Independence Day 2025 Speech: कविताओं और नारों से सज्जित स्वतंत्रता दिवस पर 500 शब्दों का भाषण
स्वतंत्रता दिवस की तैयारियां देशभर में जोरों पर हैं। इस वर्ष देश अपना 79वां स्वतंत्रता दिवस सेलिब्रेट करेगा वहीं स्वतंत्रता दिवस की 78वीं वर्षगांठ सेलिब्रेट कर रहा है। अगर आप भी इस 15 अगस्त स्कूल कॉलेज या किसी सार्वजनिक कार्यक्रम में भाषण देना चाहते हैं तो कविताओं एवं नारों से लैस स्पीच आप यहां से तैयार कर सकते हैं।

एजुकेशन डेस्क, नई दिल्ली। देशभर में स्वतंत्रता दिवस की तैयारियां जोरो पर हैं। स्कूल, कॉलेजों में 15 अगस्त पर होने वाली प्रतियोगिताओं के लिए तैयारियां हो रही हैं। जो भी स्टूडेंट्स इस वर्ष स्कूल या कॉलेज में भाषण देने का प्लान बना रहे हैं उनके लिए यह पेज महत्वपूर्ण है। स्टूडेंट्स यहां से कविताओं और नारों से सुसज्जित एक बेहतरीन स्पीच (Independence Day 2025 Speech in Hindi) तैयार कर सकते हैं।
स्वतंत्रता दिवस पर 500 शब्दों का भाषण
स्वतंत्रता दिवस के इस अवसर पर यहां मौजूद सभी शिक्षकों, माननीय अथितिगण और प्यारे भाई एवं बहनों को मेरा नमस्कार एवं इस दिन की ढेरों शुभकामनायें। हम सभी इस वर्ष देश का 79वां स्वतंत्रता दिवस मना रहे हैं। जैसा की हम सभी जानते हैं कि आज ही के दिन 1947 में हमारा देश ने अंग्रेजी शासन से आजादी पायी थी। इसी दिन को मनाने के लिए आज हम सब यहां एकत्र हुए हैं। यह दिन हमारे देश के इतिहास का सुनहरा अध्याय है। यह वह दिन है जब हमारे वीर शहीदों के बलिदान ने हमें स्वतंत्र भारत का उपहार दिया।
इन्हीं वीरों को याद करते हुए मैं एक कविता के माध्यम से अपनी बात को आगे बढ़ा रहा हूं-
- शहीदों की चिताओं पर, लगेंगे हर बरस मेले,
- वतन पर मरने वालों का, यही बाकी निशां होगा।
- कभी भूल न पाओगे, हिंद की वो बलि-दास्तां,
- जब हिल उठा था साम्राज्य, इन वीरों की आहट से।
हम सब जानते हैं कि स्वतंत्रता प्राप्त करना आसान नहीं था। लाखों लोगों ने अपने जीवन का बलिदान दिया। महात्मा गांधी ने सत्य और अहिंसा के मार्ग से स्वतंत्रता संग्राम का नेतृत्व किया। सुभाष चंद्र बोस ने “तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आज़ादी दूंगा” का नारा देकर युवाओं को जोश से भर दिया। भगत सिंह, चंद्रशेखर आजाद और अनेक क्रांतिकारियों ने फांसी के फंदे को हंसकर चूम लिया। इन्हीं का बलिदानों की बदौलत आज हम स्वतंत्र भारत में स्वतंत्रता से सांस ले रहे हैं। इन्हीं वीरों के लिए मैं कहना चाहता हूं,
- न भूलो बलिदान उनका, जिनसे तुम आजाद हो,
- सच है कि उनकी ही वजह से तुम आज आबाद हो।
- चलो कदम से कदम मिलाकर, कुछ ऐसा काम करो,
- भारत मां का नाम रोशन, तुम हर दिल में सम्मान करो।
स्वतंत्रता दिवस सिर्फ उत्सव भर नहीं है, यह हमें याद दिलाता है कि आजादी पाने के साथ-साथ उसकी रक्षा करना भी हमारा कर्तव्य है। हमें जाति-धर्म के भेदभाव से ऊपर उठकर, शिक्षा, स्वच्छता, और प्रगति के मार्ग पर चलना चाहिए। तो आइए इस 15 अगस्त पर हम सब एक संकल्प लें कि हम अपने हर कर्तव्य का पालन करेंगे, भ्रष्टाचार, गरीबी, और अशिक्षा को जड़ से खत्म करने में अपनी भूमिका निभाएंगे। जब हम सब मिलकर आगे बढ़ेंगे, तभी हमारा देश दोबारा विश्व पटल पर सोने की चिड़िया बन पायेगा।
इन्हीं शब्दों के साथ मैं अपनी वाणी को विराम देता हूं।
- जय हिंद, जय भारत।
- भारत माता की जय।
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