बेंगलुरु में गड्ढों को लेकर जेडीएस के निशाने पर आई कांग्रेस सरकार, 'एक्स' पर शुरू हुआ वार-पलटवार
बेंगलुरु की सड़कों पर गड्ढों को लेकर कर्नाटक की कांग्रेस सरकार और जेडीएस के बीच 'एक्स' (पूर्व में ट्विटर) पर आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है। आंध्र प्रदेश के मंत्री नारा लोकेश के कटाक्ष के बाद जेडीएस नेता निखिल कुमारस्वामी ने भी सरकार पर निशाना साधा, जिसके बाद कांग्रेस ने पलटवार करते हुए निवेश के आंकड़े पेश किए और कर्नाटक को निवेश का केंद्र बताया।

गड्ढों को लेकर जेडीएस के निशाने पर कांग्रेस सरकार। (सोशल मीडिया)
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। बेंगलुरु की सड़कों पर गड्ढों को लेकर कांग्रेस और जनता दल सेक्यूलर आमने-सामने आ गए हैं। दरअसल, आंध्र प्रदेश के मंत्री नारा लोकेश ने कर्नाटक सरकार पर तंज सकते हुए एक्स पर लिखा, "कहते हैं कि आंध्र का खाना तीखा होता है, अब लगता है हमारे निवेश भी वैसे ही हैं। कुछ पड़ोसी को अभी से जलन महसूस कर रहे हैं।
नारा लोकेश ने का ये तंज, गूगल के उस एलान के बाद आया है जिसमें कंपनी ने हाल ही में आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में 15 अरब डॉलर का ऑर्टिफिशियल इंटेलिजेंस हब बनाने का ऐलान किया। कंपनी के इस फैसले के बाद दोनों राज्यों के नेताओं में बयानबाजी शुरू हो गई है।
निखिल कुमारस्वामी कर्नाटक सरकार पर कसा तंज
नारा लोकेश के पोस्ट के बाद, जेडीएस यूथ विंग के चीफ निखिल कुमारस्वामी ने पोस्ट लिखकर माहौल को और भी गरमा दिया, जिसमें उन्होंने लिखा, "आंध्र प्रदेश निवेश के लिए आकर्षित कर रहा है और कर्नाटक बहाने बनाने में व्यस्त है। आंध्र गूगल को आकर्षित कर रहा है, कर्नाटक के मंत्री गूगल का इस्तेमाल करने वालों को धमका रहा है। न सड़क, न फंड, न नौकरियां, बस रील, रीयल एस्टेट और जुमलेबाजी।"
कांग्रेस ने किया पलटवार
निखिल कुमारस्वामी के ट्वीट पर पलटवार करते हुए कांग्रेस ने एक लंबा -चौड़ा पोस्ट लिखकर कहा, कर्नाटक में "नौकरी नहीं, पैसा नहीं"? बैठ जाओ भाई। हम तुम्हें भावनाओं से नहीं, तथ्यों से शिक्षित करने आए हैं।
कर्नाटक भारत का निवेश का केंद्र है। वित्त वर्ष 23-24 में ₹54,427 करोड़ ($6.57 बिलियन) का FDI। सेमीकंडक्टर से लेकर इलेक्ट्रिक वाहनों तक स्टार्टअप से लेकर स्मार्ट इन्फ्रास्ट्रक्चर तक हम अरबों डॉलर के निवेश को आकर्षित कर रहे हैं। ये कुछ तथ्य हैं जो शायद तुम्हें समझ में नहीं आएंगे, इसलिए शायद अपनी टीम से इसे समझाने के लिए कहो, भाई।
कांग्रेस ने आपने दावों को साबित करने के लिए एक लंबी चौड़ी लिस्ट भी जारी की है। जिसमें स्टार्टअप्स, इन्वेस्टमेंट, निर्माण, खाद्य एवं कृषि इन्फ्रास्ट्रक्चर और दूरसंचार के आंकड़े साझा किए हैं।
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