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    PF पर बरकरार रहेगी 8.25% की ब्याज दर, सरकार ने लगाई मुहर; 7 करोड़ से ज्यादा लोगों को मिलेगा फायदा

    केंद्र सरकार ने वित्त वर्ष 2024-25 के लिए कर्मचारी भविष्य निधि (पीएफ) जमा पर 8.25 प्रतिशत की ब्याज दर को बरकरार रखा है। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के केंद्रीय न्यासी बोर्ड ने यह फैसला लिया जिसे वित्त मंत्रालय ने मंजूरी दे दी है। इस निर्णय से ईपीएफओ के 7 करोड़ सदस्यों को लाभ होगा।

    By Jagran News Edited By: Swaraj Srivastava Updated: Sat, 24 May 2025 04:32 PM (IST)
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    2022-23 में 8.15 प्रतिशत से बढ़ाकर 2023-24 के लिए 8.25 प्रतिशत किया गया था (फोटो: जागरण)

    पीटीआई, नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने बीते वित्त वर्ष 2024-25 के लिए कर्मचारी भविष्य निधि (ईपीएफ) पर 8.25 प्रतिशत की दर से ब्याज देने को अपनी अनुमति दे दी है। इसका लाभ निजी क्षेत्र के सात करोड़ से ज्यादा कर्मचारियों को मिलेगा।

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    इस अनुमति के साथ इन कर्मचारियों के भविष्य निधि (प्रोविडेंट फंड) खाते में ब्याज की राशि जमा करने का रास्ता साफ हो गया है। इसी वर्ष फरवरी में कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने वित्त वर्ष 2024-25 के लिए जमा पर ब्याज दर को 8.25 प्रतिशत बनाए रखने का फैसला किया था। इस ब्याज दर को अनुमोदन के लिए वित्त मंत्रालय को भेजा गया था।

    वित्त मंत्रालय ने दे दी स्वीकृति

    • इससे पहले वित्त वर्ष 2023-24 में भी पीएफ पर 8.25 प्रतिशत ब्याज दिया गया था। एक श्रम मंत्रालय के अधिकारी ने बताया कि वित्त मंत्रालय ने बीते वित्त वर्ष के लिए ईपीएफ पर 8.25 प्रतिशत ब्याज दर को स्वीकृति दे दी है।
    • श्रम मंत्रालय ने इस संबंध में ईपीएफओ को भी जानकारी भेज दी गई है। अब इस स्वीकृत ब्याज दर के अनुसार, ईपीएफओ के सात करोड़ से अधिक सदस्यों के खातों में ब्याज की राशि जमा की जाएगी। ब्याज दर का निर्णय 28 फरवरी को ईपीएफओ के केंद्रीय ट्रस्टी बोर्ड की 237वीं बैठक में लिया गया, जिसकी अध्यक्षता केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री मनसुख मांडविया ने की थी।
    • बचत पर स्थिर वृद्धि सुनिश्चित करता है ईपीएफकई निश्चित आय इस्ट्रूमेंट्स की तुलना में ईपीएफ अपेक्षाकृत उच्च और स्थिर रिटर्न प्रदान करता है, जो सेवानिवृत्ति के बाद बचत पर स्थिर वृद्धि सुनिश्चित करता है। ईपीएफओ ने फरवरी 2024 में वित्त वर्ष 2023-24 के लिए ब्याज दर को 8.15 प्रतिशत से बढ़ाकर 8.25 प्रतिशत किया था।

    मार्च में ईपीएफओ से 14.58 करोड़ सदस्य जुड़े

    मार्च 2022 में 2021-22 के लिए ईपीएफ पर ब्याज को 8.5 प्रतिशत से घटाकर चार दशक के न्यूनतम स्तर 8.1 प्रतिशत कर दिया था। 1977-78 में ईपीएफ पर ब्याज दर आठ प्रतिशत थी।

    हाल में में जारी हुए पेरोल डाटा के अनुसार, मार्च 2025 में ईपीएफओ से 14.58 लाख सदस्य जुड़े हैं। इसमें मार्च 2024 की तुलना में 1.15 प्रतिशत की वृद्धि रही है। श्रम मंत्रालय के अनुसार, मार्च में ईपीएफओ से जुड़ने वाले कुल सदस्यों में नए सदस्यों की संख्या 7.54 लाख रही है। इसमें फरवरी 2025 की तुलना में 2.03 प्रतिशत और मार्च 2024 की तुलना में 0.98 प्रतिशत की वृद्धि रही है।

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