महानगर सिविल में बंद हुई डिलीवरी

-अस्पताल की स्त्री रोग विशेषज्ञ और स्टाफ को बुलाया गया गुडंबा सीएचसी -कम डिलीवरी और जेएसवाइ के पैस

By JagranEdited By: Publish:Thu, 20 Jul 2017 07:45 PM (IST) Updated:Thu, 20 Jul 2017 07:45 PM (IST)
महानगर सिविल में बंद हुई डिलीवरी
महानगर सिविल में बंद हुई डिलीवरी

-अस्पताल की स्त्री रोग विशेषज्ञ और स्टाफ को बुलाया गया गुडंबा सीएचसी

-कम डिलीवरी और जेएसवाइ के पैसे फंसे होने से बंद की गई डिलीवरी

जागरण संवाददाता, लखनऊ : भाऊराव देवरस महानगर सिविल अस्पताल में डिलीवरी केस बंद हो गए हैं। अभी तक अस्पताल में जैसे तैसे इक्का-दुक्का डिलीवरी करवाई जा रही थी, लेकिन गत दो वर्षों से जननी सुरक्षा योजना का भुगतान नहीं होने की वजह से सीएमओ ऑफिस की ओर से यहां डिलीवरी बंद करवा दी गई है। यहां का स्टाफ गुडंबा स्वास्थ्य केंद्र भेज दिया गया है।

महानगर सिविल अस्पताल में पिछले कई वर्षो से डिलीवरी हो रही हैं। यहां लगभग दो वर्ष पहले अस्पताल में एक स्त्री रोग विशेषज्ञ भी तैनात थी जो कि ओपीडी संचालित करती थी। बाद में उनका ट्रांसफर हो गया। वहीं अस्पताल के सीएमएस डॉ.एके श्रीवास्तव ने बताया कि उनके अस्पताल में स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ का पद ही नहीं है। वहीं इसी बीच अस्पताल में पीछे की ओर चल रहे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में बैठ रही डॉ.दीप्ति डिलीवरी करवा रही थी। इसके बाद भी वर्ष 2015-16 में लगभग 60 से ज्यादा डिलीवरी केस का जेएसवाई का भुगतान नहीं हो पाया था। अस्पताल ने जेएसवाई के रुके भुगतान को पोर्टल पर फीड करने के लिए सीएमओ ने अपनी ओर से एक डाटा इंट्री ऑपरेटर भी भेजा, लेकिन उसके बाद भी महिलाओं को भुगतान नहीं हो पाया। इस संबंध में अस्पताल के सीएमएस का कहना था कि वह बिना किसी फाइनेंस ऑफिसर के जेएसवाई पेमेंट करने के लिए अधिकृत नहीं है। अपर सीएमओ डॉ.ए राजा ने बताया कि अस्पताल में अप्रैल से लेकर जून तक केवल 12 डिलीवरी ही हुई हैं, जिसकी वजह से यहां मौजूदा स्टाफ को गुडंबा सीएचसी बुला लिया गया है। इसमें तीन स्टाफ नर्स और स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ डॉ.दीप्ति शामिल हैं।

ब्लड स्टोरेज यूनिट भी हुई बंद

ब्लड स्टोरेज यूनिट योजना के लिए बीआरडी भी शामिल था, लेकिन डिलीवरी कम होने की वजह से यहां से स्टाफ को बुला लिया गया। वहीं यहां खुलने वाला ब्लड स्टोरेज यूनिट भी बंद हो गया। स्टोरेज यूनिट के लिए आए दो एलटी और एलए को भी गोसाईगंज सीएचसी भेज दिया गया।

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