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    अब अमेरिका नहीं, इन देशों में एक्सपोर्ट होगा भारत का सामान; सरकार ने तैयार किया प्लान

    Updated: Mon, 08 Sep 2025 10:04 PM (IST)

    अमेरिका द्वारा भारतीय वस्तुओं पर 50% शुल्क लगाने के बाद भारत सरकार अन्य देशों में निर्यात अवसर तलाश रही है। सिंगापुर समुद्री उत्पादों में रुचि दिखा रहा है जबकि यूएई टेक्सटाइल निर्यात बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित कर रहा है। हालांकि इससे अमेरिकी बाजार में हुए नुकसान की पूरी भरपाई नहीं हो पाएगी।

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    अमेरिका के बाजार में प्रभावित निर्यात की पूरी तरह से भरपाई नहीं हो सकती (प्रतीकात्मक तस्वीर)

    जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। अमेरिका में भारतीय वस्तुओं पर 50 प्रतिशत शुल्क लगने के बाद सरकार तेजी से दुनिया के अन्य देशों में वस्तु निर्यात की संभावना तलाश रही है। इस क्रम में सिंगापुर और यूएई जैसे देशों से बातचीत भी शुरू हो गई है। सिंगापुर भारत के समुद्री उत्पाद, मछली व अंडे जैसे आइटम को खरीदने में दिलचस्पी दिखा रहा है तो यूएई में टेक्सटाइल निर्यात को बढ़ाने की कोशिश की जा रही है।

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    हालांकि इस प्रकार के प्रयास से अमेरिका के बाजार में प्रभावित निर्यात की पूरी तरह से भरपाई नहीं हो सकती है। अमेरिका में खरीदारी क्षमता काफी अधिक है और पिछले वित्त वर्ष 2024-25 में भारत ने 440 अरब डॉलर के अपने कुल वस्तु निर्यात में 86 अरब डॉलर का निर्यात अमेरिका में किया था। निर्यातकों का कहना है कि उन्हें पता है कि अमेरिका ने जो 50 प्रतिशत का शुल्क लगाया है वह स्थायी नहीं है। फिर भी हम सरकार के साथ मिलकर छोटे-छोटे देशों के बाजार में संभावना तलाश रहे हैं ताकि भविष्य में भी हम निर्यात के लिए कुछ देशों पर ही निर्भर नहीं रहे।

    दो अरब डॉलर से अधिक का झींगा निर्यात

    चीन वर्ष 2019 से ही इस दिशा में काम कर रहा है तभी अमेरिका के बाजार में चीन के निर्यात में गिरावट के बावजूद चीन का कुल निर्यात लगातार बढ़ रहा है। निर्यातकों के मुताबिक भारत सालाना दो अरब डॉलर से अधिक का झींगा व अन्य समुद्री उत्पादों का निर्यात अमेरिका में करता है। वहीं पांच अरब डॉलर से अधिक का गारमेंट निर्यात अमेरिका में किया जाता है। वाणिज्य मंत्रालय के मुताबिक सिंगापुर भारतीय समुद्री उत्पादों व अन्य पोल्ट्री आइटम की खरीदारी को लेकर काफी इच्छुक है।

    जल्द ही इस दिशा में दोनों देशों के साथ आधिकारिक रूप से फैसला किया जा सकता है। यूएई में टेक्सटाइल निर्यात को बढ़ाने को लेकर भी बातचीत चल रही है। यूएई एक वैश्विक व्यापारिक केंद्र है जहां से दुनिया के कई देशों में माल भेजे जाते हैं। इसलिए यूएई में निर्यात बढ़ाने की गुंजाइश है।

    इस सप्ताह ईयू से व्यापार समझौते को लेकर वार्ता

    दूसरी तरफ यूरोपीय यूनियन (ईयू) का दल इस सप्ताह भारत आ रहा है जिनके साथ व्यापार समझौते को लेकर बातचीत की जाएगी। व्यापार समझौते को लेकर ईयू के साथ कई राउंड की वार्ता हो चुकी है और जल्द ही ईयू के साथ व्यापार समझौते की घोषणा हो सकती है।

    निर्यातकों का कहना है कि ईयू के साथ व्यापार समझौते में तेजी का प्रभाव अमेरिका पर भी दिख सकता है। यूरोपीय यूनियन में फ्रांस, जर्मनी, इटली, स्पेन जैसे अमीर देशों के साथ दो दर्जन से अधिक देश शामिल है। ब्रिटेन के साथ भारत पहले ही व्यापार समझौता कर चुका है जिस पर अगले साल से आरंभ से अमल हो सकता है।

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