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    Tahawwur Rana: 26/11 हमले के आरोपी तहव्वुर राणा की नई चाल, कोर्ट ने भारत प्रत्यर्पण के खिलाफ दिया अतिरिक्त समय

    Mumbai Terror Attack अमेरिका की एक संघीय कोर्ट ने तहव्वुर राणा को भारत में प्रत्यर्पण के खिलाफ याचिका दायर करने के लिए अतिरिक्त समय की अनुमति दे दी है। तहव्वुर राणा 26/11 मुंबई आतंकी हमले का आरोपी और पाकिस्तानी मूल का कनाडाई व्यवसायी है। राणा अमेरिका में मुंबई आतंकवादी हमले में शामिल होने के लिए मुकदमे का सामना कर रहा है।

    By Jagran NewsEdited By: Abhinav AtreyUpdated: Fri, 06 Oct 2023 08:16 AM (IST)
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    कोर्ट ने राणा को भारत प्रत्यर्पण के खिलाफ याचिका दायर करने के लिए दिया अतिरिक्त समय

    पीटीआई, वाशिंगटन। अमेरिका की एक संघीय कोर्ट ने तहव्वुर राणा को भारत में प्रत्यर्पण के खिलाफ याचिका दायर करने के लिए अतिरिक्त समय की अनुमति दे दी है। तहव्वुर राणा 26/11 मुंबई आतंकी हमले का आरोपी और पाकिस्तानी मूल का कनाडाई व्यवसायी है। राणा अमेरिका में मुंबई आतंकवादी हमले में शामिल होने के लिए मुकदमे का सामना कर रहा है।

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    इसी साल अगस्त में एक अमेरिकी कोर्ट ने तहव्वुर राणा के भारत प्रत्यर्पण पर रोक लगाने का आदेश दिया था। वहीं, भारत में भी तहव्वुर राणा के खिलाफ केस चल रहा है।

    कोर्ट ने 10 अक्टूबर से पहले तर्क देने को कहा था

    मंगलवार को, नौवीं सर्किट कोर्ट में आरोपी तहव्वुर राणा ने प्रत्यर्पण के खिलाफ याचिका दायर की थी, जिसका अनुरोध कोर्ट ने स्वीकार कर लिया। इससे पहले नौवें सर्किट में राणा को 10 अक्टूबर से पहले अपना तर्क प्रस्तुत करने के लिए कहा गया था। कोर्ट के नए आदेश के मुताबिक, राणा की ब्रीफ अब 9 नवंबर को होगी और सरकार का जवाब 11 दिसंबर, 2023 को होगा।

    18 अगस्त को कोर्ट ने प्रत्यर्पण पर रोक के लिए मंजूरी दी

    इससे पहले, 18 अगस्त को कोर्ट ने प्रत्यर्पण पर रोक के लिए राणा की याचिका को मंजूरी दे दी थी ताकि उसकी अपील अमेरिकी अपील अदालत द्वारा सुनी जा सके। तहव्वुर राणा पर मुंबई हमलों में शामिल होने के कई आरोप हैं और उसे पाकिस्तानी-अमेरिकी आतंकवादी डेविड कोलमैन हेडली से जुड़ा माना जाता है। डेविड हेडली 26/11 हमलों के मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक है।

    नौवें सर्किट के लिए अमेरिकी अपील कोर्ट के जज फिशर ने तहव्वुर राणा को 10 अक्टूबर से पहले अपना तर्क प्रस्तुत करने के लिए कहा था और अमेरिकी सरकार को 8 नवंबर तक अपनी प्रतिक्रिया प्रस्तुत करने के लिए कहा था।

    एनआईए भी राणा को भारत लाने के लिए कर रही कार्रवाई

    जज फिशर ने लिखा कि राणा ने दिखाया है कि अगर वो यहां नहीं रुका तो उसे अपूरणीय नुकसान होने की संभावना है। भारत की राष्ट्रीय जांच एजेंसी पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा समूह के आतंकवादियों द्वारा किए गए 26/11 हमलों में राणा की भूमिका की जांच कर रही है। एनआईए ने कहा है कि वह राजनयिक चैनलों के जरिए उसे भारत लाने की कार्रवाई शुरू करने के लिए तैयार है।

    बता दें कि साल 2008 के मुंबई आतंकवादी हमलों में छह अमेरिकियों सहित कुल 166 लोग मारे गए थे। इस हमले में 10 पाकिस्तानी आतंकवादियों ने 60 घंटे से ज्यादा समय तक मुंबई में हमला किया और लोगों की हत्या कर दी थी।

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