख नेताओं ने इन सदस्यों के संसदीय योगदान की सराहना करते हुए विदाई वक्तव्य दिया। यह भी बताया गया कि इनमें से पी. विल्सन का फिर से राज्य सभा में आना तय हो गया है। इन भावपूर्ण वक्तव्यों के लिए उपसभापति ने सदन की सहमति से प्रश्नकाल का भी लगभग आधा घंटा इसमें शामिल करा लिया।
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हंगामे की भेंट चढ़ा एक और दिन
विदाई भाषण पूरे होने के बाज जैसे ही उपसभापति ने शेष 30 मिनट के लिए प्रश्नकाल को आरंभ करना चाहा, वैसे ही विपक्षी सदस्य अपने-अपने स्थान पर खड़े हो गए। बिहार मतदाता सघन पुनरीक्षण के मुद्दे पर हंगामा व नारेबाजी करने लगे। इस पर पहले दोपहर दो बजे तक और फिर पूरे दिन के लिए कार्यवाही को स्थगित करना पड़ा। ठीक इसी तरह लोकसभा में कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी सांसदों ने चुनाव आयोग के मतदाता सघन पुनरीक्षण में धांधली के मुद्दे को उठाते हुए हंगामा-नारेबाजी शुरू कर दी।
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सदन में तख्तियां दिखाने और मेजें थपथपाने को संसदीय गरिमा के विरुद्ध बताते हुए लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने विपक्षी सदस्यों को समझाने और शांत करने का प्रयास किया, लेकिन वह नहीं माने। परिणाम स्वरूप वहां भी प्रश्नकाल तक नहीं चल सका। पहले दो बजे तक और फिर शुक्रवार सुबह 11 बजे तक के लिए कार्यवाही को स्थगित करना पड़ा।
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