Agni-1 Missile: अग्नि-1 मिसाइल का सफल परीक्षण, लक्ष्य को पूरी तरह कर दिया ध्वस्त; जानिए क्या है देश की तैयारी
Agni 1 Missile Test एपीजे अब्दुल कलाम दीप से अग्नि-1 मिसाइल का सफल परीक्षण किया गया। मिसाइल अपने लक्ष्य को ध्वस्त करने में पूरी तरह सफल रही। इस मिसाइल की मारक क्षमता 700 किलोमीटर से लेकर 2500 किलोमीटर तक है। मिसाइल 15 मीटर लंबी और 12 टन वजन की है। रक्षा सूत्रों के अनुसार मिसाइल का परीक्षण पूरी तरह से सफल रहा है।

लावा पांडे, बालेश्वर। मीडियम रेंज की बैलिस्टिक मिसाइल अग्नि एक का एपीजे अब्दुल कलाम दीप से आज गुरुवार को सफल परीक्षण किया गया। मध्यम रेंज की बैलिस्टिक मिसाइल अपने लक्ष्य को ध्वस्त करने में पूरी तरह सफल रही।
अग्नि एक मिसाइल सतह से सतह पर मार करने वाली परमाणु सक्षम मिसाइल है। इसे रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन ने बनाया है। भारत में उड़ीसा के अब्दुल कलाम दीप से अग्नि एक मिसाइल का सफल प्रक्षेपण किया है।
प्रशिक्षण लॉन्च ने मिसाइल के सभी परिचालन और तकनीकी मापदंड को सफलतापूर्वक सत्यापित किया। इस मिसाइल की मारक क्षमता 700 किलोमीटर से लेकर 2500 किलोमीटर तक है। यह मिसाइल 15 मीटर लंबी और 12 टन वजन की है।
मिसाइल का पहला परीक्षण
यह मिसाइल 1000 किलोग्राम तक परमाणु हथियार और क्लस्टर इम्यूनिशन ले जाने में सक्षम है। इस मिसाइल को मोबाइल लांचर से लांच किया जा सकता है। इस मिसाइल का पहला परीक्षण 25 जनवरी 2002 को किया गया था। यह मिसाइल भारतीय सेना के स्ट्रैटेजिक कमांड फोर्स के तहत सिस्टम में आती है।
रक्षा सूत्रों की माने तो इस मिसाइल का परीक्षण आज पूरी तरह से सफल रहा। आज इसके परीक्षण के मौके पर डीआरडीओ यानी की रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन से जुड़े वरिष्ठ अधिकारियों और वैज्ञानिकों का दल मौके पर मौजूद था। डीआरडीओ सूत्रों के अनुसार परीक्षण सभी मापदंडों पर खरा उतरा।
आने वाले दिनों में और क्या होगा?
अग्नि प्रथम भारतीय सशस्त्र बलों के जखीरे में शामिल पहले और एकमात्र ठोस इंजन आधारित मिसाइल है। इस मिसाइल को देश में ही निर्मित किया गया है। सूत्रों की माने तो आने वाले दिनों में और कई बैलिस्टिक तथा क्रूस सीरीज की मिसाइल का भारत परीक्षण करने वाला है, जिसमें कई पुराने मिसाइल समेत कई अत्याधुनिक मिसाइल शामिल रहेंगी।
सूत्र बताते हैं कि जितने भी मिसाइल परीक्षण किए जाते हैं, उनकी मारक क्षमता के साथ-साथ उनके आधुनिकरण में इजाफा और नवीकरण किया जाता रहा है।
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