मिलावटखोरी के खिलाफ एक्शन में सरकार, देशभर में चलाया जाएगा चेकिंग अभियान; डेयरी प्रोडक्ट को शुद्ध करने का संकल्प
केंद्र सरकार ने दूध, पनीर और खोया में मिलावट की बढ़ती शिकायतों के बाद देशभर में चेकिंग अभियान चलाने का फैसला किया है। FSSAI ने सभी राज्यों को मिलावट र ...और पढ़ें

सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को विशेष अभियान चलाने के निर्देश दिए गए (प्रतीकात्मक तस्वीर)
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। देशभर में दूध, पनीर और खोया जैसी जरूरी खाद्य वस्तुओं में मिलावट की बढ़ती शिकायतों के बाद केंद्र सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। उपभोक्ताओं के स्वास्थ्य और भरोसे को ध्यान में रखते हुए खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को विशेष अभियान चलाने के निर्देश दिए हैं।
इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि खाने की थाली तक शुद्ध और सुरक्षित दुग्ध उत्पाद ही पहुंचें। अभियान के दौरान खाद्य सुरक्षा अधिकारी मौके पर ही नमूने लेकर जांच करेंगे और देखेंगे कि कारोबारियों के पास वैध लाइसेंस या पंजीकरण है या नहीं।
गलत लेबलिंग के मामले सामने आए
प्राधिकरण के अनुसार हाल के दिनों में कई जगहों पर दूध और उससे बने उत्पादों में मिलावट, नकली पदार्थों का प्रयोग और गलत लेबलिंग के मामले सामने आए हैं। मिलावटी या नकली उत्पादों को असली दूध या पनीर बताकर भी बेचा जा रहा है। यह कानून का उल्लंघन और आम उपभोक्ताओं के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ है।
बच्चों, बुजुर्गों एवं बीमार लोगों के लिए ऐसे उत्पाद खास तौर पर नुकसानदेह हो सकते हैं।इसी को देखते हुए एफएसएसएआई ने राज्यों के खाद्य सुरक्षा विभागों और अपने क्षेत्रीय कार्यालयों को निर्देश दिया है कि वे दूध, पनीर और खोया के उत्पादन, भंडारण और बिक्री से जुड़े सभी स्थानों पर सघन जांच करें। इसमें बड़े डेयरी प्लांट के साथ छोटे दुकानदार, ढाबे और बिना लाइसेंस चल रहे कारोबार भी शामिल होंगे।
सप्लाई नेटवर्क पर कार्रवाई होगी
जहां भी मिलावट या गड़बड़ी की आशंका होगी, वहां केवल नमूना फेल होने तक सीमित न रहकर उसके स्त्रोत तक पहुंचने की कोशिश की जाएगी। यानी पता लगाया जाएगा कि मिलावट कहां से और कैसे हो रही है। इससे अवैध फैक्टि्रयों और सप्लाई नेटवर्क पर कार्रवाई संभव हो पाएगी। नियम तोड़ने वालों के खिलाफ उत्पाद जब्त करने, लाइसेंस रद्द करने, अवैध इकाइयां बंद कराने और मिलावटी सामान नष्ट करने जैसी सख्त कार्रवाई की जाएगी।
इससे बाजार में बिक रहे दूध उत्पादों की गुणवत्ता पर निगरानी बढ़ेगी और मिलावटखोरों पर दबाव बनेगा।कार्रवाई के आंकड़ों में पारदर्शिता बनाए रखने के लिए एफएसएसएआई ने एक आनलाइन पोर्टल भी बना रखा है, जिसका नाम फूड सेफ्टी कंप्लायंस सिस्टम है। इस पर खाद्य सुरक्षा से जुड़ी सभी जांच और कार्रवाई का रिकॉर्ड रखा जाता है।

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