मलेशिया के आगे गिड़गिड़ाता रहा पाकिस्तान, नहीं चली इस्लाम की दुहाई; अब हो रही इंटरनेशनल फजीहत
पाकिस्तान ने मलेशिया से भारत के प्रतिनिधिमंडल की यात्रा रद्द करने का अनुरोध किया लेकिन मलेशिया ने इसे अस्वीकार कर दिया। मलेशिया ने भारत को पूर्ण समर्थन दिया और प्रतिनिधिमंडल का दौरा सफल रहा। पाकिस्तान ने कश्मीर मुद्दे का भी इस्तेमाल किया लेकिन उससे भी बात नहीं बनी। मलेशिया के इस रुख को पाकिस्तान की कूटनीतिक विफलता के रूप में देखा जा रहा है।

जागरण न्यूज नेटवर्क, नई दिल्ली। पहलगाम आतंकी हमले और उसके बाद चलाए गए ऑपरेशन सिंदूर पर दुनिया में भारत का पक्ष रखने के लिए भेजे गए प्रतिनिधिमंडलों में से एक की मलेशिया यात्रा को पाकिस्तान ने इस्लामी एकजुटता का हवाला देकर रद करवाने का प्रयास किया था। लेकिन मलेशिया ने पाकिस्तान का हस्तक्षेप खारिज कर दिया।
भारतीय प्रतिनिधिमंडल का दौरा पूरी तरह सफल रहा और मलेशिया ने भारत को पूर्ण समर्थन दिया। मीडिया रिपोर्टों में सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि पाकिस्तानी दूतावास ने मलेशिया के अधिकारियों से जदयू सांसद संजय झा के नेतृत्व वाले भारत के सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल का कार्यक्रम रद करने का अनुरोध किया था। लेकिन मलेशिया ने इसे स्वीकार नहीं किया और भारतीय प्रतिनिधिमंडल का कार्यक्रम निर्धारित योजना के अनुसार पूरा हुआ।
कूटनीतिक तौर पर विफल हुआ पाकिस्तान
सूत्रों ने यह भी बताया कि पाकिस्तान ने भारतीय प्रतिनिधिमंडल का कार्यक्रम रद करवाने के लिए कश्मीर मुद्दे का भी इस्तेमाल किया था, लेकिन उससे भी बात नहीं बनी। मलेशिया के इस रुख को पाकिस्तान की कूटनीतिक विफलता के रूप में देखा जा रहा है।
इस प्रतिनिधिमंडल में झा के अलावा भाजपा सांसद अपराजिता सारंगी, बृजलाल, प्रधान बरुआ एवं हेमंग जोशी, तृणमूल कांग्रेस के सांसद अभिषेक बनर्जी, माकपा सांसद जान ब्रिटास, कांग्रेस सांसद सलमान खुर्शीद और राजनयिक मोहन कुमार शामिल थे। प्रतिनिधिमंडल बुधवार को भारत लौट आया।
संजय झा ने बताया, 'हमने जापान, दक्षिण कोरिया, सिंगापुर, इंडोनेशिया और मलेशिया का दौरा किया। इस यात्रा से चार-पांच महत्वपूर्ण बिंदु उभरकर सामने आए। पहला, सरकार के भेजे सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल ने एक मजबूत संदेश दिया कि आतंकवाद के विरुद्ध पूरा देश एकजुट है।
दूसरा, दुनियाभर के देशों ने आतंकी हमले की स्पष्ट रूप से निंदा की और मारे गए सभी 26 पीड़ितों के प्रति संवेदना व्यक्त की।
तीसरा, भारत ने संयम एवं सटीक हमलों से पाकिस्तान और गुलाम जम्मू-कश्मीर में सिर्फ आतंकी ठिकानों एवं शिविरों को निशाना बनाया।
चौथा, जम्मू-कश्मीर में उड़ानें बहला हो गई हैं, साथ ही जमीनी हालात की समीक्षा के लिए पहलगाम में कैबिनेट बैठक की जा रही है। हमने आग्रह किया कि फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) को पाकिस्तान के विरुद्ध कार्रवाई करनी चाहिए।
'आतंकवाद के विरुद्ध लड़ाई में भारत का समर्थन करना चाहिए'
जॉन ब्रिटास ने कहा, 'हमारा मिशन अन्य देशों को यह संदेश देना था कि उन्हें आतंकवाद के विरुद्ध लड़ाई में भारत का समर्थन करना चाहिए।' अपराजिता सारंगी ने कहा, 'हमने पांच देशों का दौरा किया और हमने महसूस किया कि हर देश भारत के साथ है और आतंकवाद की कड़ी निंदा करता है।'
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