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    Hyderabad: हैदराबाद में भारी बारिश, चारमीनार से प्लास्टर की परत गिरी; सीएम ने अलर्ट रहने का दिया आदेश

    By Agency Edited By: Jeet Kumar
    Updated: Fri, 04 Apr 2025 02:30 AM (IST)

    समाचार एजेंसी एएनआई ने पुलिस के हवाले से बताया कि हैदराबाद के ऐतिहासिक चारमीनार की मीनार का एक छोटा हिस्सा गुरुवार को शहर के कुछ हिस्सों में भारी बारिश के कारण ढह गया। इस घटना में किसी के हताहत होने की खबर नहीं है। अधिकारियों ने स्पष्ट किया कि यह कोई बड़ी क्षति नहीं है। उन्होंने इस घटना के लिए भारी वर्षा को जिम्मेदार ठहराया।

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    हैदराबाद में भारी बारिश, चारमीनार से प्लास्टर की परत गिरी (फोटो- पीटीआई)

     पीटीआई, हैदराबाद। हैदराबाद में गुरुवार को भारी बारिश के बाद चारमीनार की दीवार से प्लास्टर की परत गिर गई। भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) के सूत्रों ने बताया कि चारमीनार के दूसरे तल की दीवार से प्लास्टर की परत गिरने की घटना में कोई घायल नहीं हुआ।

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    घटना के लिए भारी वर्षा को जिम्मेदार ठहराया

    चारमीनार ऐतिहासिक स्मारक है, जिसे सुल्तान मोहम्मद कुली कुतुब शाह ने 1591 में बनवाया था। अधिकारियों ने स्पष्ट किया कि यह कोई बड़ी क्षति नहीं है। उन्होंने इस घटना के लिए भारी वर्षा को जिम्मेदार ठहराया। अधिकारियों ने प्रभावित हिस्से का निरीक्षण किया। अधिकारियों के मुताबिक, भारी बारिश के कारण शहर के कई इलाकों में जलभराव भी हो गया।

    तेलंगाना सीएमओ ने जारी किया बयान

    तेलंगाना सीएमओ ने बयान जारी कर कहा कि हैदराबाद शहर में आज (गुरुवार) भारी बारिश के बाद, तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी ने अधिकारियों को हाई अलर्ट पर रहने का आदेश दिया है।

    हैदराबाद में अचानक हुई बारिश के कारण निचले इलाकों में पानी भरा

    आगे कहा कि स्थानीय नागरिक अधिकारियों को आवश्यक राहत उपाय करने और यह सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है कि शहर में भारी बारिश के कारण लोगों को किसी भी तरह की परेशानी का सामना न करना पड़े। रिपोर्ट्स के अनुसार हैदराबाद में अचानक हुई बारिश के कारण निचले इलाकों में पानी भर गया है।

    तेलंगाना सीएम रेवंत रेड्डी के बयान पर सुप्रीम कोर्ट ने जताई नाराजगी

    सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी के 26 मार्च को विधानसभा में दिए उस बयान पर नाराजगी जताई जिसमें उन्होंने कथित तौर पर कहा था कि बीआरएस विधायकों के पाला बदलने पर भी उपचुनाव नहीं होंगे।

    शीर्ष अदालत ने कहा, ''अगर यह सदन में कहा गया है, तो आपके मुख्यमंत्री दसवीं अनुसूची का मजाक उड़ा रहे हैं।'' संविधान की दसवीं अनुसूची दलबदल के आधार पर अयोग्य ठहराए जाने के प्रविधानों से संबंधित है।

    शीर्ष कोर्ट ने तेलंगाना विधानसभा अध्यक्ष से सवाल किया कि उन्होंने कांग्रेस में शामिल हुए बीआरएस विधायकों की अयोग्यता संबंधी याचिकाओं पर नोटिस जारी करने में लगभग 10 महीने का समय क्यों लगाया?

    विधायकों को अयोग्य ठहराए जाने की मांग का मामला

    जस्टिस बीआर गवई और जस्टिस अगस्टीन जार्ज मसीह की पीठ के समक्ष यह मुद्दा तब उठा जब वह कांग्रेस में शामिल हुए कुछ बीआरएस विधायकों को अयोग्य ठहराए जाने की मांग वाली याचिकाओं पर तेलंगाना विधानसभा अध्यक्ष द्वारा निर्णय लेने में कथित देरी का मुद्दा उठाने वाली याचिकाओं पर दलीलें सुन रही थी। बीआरएस नेता पैडी कौशिक रेड्डी की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता सीए सुंदरम ने मुख्यमंत्री रेड्डी के कथित बयान का हवाला दिया।