दही-कादो उत्सव में बाबा बैद्यनाथ को चढ़ाया गया दही-हांडी

देवघर : बाबा मंदिर से जुड़ी प्राचीन परंपरा के अनुरूप सोमवार को दोपहर पट बंद होते ही बाब

By JagranEdited By: Publish:Mon, 03 Sep 2018 11:00 PM (IST) Updated:Mon, 03 Sep 2018 11:00 PM (IST)
दही-कादो उत्सव में बाबा बैद्यनाथ को चढ़ाया गया दही-हांडी
दही-कादो उत्सव में बाबा बैद्यनाथ को चढ़ाया गया दही-हांडी

देवघर : बाबा मंदिर से जुड़ी प्राचीन परंपरा के अनुरूप सोमवार को दोपहर पट बंद होते ही बाबा बैद्यनाथ को पुरोहितों ने दही हांडी अर्पित किया। अनुष्ठान के कारण दोपहर चार बजे ही पट बंद कर दिया गया। इसके बाद जलार्पण नहीं हुआ क्योंकि परंपरा के मुताबिक जब बाबा को दही अर्पित हो जाता है, उसके बाद पट बंद हो जाता है। शाम में श्रृंगार के वक्त ही पट खुलता है। दही हांडी का यह अनुष्ठान सभी 22 मंदिरों में किया जाता है। बाबा बैद्यनाथ की विशेष पूजा करते हुए दही चढ़ाया गया। जन्माष्टमी के बाद बाबा को दही चढ़ाकर विशेष पूजा की जाती है। सुबह से मंदिर में भीड़ थी जलसार में बने स्पारइल में लोग इंतजार करते रहे। सरदार पंडा गुलाबनंद झा द्वारा षोड़शोपचार पूजा के बाद बाबा पर दही अर्पित किया गया। बताया गया कि कृष्णा जन्माष्टमी के बाद देवघर में दही-कादो पर्व मनाया जाता है। हालांकि अलग-अलग रूप में यह पर्व तकरीबन देश के हर कोने में मनाया जाता है। यहां बाबा बैद्यनाथ एवं गद्दी घर के निकट भगवान श्रीकृष्ण की प्रतिमा पर भी दही चढ़ाया गया। परंपरा के निर्वहन के बाद जलार्पण के लिए गर्भगृह में प्रवेश को निषेध कर दिया गया। लेकिन मुख्य गेट पर एक जलपात्र रखा गया जिसमें भक्तों ने जल डाला। भक्तों का यह जल मंगलवार को कांचाजल के बाद अर्पित होगा।

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