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    यूपीएससी अपनी सभी परीक्षाओं में चेहरा पहचानने की तकनीक का करेगा इस्तेमाल

    Updated: Sat, 20 Sep 2025 10:31 AM (IST)

    संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) की ओर से उम्मीदवारों के सत्यापन के लिए पायलट प्रोजेक्ट आयोजित किया गया है। इस नई प्रणाली से उम्मीदवारों का सत्यापन अब केवल 8 से 10 सेकेंड में करना संभव है। इसके साथ ही अब तक पायलट केंद्रों में विभिन्न सत्रों में 1129 उम्मीदवारों के स्कैन सफलतापूर्वक तरीके से किए गए।

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    पायलट प्रोजेक्ट से संबंधित पूरी जानकारी यहां देखें।

    एजुकेशन डेस्क, नई दिल्ली: संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) अपनी सभी परीक्षाओं में चेहरा पहचानने की तकनीक का इस्तेमाल करेगा। यूपीएससी के अध्यक्ष अजय कुमार ने कहा कि उम्मीदवारों के सत्यापन के लिए चेहरे को पहचानने की आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई)- सक्षम तकनीक के परीक्षण करने के लिए पायलट प्रोजेक्ट आयोजित किया गया है। नई प्रणाली से सत्यापन का समय प्रति अभ्यर्थी औसतन केवल 8 से 10 सेकेंड रह गया है, जिससे प्रवेश प्रक्रिया काफी सरल हो गई है।

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    यूपीएससी के अध्यक्ष ने शुक्रवार को कहा, यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा सहित अपनी सभी परीक्षाओं में उम्मीदवारों के लिए चेहरे की पहचान प्रणाली का उपयोग करने की योजना बना रहा है। चेहरे की पहचान में शामिल कर्मचारियों के लिए प्रशिक्षण और वाई-फाई की उपलब्धता महत्वपूर्ण हैं। इस संबंध में आवश्यक मानक संचालन प्रक्रियाएं (एसओपी) विकसित की जा रही हैं। उन्होंने यह भी कहा, चेहरे को पहचानने का पायलट प्रोजेक्ट गुरुग्राम के चुनिंदा केंद्रों पर चलाया गया, जहां अभ्यर्थियों के चेहरे का उनके पंजीकरण फार्म में दी गई तस्वीरों से डिजिटल मिलान किया गया।

    सभी पायलट केंद्रों में, विभिन्न सत्रों में 1,129 उम्मीदवारों के स्कैन किए गए। एनडीए (राष्ट्रीय रक्षा अकादमी) और एनए (नेवल अकादमी) परीक्षा, 2025 और सीडीएस (संयुक्त रक्षा सेवा) परीक्षा, 2025 के दौरान इस पायलट प्रोजेक्ट का संचालन किया गया, जो 14 सितंबर, 2025 को आयोजित हुई थी। उन्होंने बताया, परीक्षा की प्रक्रिया में पारदर्शिता और परीक्षा केंद्रों पर उम्मीदवारों के प्रवेश को बेहतर बनाने के उद्देश्य से यह पहल राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस डिवीजन (एनईजीडी) के सहयोग से की गई है। यूपीएससी के अध्यक्ष ने कहा कि आयोग निष्पक्षता और पारदर्शिता के उच्चतम मानकों को बनाए रखने के लिए अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी को अपनाने के लिए प्रतिबद्ध है।

    एआई-आधारित चेहरे की पहचान वाला पायलट प्रोजेक्ट स्मार्ट, सुरक्षित और कुशल परीक्षा प्रक्रिया की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। यूपीएससी सरकारी नौकरियों के लिए विभिन्न भर्ती परीक्षाएं आयोजित करता है, जिसमें भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस), भारतीय विदेश सेवा (आईएफएस) और भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) के अधिकारियों का चयन करने के लिए सिविल सेवा परीक्षा भी शामिल है।

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