Special Olympics: साइकिल चलाने की आदत ने Indu Prakash की बदली जिंदगी, अब मेडल पर हैं निगाहें
भारत के एथलीट स्पेशल ओलंपिक वर्ल्ड समर गेम्स के लिए जोर-शोर से तैयारी कर रहे हैं। इसका आयोजन 17 जनू से 25 जून के बीच बर्लिन में होगा। भारत के 198 एथलीटों का एक दल इस प्रतिष्ठित इवेंट में 16 खेलों में हिस्सा लेगा।

नई दिल्ली, स्पोर्ट्स डेस्क। इंदु प्रकाश (Indu Prakash) 20 साल के हैं और बौद्धिक रूप से अक्षम हैं। इंदु का चार सदस्यों का परिवार एक छोटे से कमरे में रहता है। मां रातभर मेहनत कर अगले दिन सुबह बेचने के लिए चार से पांच सौ इडली बनाती हैं। उनके पिता झारखंड के रांची में रेलवे ट्रैक रखरखाव के प्रभारी हैं। इंदु के साइकिल चलाने की आदत ने उनकी पूरी जिंदगी बदल दी।
दरअसल, भारत के एथलीट स्पेशल ओलंपिक वर्ल्ड समर गेम्स (Special Olympics World Summer Games 2023) के लिए जोर-शोर से तैयारी कर रहे हैं। इसका आयोजन 17 जनू से 25 जून के बीच बर्लिन में होगा। भारत के 198 एथलीटों का एक दल इस प्रतिष्ठित इवेंट में 16 खेलों में हिस्सा लेगा। झारखंड के इंदु प्रकाश साइकिल प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए बर्लिन जाएंगे। आइए जानते इंदु प्रकाश की कहानी।
इंदु को बोलने में होती है दिक्कत
इंदु प्रकाश बौद्धिक अक्षमता के साथ उन्हें बोलने में परेशानी होती है। जब वह 3 या 4 साल के तब उनकी यह समस्या उजागर हुई। अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए संघर्ष करते हुए देख उनके माता-पिता को बहुत दुख होता था। परिवार ने इसे नियति का फल तब मान लिया, जब इंदु के छोटे भाई का जन्म हुआ और वह भी बौद्धिक अक्षमता के पीड़ित हो गया।
अंतरराष्ट्रीय साइकिल ने निखारी प्रतिभा
इंदु परिवार की मदद करने के लिए हमेशा काम करने के लिए साइकिल चलाकर जाते थे। जब वह साइकिल चला कर काम पर जाते थे तो अपने अंदर विकसित हो रही प्रतिभा और फिटनेस को नहीं देख पा रहे थे। एक दिन सहायक क्षेत्र निदेशक (SO) भारत की निगाह उन पर पड़ी। उन्होंने इंदु की प्रतिभा पहचानी और अंतरराष्ट्रीय साइकिल चालक सतबीर सिंह सहोता के पास भेजा। सतबीर सिंह से मार्गदर्शन लेकर इंदु ने कोच नरेंदर हंसा से ट्रेनिंग लेनी शुरु कर दी।
40-50 किमी. रोज चलाते हैं साइकिल
इंदु अब अपने देश के लिए मेडल जीतना चाहते हैं। उनका ध्यान 2023 में बर्लिन, जर्मनी में होने वाले आगामी स्पेशल ओलंपिक विश्व समर खेलों पर केंद्रित है। वह लगभग सुबह और शाम 40 से 50 किलोमीटर साइकिल चलाते हैं। साथ ही रोजाना जिम जाते हैं। यहां, उन्हें नरेंद्र हंसा से सलाह मिली है। साथ ही सतबीर सिंह और एसओ भारत से मार्गदर्शन प्राप्त होता है।
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