बरेली में पहले मदद के नाम पर निश्शुल्क मंगाया इंजेक्शन और ऑक्सीजन सिलिंडर, फिर दूसरों को बेच दिया

कोरोना संक्रमण के दौर में कई युवा और समाजसेवी संगठन वाट्सएप और फेसबुक जैसी इंटरनेट मीडिया के जरिए लोगों की मदद कर रहे हैं। बीते 15 दिनों में ऐसे कई समाजसेवी और युवाओं ने सैकड़ों लोगों की मदद की। कई ऐसे लोग भी हैं जो इसका फायदा उठा रहे हैं।

By Samanvay PandeyEdited By: Publish:Sat, 01 May 2021 03:29 PM (IST) Updated:Sat, 01 May 2021 03:29 PM (IST)
बरेली में पहले मदद के नाम पर निश्शुल्क मंगाया इंजेक्शन और ऑक्सीजन सिलिंडर, फिर दूसरों को बेच दिया
युवाओं द्वारा बनाए गए वाट्सएप ग्रुप पर मांगी थी मदद, मिलने के बाद धन्यवाद भी दिया।

बरेली, जेएनएन। कोरोना संक्रमण के दौर में कई युवा और समाजसेवी संगठन वाट्सएप और फेसबुक जैसी इंटरनेट मीडिया के जरिए लोगों की मदद कर रहे हैं। बीते 15 दिनों में ऐसे कई समाजसेवी और युवाओं ने सैकड़ों लोगों की मदद की। लेकिन इस दौरान कई ऐसे लोग भी हैं जो इसका फायदा उठा रहे हैं। ऐसे ही दो मामले सामने आए जिसमें एक व्यक्ति ने मदद के नाम पर इंजेक्शन लेकर 5500 रुपये में बेच दिया, जबकि एक युवक ने तीन ऑक्सीजन सिलिंडर एजेंसी से लेकर अपने मुहल्ले में 8800 रुपये में बेंच दिए।

महिला बनकर ली मदद, जीवन रक्षक इंजेक्शन बेचे

गोल्डन ग्रीन पार्क निवासी डा. अतुल भारद्वाज ने कोविड पेशेंट हेल्प बरेली नाम से एक ग्रुप बनाया है। जिसमें शहर के समाजसेवी और युवाओं को जोड़ा है। किसी तरह से एक व्यक्ति भी इस ग्रुप में जुड़ गया।उसने पहले महिला बनकर अपने एक मरीज के लिए जीवन रक्षक इंजेक्शन की मांग की। ग्रुप के सदस्यों ने इंजेक्शन का इंतजाम निशुल्क करा दिया। इसके बाद उस व्यक्ति की ओर से प्लाज्मा व अन्य दवाओं की मांग की जाने लगी। इस पर शक हुआ तो पता किया गया, तो पता चला कि वह इंजेक्शन 5500 रुपये में बेच चुका है। इसके बाद उसे ग्रुप से निकाल कर सूचना पुलिस को दी गई।

मदद में मिले तीन सिलिंडर, माननीय के रिश्तेदार को बेचे

कोविड पेशेंट हेल्प बरेली ग्रुप के जरिए ही एक युवक ने ऑक्सीजन के तीन सिलिंडर निशुल्क प्राप्त किए। इसके बाद उसने शहर के एक माननीय के रिश्तेदार को उन तीनों सिलिंडर को 8800 रुपये में बेच दिया। इसका खुलासा तब हुआ जब माननीय के रिश्तेदार ने जब तीन सिलिंडर खरीदने की बात ग्रुप के ही एक सदस्य से कही। उन्होंने सिलिंडर दिलाने वाले पारस गुप्ता से बातकर पूरी बात बताई और युवक का नंबर लिया। सिलिंडर बेंचने वाले युवक का नंबर उस युवक के नंबर से मिलाने पर दोनो एक ही निकले। अब वह नंबर बंद जा रहा है।

ऐसे लोगों से सावधान होकर जारी रहेगी मदद

ग्रुप के एडमिन डा. अतुल भारद्वाज ने बताया कि दो मामले पकड़ में आए हैं। इसलिए ग्रुप के सभी सदस्यों को सावधान कर दिया गया है। अब किसी की भी मदद सिर्फ फोन या वाट्सएप से नहीं बल्कि आमने सामने मिलकर नाम पता नोट कर की जाएगी। डा. अतुल ने कहाकि ऐसे लोग समाज को बदनाम करते हैं। इससे हमारे काम पर फर्क नहीं पड़ेगा। अब सावधानी से मदद जारी रखी जाएगी।

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