नागपुर हिंसा: 6 दिन बाद हटा कर्फ्यू, 71 लोगों को 48 घंटों के भीतर मिलेगा मुआवजा
नागपुर में हाल ही में हुए दंगों के कारण प्रभावित 71 लोगों को अगले 48 घंटों में मुआवजा मिलेगा। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने इसकी घोषणा की और प्रशासन को जल्द राहत देने के निर्देश दिए। दंगाइयों से संपत्ति के नुकसान की भरपाई की जाएगी और भुगतान न करने पर संपत्ति जब्त कर ली जाएगी। पुलिस ने 105 लोगों को गिरफ्तार किया जबकि सभी संवेदनशील इलाकों से कर्फ्यू हटा लिया गया।

जेएनएन, नागपुर। महाराष्ट्र के नागपुर में दंगों के कारण संपत्ति का नुकसान झेलने वाले 71 लोगों को अगले 48 घंटों (मंगलवार तक) के भीतर सीधे उनके बैंक खातों में मुआवजा मिल जाएगा। इसे हाल के दिनों में पीड़ितों को मुआवजे का सबसे त्वरित वितरण माना जा रहा है। 17 मार्च को नागपुर में पथराव और दंगे की घटनाएं सामने आईं।
घटना के आठ दिनों के भीतर सरकार उन लोगों को वित्तीय सहायता वितरित करने जा रही है जिनके वाहन और संपत्ति को नुकसान पहुंचा है। घटना के तुरंत बाद मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और नागपुर के संरक्षक मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले ने नागपुर कलेक्टर को प्रभावित व्यक्तियों को त्वरित राहत प्रदान करने की प्रक्रिया में तेजी लाने का निर्देश दिया था।
71 लोग मुआवजे की राशि प्राप्त करने के पात्र: नागपुर कलेक्टर
नागपुर कलेक्टर के कार्यालय के अनुसार, शनिवार को फडणवीस ने अगले 48 घंटों के भीतर मुआवजे की राशि वितरण का काम पूरा करने के निर्देश जारी किए। नागपुर कलेक्टर डॉ विपिन ने बताया, ''हमारे रिकॉर्ड के अनुसार, 71 लोग मुआवजे की राशि प्राप्त करने के पात्र हैं। हमारा कार्यालय मुआवजा प्राप्त करने के पात्र लोगों के विवरण- मसलन बैंक अकाउंट के साथ तैयार है। अगले 48 घंटों में (मंगलवार शाम तक) लाभार्थियों के खाते में राशि जमा कर दी जाएगी।''
गौरतलब है कि पिछले हफ्ते छत्रपति संभाजी नगर जिले में औरंगजेब की कब्र हटाने को लेकर दक्षिणपंथी संगठनों द्वारा किए गए विरोध-प्रदर्शन के दौरान आयत लिखी हुई पवित्र "चादर'' को जलाने की अफवाहों के चलते यह घटना हुई थी। शनिवार को फडणवीस ने अपनी प्रेस वार्ता में कहा था कि नागपुर हिंसा के दौरान क्षतिग्रस्त हुई संपत्तियों की कीमत दंगाइयों से वसूली जाएगी।
सीएम ने कहा, "भुगतान न करने पर हिंसा में शामिल लोगों की संपत्ति जब्त कर ली जाएगी और उन्हें बेच दिया जाएगा।'' घटना के बारे में डॉ. विपिन ने बताया कि पांच दिनों के भीतर पंचनामा (दस्तावेज जिसमें घटनास्थल से दुर्घटना से संबंधित साक्ष्य और अन्य विवरण दर्ज किए जाते हैं) पूरा कर लिया गया और घटना के आठ दिनों के भीतर प्रभावितों को वित्तीय सहायता वितरित कर दी जाएगी।
''अगर किसी को लगता है कि उसे मुआवजा राशि प्राप्त करने के लिए पात्र नामों की सूची से बाहर रखा गया है तो वे कलेक्टर कार्यालय से संपर्क कर सकते हैं या हेल्पलाइन नंबरों पर कॉल कर सकते हैं। हमारा कार्यालय उनकी पुष्टि करेगा और अगर वह व्यक्ति पात्रता में फिट बैठता है तो हम आवश्यक कार्रवाई करेंगे।'' डॉ विपिन, नागपुर कलेक्टर
नागपुर पुलिस ने वीडियो और कैमरा फुटेज का विश्लेषण करने के बाद 12 नाबालिगों सहित 105 लोगों को गिरफ्तार किया है और सभी के खिलाफ मौजूदा नियमों एवं विनियमन के अनुसार कार्रवाई की गई है। सीएम को लगता है कि इस मामले में न केवल मुआवजे का शीघ्र वितरण किया जा रहा है, बल्कि पुलिस कर्मियों और प्रशासन ने भी तेजी से काम किया।
नागपुर में आयोजित एक समारोह में बातचीत के दौरान फडणवीस ने कहा, "चार घंटे के भीतर हिंसा की स्थिति नियंत्रण में आ गई।"
हिंसा के छह दिन बाद नागपुर से पूरी तरह कर्फ्यू हटाया गया
पीटीआई के मुताबिक, हिंसा के छह दिन बाद रविवार को नागपुर के शेष चार इलाकों से भी कर्फ्यू हटा लिया गया। 17 मार्च को हुई हिंसा के बाद कोतवाली, गणेशपेठ, तहसील, लकड़गंज, पचपावली, शांति नगर, सक्करदरा, नंदनवन, इमामबाड़ा, यशोधरा नगर और कपिल नगर थाना क्षेत्रों में कर्फ्यू लगा दिया गया था। इससे पहले 20 मार्च को नंदनवन और कपिल नगर थाना क्षेत्रों से तथा 22 मार्च को पचपावली, शांति नगर, लकड़गंज, सक्करदरा और इमामबाड़ा क्षेत्रों से कर्फ्यू हटा लिया गया था।
नागपुर के पुलिस आयुक्त रविंदर सिंघल ने रविवार को शेष बचे कोतवाली, तहसील, गणेशपेठ और यशोधरा नगर थाना क्षेत्रों से दोपहर तीन बजे से कर्फ्यू हटाने का आदेश दिया। एक अधिकारी ने बताया कि संवेदनशील क्षेत्रों में गश्त जारी रहेगी तथा स्थानीय पुलिस की तैनाती की जाएगी।
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