कौन है Nimisha Priya? यमन में मिली फांसी की सजा, बचाने के लिए भारत सरकार ने बढ़ाया मदद का हाथ
यमन में काम करने गईं भारतीय नर्स निमिषा प्रिया को एक हत्या के मामले में मौत की सजा सुनाई गई है। इस मामले में अब भारत सरकार निमिषा की मदद के लिए आगे आई है। विदेश मंत्रालय के आधिकारिक प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा हमें यमन में निमिषा प्रिया की सजा के बारे में जानकारी है। उन्होंने कहा सरकार इस मामले में हर संभव मदद कर रही है।

पीटीआई, नई दिल्ली। यमन के सुप्रीम कोर्ट ने एक भारतीय नर्स निमिषा प्रिया को मौत की सजा सुनाई है। कोर्ट ने एक नागरिक, तलाल अब्दो महदी की हत्या के मामले में मौत की सजा सुनाई है। इसके बाद अब भारत सरकार निमिषा की मदद को आगे आई है।
मौत की सजा का मामला फिलहाल यमन की राष्ट्रपति के पास है। हालांकि, दया याचिका पर अभी तक राष्ट्रपति ने कोई कार्रवाई नहीं की है। केंद्र सरकार ने शुक्रवार को लोकसभा में यह जानकारी दी। कुछ दिनों पहले यह मामला लोकसभा में भी गूंजा था।
विदेश मंत्रालय ने मंगलवार को कहा कि वह यमन में मौत की सजा का सामना कर रही एक भारतीय नर्स के मामले में प्रासंगिक विकल्पों का पता लगाने के लिए हर संभव मदद कर रहा है।
केरल की रहने वाली निमिशा प्रिया को कथित तौर पर एक यमन नागरिक की हत्या के लिए मौत की सजा सुनाई गई है।
विदेश मंत्रालय के आधिकारिक प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, हमें यमन में सुश्री निमिषा प्रिया की सजा के बारे में जानकारी है। हम समझते हैं कि प्रिया का परिवार प्रासंगिक विकल्पों पर विचार कर रहा है।
उन्होंने कहा, सरकार इस मामले में हर संभव मदद कर रही है।
कौन हैं निमिषा प्रिया?
मिली जानकारी के अनुसार, केरल के पलक्कड़ जिले की रहने वाली निमिषा प्रिया को 2017 में यमन के नागरिक तलाल अब्दो महदी की हत्या के मामले में मौत की सजा सुनाई गई थी।
खबरों के अनुसार, निमिषा 2012 में नर्स के तौर पर यमन गई थीं। 2015 में निमिषा और तलाल ने मिलकर वहां एक क्लीनिक शुरू किया था।
तलाल ने धोखे से क्लीनिक में अपना नाम शेयरहोल्डर के तौर पर शामिल करके आधी आय हड़पने की कोशिश की और खुद को निमिषा के पति के तौर पर पेश किया। जब निमिषा ने इस बारे में पूछताछ की तो दोनों के बीच विवाद शुरू हो गया। तलाल ने उसके साथ मारपीट और यौन शोषण करना शुरू कर दिया।
निमिषा ने तलाल को दिया था नशीला इंजेक्शन
उत्पीड़न से तंग आकर निमिषा ने जुलाई 2017 में तलाल को एक नशीला इंजेक्शन दे दिया जिससे उसकी मौत हो गई। निमिषा का कहना है कि उसका इरादा उसे मारने का नहीं था और वह सिर्फ तलाल के पास मौजूद अपने पासपोर्ट को वापस लेना चाहती थी।
निमिषा की मां प्रेमकुमार ने यमन जाकर अपनी बेटी को बचाने के लिए हर संभव कोशिश की लेकिन यमन की निचली अदालत ने निमिषा को दोषी करार देते हुए मृत्युदंड की सजा सुनाई। वहीं यमन की सुप्रीम कोर्ट ने भी निचली अदालत के फैसले को बरकरार रखा।
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