'चुनाव आयोग को व्यावहारिक ज्ञान नहीं', जदयू सांसद ने SIR पर उठाए सवाल; NDA में मच सकती है खलबली
जदयू सांसद गिरिधारी यादव ने बुधवार को बिहार में सतारूढ़ राजग से अलग राय जताते हुए मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) पर सवाल उठाया और कहा कि इससे पिछले साल हुए लोकसभा चुनावों के नतीजों पर सवाल उठेंगे। उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग ने राज्य और उसके लोगों के प्रति अज्ञानता ही प्रदर्शित की है यानी उसे व्यावहारिक ज्ञान नहीं है।

पीटीआई, नई दिल्ली। जदयू सांसद गिरिधारी यादव ने बुधवार को बिहार में सतारूढ़ राजग से अलग राय जताते हुए मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) पर सवाल उठाया और कहा कि इससे पिछले साल हुए लोकसभा चुनावों के नतीजों पर सवाल उठेंगे।
जदयू सांसद गिरिधारी यादव ने कही ये बात
यादव ने कहा कि निर्वाचन आयोग को एसआइआर प्रक्रिया को कम से कम छह महीने के लिए स्थगित कर देना चाहिए ताकि पात्र मतदाताओं को आवश्यक प्रमाण दाखिल करने के लिए पर्याप्त समय मिल सके और उन लोगों का नाम हटाया जा सके जिनके पास मतदान का अधिकार नहीं है।
चुनाव आयोग ने अज्ञानता दिखाई- सांसद
चुनाव आयोग द्वारा इस समय एसआइआर प्रक्रिया करने पर कटाक्ष करते हुए उन्होंने आरोप लगाया कि चुनाव आयोग ने राज्य और उसके लोगों के प्रति अज्ञानता ही प्रदर्शित की है यानी उसे व्यावहारिक ज्ञान नहीं है। जब उनसे उनके पार्टी के एसआइआर के समर्थन के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि वह लोकसभा के सांसद के रूप में एक स्वतंत्र दृष्टिकोण व्यक्त कर रहे हैं।
जदयू भाजपा का सहयोगी दल है
बता दें कि जदयू भाजपा का सहयोगी दल है और एसआइआर का समर्थन कर रहा है। उन्होंने दावा किया कि चल रही प्रक्रिया ने लोगों को बुरी तरह परेशान करके रख दिया है खासकर गरीबों को। वे अब धान की खेती में व्यस्त हैं। अब उन्हें सभी प्रकार के दस्तावेज अधिकारियों को प्रस्तुत करने को कहा जा रहा है।
चुनाव आयोग को एसआइआर के लिए कम से कम छह महीने का समय देना चाहिए और इसे गर्मियों में कराना चाहिए।
यादव ने कहा कि यदि लोकसभा चुनाव के लिए मतदाता सूची सही थी, तो विधानसभा चुनाव के लिए कुछ महीनों में यह कैसे गलत हो सकती है। साथ ही सवाल किया- ''क्या मैं गलत मतदाता सूची के आधार पर चुना गया हूं? इससे पूरे चुनाव प्रक्रिया पर सवाल उठेंगे।''
जल्दबाजी की प्रक्रिया से हो सकता है नुकसान
बांका से सांसद ने कहा कि बिहार के बाहर रहने वाले लाखों प्रवासियों को इस जल्दबाजी की प्रक्रिया के कारण उनके मतदान के अधिकार से वंचित किया जा सकता है। अपने उदाहरण का हवाला देते हुए उन्होंने कहा- '' मुझे दस्तावेज इकट्ठा करने में 10-11 दिन लगे। मेरा बेटा अमेरिका में रहता है और उसे अधिक समस्याओं का सामना करना पड़ा है। मुझे नहीं पता कि क्या मेरा बेटा अब बिहार में मतदाता होगा।''
कांग्रेस ने कहा- यह चुनावी धोखाधड़ी का प्रतिबिंब
कांग्रेस ने बिहार में एसआइआर प्रक्रिया पर जनता दल के सांसद गिरिधारी यादव की आलोचनात्मक टिप्पणी को लेकर सत्तारूढ़ गठबंधन पर निशाना साधा।
कहा- जदयू सांसद की टिप्पणी चुनावी धोखाधड़ी का प्रतिबिंब है। उन्होंने कहा कि गठबंधन के सहयोग दल के सांसद की टिप्पणी से साफ है कि इस अभियान में खामियां हैं।
वेणुगोपाल ने कहा कि मतदाताओं की आशंका जायज
कांग्रेस महासचिव और संगठन प्रभारी केसी वेणुगोपाल ने कहा कि मतदाताओं की आशंका जायज है कि यह चुनावी नतीजों में हेरफेर करने के लिए सोची-समझी 'वोटबंदी' की कवायद है।
उन्होंने कहा कि यदि स्वतंत्र और पारदर्शी जांच कराई जाए तो पता पता चल जाएगा कि हकीकत में हो क्या रहा है। चुनाव आयोग की निगरानी में बड़े पैमाने पर वोटों की चोरी हो रही है।
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