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    'चांद पर शिवशक्ति और तिरंगा प्वाइंट' पीएम मोदी का एलान, 23 अगस्त को मनाया जाएगा नेशनल स्पेस डे

    By AgencyEdited By: Achyut Kumar
    Updated: Sat, 26 Aug 2023 08:28 AM (IST)

    प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शनिवार को ग्रीस से बेंगलुरु पहुंचे और इसरो के वैज्ञानिकों से मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने वैज्ञानिकों को चंद्रयान-3 की चांद की सतह पर सफल लैंडिंग पर बधाई दी। बेंगलुरु में इसरो वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि चंद्रमा के जिस स्थान पर चंद्रयान-3 उतरा है उसे शिव शक्ति प्वाइंट के नाम से जाना जाएगा।

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    चंद्रमा के जिस स्थान पर चंद्रयान-3 उतरा है, उसे 'शिव शक्ति प्वाइंट' के नाम से जाना जाएगा: पीएम मोदी

    बेंगलुरु, एजेंसी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) शनिवार को ग्रीस से सीधे बेंगलुरु पहुंचे। यहां उन्होंने इसरो टेलीमेट्री ट्रैकिंग एंड कमांड नेटवर्क मिशन कंट्रोल कॉन्प्लेक्स पहुंचकर इसरो चीफ एस सोमनाथ (ISRO Chief S Somanath) और अन्य वैज्ञानिकों से मुलाकात की और उन्हें चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग पर बधाई दी। इस दौरान प्रधानमंत्री ने वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए बड़ा एलान किया।

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    'चंद्रयान-3 के लैडिंग प्वाइंट को शिव शक्ति के नाम से जाना जाएगा'

    पीएम मोदी ने वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए काह कि आप जानते हैं कि स्पेस मिशन के टचडाउन प्वाइंट को एक नाम दिए जाने की वैज्ञानिक पंरपरा है। चंद्रमा के जिस हिस्से पर हमारा चंद्रयान-3 उतरा है, भारत ने उस हिस्से का भी नामकरण करने का फैसला किया है। जिस स्थान पर चंद्रयान-3 का मून लैंडर उतरा है, अब उस प्वाइंट को शिव शक्ति के नाम से जाना जाएगा।

    'मैं आपसे जल्द से जल्द मिलना चाहता था'

    पीएम मोदी ने वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए कहा- मैं आपसे जल्द से जल्द मिलना चाहता था... आपको सलाम करना चाहता था...आपके प्रयासों को सलाम है। आप देश को जिस ऊंचाई पर ले कर गए हैं, ये कोई साधारण सफलता नहीं है। यह अनंत अंतरिक्ष में भारत की वैज्ञानिक सामर्थ्य का शंखनाद है। इंडिया इज ऑन द मून। 

    23 अगस्त को मनाया जाएगा राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस

    पीएम मोदी ने एक और एलान करते हुए कहा कि 23 अगस्त को भारत ने चंद्रमा पर झंडा फहराया था। अब से उस दिन को भारत में राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस के रूप में जाना जाएगा। प्रधानमंत्री ने यह भी बताया कि विशेषज्ञों का कहना है कि कुछ वर्षों में भारत का अंतरिक्ष उद्योग आठ अरब डॉलर से 16 अरब डॉलर का हो जाएगा।

    'कोई भी विफलता अंतिम नहीं होती'

    प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि चंद्रमा की सतह पर वह स्थान, जहां चंद्रयान-2 ने अपने पैरों के निशान छोड़े हैं, उसे 'तिरंगा प्वाइंट' के नाम से जाना जाएगा। यह भारत द्वारा किए गए हर प्रयास के लिए एक प्रेरणा होगी। यह हमें याद दिलाएगा कि कोई भी विफलता अंतिम नहीं होती है। 

    '23 अगस्त का वो दिन...'

    पीएम मोदी ने इस दौरान चंद्रयान-3 की लैंडिंग के अभूतपूर्व पल को भी याद किया। उन्होंने कहा- मेरी आंखों के सामने 23 अगस्त का वो दिन, वो एक-एक सेकंड बार-बार घूम रहा है।

    'मैं दक्षिण अफ्रीका में था, लेकिन मेरा मन आपके साथ था'

    बेंगलुरु में इसरो टेलीमेट्री ट्रैकिंग एंड कमांड नेटवर्क मिशन कंट्रोल कॉम्प्लेक्स में पीएम मोदी ने कहा- आज मैं एक अलग स्तर की खुशी महसूस कर रहा हूं... ऐसे अवसर बहुत कम होते हैं... इस बार, मैं बहुत बेचैन था... मैं दक्षिण अफ्रीका में था, लेकिन मेरा मन आपके साथ था।

    कब हुई चंद्रयान-3 की लैंडिंग?

    चंद्रयान-3 की 23 अगस्त को शाम छह बजकर चार मिनट पर चांद की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग हुई। ऐसा करने वाला वह अमेरिका, सोवियत संघ और चीन के बाद चौथा देश बन गया है। वहीं, चांद के दक्षिणी ध्रुव पर लैंडिंग करने वाला वह दुनिया का पहला देश है। चंद्रयान-3 को 14 जुलाई को दोपहर दो बजकर 35 मिनट पर आंध्र प्रदेश स्थित श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर से लॉन्च किया गया था।