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    विजयवर्गीय बोले- सियासी घोषणाओं ने बिगाड़ी राज्यों की माली हालत, केंद्र से मांगी मदद, केंद्रीय मंत्री खट्टर ने पढ़ाया आत्मनिर्भरता का पाठ

    Updated: Sun, 21 Dec 2025 08:07 PM (IST)

    मध्य प्रदेश के मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि राजनीतिक घोषणाओं से राज्यों की वित्तीय स्थिति बिगड़ी है। भोपाल में शहरी विकास पर बोलते हुए उन्होंने क ...और पढ़ें

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    डिजिटल डेस्क, भोपाल। चुनावी दौर में की गई लोकलुभावन घोषणाओं के आर्थिक बोझ से कोई भी राज्य अछूता नहीं है। ऐसी घोषणाओं को पूरा करना सरकारों के लिए निरंतर चुनौतीपूर्ण होता जा रहा है। इसी संदर्भ में मध्य प्रदेश सरकार के नगरीय विकास एवं आवास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय का एक बयान सामने आया है, जिसमें उन्होंने इस हकीकत को सार्वजनिक मंच से खुलकर स्वीकार किया। राजधानी भोपाल में शनिवार को शहरी विकास पर आयोजित क्षेत्रीय बैठक में मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि राजनीतिक मजबूरियों में की गई घोषणाओं ने राज्यों की वित्तीय स्थिति को कमजोर कर दिया है।

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    उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि अब शहरी योजनाओं को आगे बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार की सहायता अनिवार्य हो गई है। अमृत योजना और प्रधानमंत्री आवास योजना जैसी कई अहम परियोजनाएं बजट की कमी के कारण बार-बार अटक जाती हैं। उन्होंने माना कि राजनीतिक प्रतिबद्धताओं के चलते राज्यों को जितने संसाधनों की जरूरत है, उतना बजट जुटा पाना मुश्किल हो गया है। इसी वजह से राज्यों की उम्मीदें अब केंद्र सरकार पर टिक गई हैं। बैठक में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव और केंद्रीय आवासन एवं शहरी कार्य मंत्री मनोहर लाल खट्टर भी मौजूद रहे।

    इस मौके पर केंद्रीय केंद्रीय आवासन एवं शहरी कार्य मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने भी राज्यों को दो टूक संदेश दिया। उन्होंने अपने संबोधन में कहा है कि राज्य चाहते हैं कि शहरी विकास का सारा पैसा केंद्र ही दे दे, लेकिन स्वयं राशि लगाना नहीं चाहते, इससे लंबे समय तक कोई भी प्रोजेक्ट बंद रहता है, बाद में राज्यों को समझ आता है और वे 50-50 प्रतिशत राशि व्यय करने के लिए तैयार होते हैं। राज्यों को यह समझना होगा कि केंद्र की भूमिका सपोर्टिंग है, इसलिए प्रदेशों को अपने पैरों पर खड़ा होना ही होगा।

    केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल ने कहा कि 40 प्रतिशत क्षेत्र शहरी हैं और 2047 तक शहरी आबादी देश की कुल आबादी की 50 प्रतिशत से ऊपर हो जाएगी। शहरीकरण बढ़ने से विकास भी बढ़ाना पड़ेगा। हमने तय किया है कि 25 लाख से अधिक आबादी वाले बड़े शहरों को ही मेट्रो देंगे। 2047 तक प्रधानमंत्री मोदी ने विकसित और आत्मनिर्भर भारत का लक्ष्य तय किया है। यह तभी संभव है जब प्रदेश का हर शहर, गांव, परिवार और व्यक्ति विकसित और आत्मनिर्भर होगा।

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    उन्होंने कहा कि मेट्रो रेल के मामले में पहले नंबर पर चीन है, दूसरा अमेरिका और तीसरे नंबर पर भारत है। अमेरिका में 1400 किमी मेट्रो लाइन है। भारत में भोपाल का सात किमी हिस्सा जुड़ने के बाद 1090 किमी मेट्रो लाइन हो गई। आने वाले दो वर्षों में भारत, अमेरिका को पीछे छोड़ देगा। भारत के कई देशों के साथ अपने व्यापारिक संबंध बढ़ा रहा है, चिंतित अमेरिका है, भारत नहीं।

    कार्यक्रम में सात आइटी प्लेटफार्म का शुभारंभ किया गया। इस दौरान छत्तीसगढ़ के उप मुख्यमंत्री अरूण साव, उत्तर प्रदेश के मंत्री डा अरविंद शर्मा एवं राज्यमंत्री राकेश राठौर, राजस्थान के मंत्री झवर सिंह खर्रा और भारत सरकार के केंद्रीय आवासन एवं शहरी कार्य मंत्रालय के सचिव कथीकला श्रीनिवास उपस्थित थे। कार्यक्र के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का संदेश वाचन भी हुआ।

    समन्वित विकास की कार्ययोजना बनाएंगे सभी राज्य

    बैठक में केंद्र की योजनाओं- स्वच्छ भारत मिशन, अमृत, पीएमएवाय, मेट्रो बस मोबेलिटी के लिए समय पर वित्तीय सहायता और योजनाओं में देरी के कारणों को दूर करने पर बल दिया गया। सुझाव आया कि कुछ राज्यों में दिया गया बजट खर्च नहीं होने पर उसे दूसरे राज्यों को दिया जाना उचित होगा। केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल ने कहा कि समन्वित विकास की कार्ययोजना सभी राज्य समय पर बना लें। इस पर सहमति बनी।

    केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सीवेज सिस्टम ऐसा हो कि किसी भी शहर में अगले 50 साल तक कोई दिक्कत न आए। हर शहर में पार्किंग व्यवस्था, फुटपाथ सुरक्षित करें। कचरा प्रबंधन को ओर समक्ष बनाए। स्वच्छता के लिए 12 माह काम करें। हरियाली के लिए हर शहर विशेष प्रयास करे। उन्होंने प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) में तैयार मकानों के आवंटन न होने पर चिंता प्रकट की। कहा कि सबको आवास केंद्र सरकार की फ्लेगशिप योजना है। इस योजना को पूरा करने के लिए प्रधानमंत्री आवास योजना के साथ प्राइवेट रियल्टी सेक्टर के उद्यमियों को प्रोत्साहित करना होगा।