कौन बनेगा देश का अगला CEC? पीएम की अगुवाई वाली बैठक में नाम तय; राष्ट्रपति को भेजी गई सिफारिश
देश का अगला मुख्य चुनाव आयुक्त कौन होगा इसको लेकर नाम फाइनल हो गया है। सूत्रों ने कहा कि कभी भी सीईसी के नाम की घोषणा करने वाली अधिसूचना जारी की जा सकती है। निवर्तमान सीईसी राजीव कुमार 65 वर्ष की आयु पूरा करने के बाद मंगलवार को सेवानिवृत्त होंगे। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु को नए सीईसी के नाम की सिफारिश की गई।

पीटीआई, नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली चयन समिति की सोमवार शाम हुई बैठक में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु को अगले मुख्य चुनाव आयुक्त के नाम की सिफारिश की गई है। मोदी के अलावा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और विपक्ष के नेता राहुल गांधी बैठक वाले पैनल का हिस्सा थे।
सरकार के सूत्रों ने कहा कि कभी भी सीईसी के नाम की घोषणा करने वाली अधिसूचना जारी की जा सकती है। निवर्तमान सीईसी राजीव कुमार 65 वर्ष की आयु पूरा करने के बाद मंगलवार को सेवानिवृत्त होंगे। सूत्रों के मुताबिक, समझा जाता है कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने सरकार से चयन पैनल की संरचना को चुनौती देने वाली याचिका पर 19 फरवरी को सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई तक नए सीईसी पर अपना फैसला टालने के लिए कहा।
क्या बोली कांग्रेस?
वहीं, कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंगवी ने कहा कि भारत के मुख्य न्यायाधीश को चयन समिति से हटाकर सरकार ने यह स्पष्ट कर दिया कि वह चुनाव आयोग पर नियंत्रण चाहती है न कि उसकी विश्वसनीयता बनाए रखना चाहती है। उन्होंने कहा कि यह सिर्फ 48 घंटे का मामला था और सरकार को याचिका पर जल्द सुनवाई के लिए शीर्ष अदालत का दरवाजा खटखटाना चाहिए था।
खोज समिति की हुई स्थापना
बता दें कि मुख्य चुनाव आयुक्त के चयन के लिए केंद्र सरकार ने हाल ही में केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल के नेतृत्व में एक खोज समिति की स्थापना की है। यह समिति अगले मुख्य चुनाव आयुक्त के पद के लिए संभावित उम्मीदवारों को शॉर्टलिस्ट करने के लिए जिम्मेदार है। इसका उद्देश्य है कि सबसे योग्य और सक्षम व्यक्ति को महत्वपूर्ण भूमिका के लिए नियुक्त किया जाए।
कैसे होती है CEC की नियुक्ति?
गौरतलब है कि सीईसी और ईसी की नियुक्ति भारत के राष्ट्रपति द्वारा चयन समिति की सिफारिशों के आधार पर की जाती है। इस समिति का नेतृत्व भारत के प्रधानमंत्री करते हैं और इसमें लोकसभा में विपक्ष के नेता के साथ-साथ प्रधानमंत्री द्वारा नामित केंद्रीय मंत्रिपरिषद के सदस्य भी शामिल होते हैं।
सीईसी का कार्यकाल पदभार ग्रहण करने की तिथि से छह वर्ष तक हो सकता है। हालांकि, सीईसी पैंसठ वर्ष की आयु प्राप्त करने पर सेवानिवृत्त हो जाएंगे, भले ही उनका कार्यकाल अभी समाप्त न हुआ हो।
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