सिर्फ ब्यूटी इंडस्ट्री में इसका ट्रेंड देखकर करवाने न पहुंच जाएं Fish Pedicure, जान लीजिए इसकी सच्चाई!
चेहरे पर जमा डेड स्किन को हटाने के लिए जैसे कई तरीके अपनाए जाते हैं ऐसे ही पैरों पर जमा डेड स्किन को हटाने के लिए पेडिक्योर का सहारा लिया जाता है। इसमें फिश पेडिक्योर का चलन भी काफी है जिसमें छोटी-छोटी मछलियां आपके पैरों की डेड स्किन को खा जाती हैं। भले ही ये सुनने में मजेदार लग रहा हो लेकिन ये आपके लिए काफी नुकसानदायक हो सकता है।
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। Fish Pedicure: खूबसूरती बढ़ाने के लिए ब्यूटी इंडस्ट्री में कई ट्रीटमेंट्स फेमस हैं। इन्हीं में एक है पेडिक्योर। खासकर महिलाएं स्पा या सलॉन में जाकर कई तरीके का पेडिक्योर करवाती हैं। इस आर्टिकल में हम आपको फिश पेडिक्योर के बारे में बताएंगे, जो आज काफी पॉप्युलर है। इसमें मछली आपके पैरों पर जमा डेड स्किन को खा जाती है। सुनने में अजीब लग रहा है ना? कई देशों में तो इसपर बैन है, लेकिन आज भी भारत में आपको कई छोटे-बड़े शहरों में फिश पेडिक्योर देखने को मिल जाएगा। आइए जानते हैं कि कितना सुरक्षित है ये स्पा और क्या हो सकते हैं इसके नुकसान।
क्या है फिश पेडिक्योर?
त्वचा को कोमल और टैन फ्री रखने के लिए डेड स्किन को निकालना बेहद जरूरी होता है। चेहरे की डेड स्किन को हटाने के लिए तो स्क्रब और ब्लीज जैसी कई चीजें चलन में हैं। इसी बीच जब बात पैरों की डेड स्किन को हटाने की आती है, तो पेडिक्योर का सहारा लिया जाता है। खूबसूरत और सॉफ्ट पैर आज महिलाओं की चाहत में शुमार हैं। इनके लिए फिश पेडिक्योर का भी काफी क्रेज बढ़ गया है। चूंकि पेडिक्योर का ये तरीका ज्यादा महंगा नहीं होता है, ऐसे में कई लोग इसे करवाना पसंद करते हैं।
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इस पेडिक्योर में आपको पानी से भरे एक टब में कुछ देर के लिए पैर डालने होते हैं। इस पानी में छोटी-छोटी गर्रा रूफा (Garra Rufa) मछलियां आपके पैरों पर मौजूद डेड स्किन को खा जाती हैं, जिससे आपको स्मूथ और सॉफ्ट स्किन मिलती है। स्किन को एक्सफोलिएट करने का ये एक बढ़िया तरीका तो है, लेकिन इसके बावजूद इसमें कई खतरे हैं। आइए जानते हैं इसके फायदे और जोखिम के बारे में।
क्या हैं फिश पेडिक्योर के फायदे?
एक ओर जहां पैरों से डेड स्किन को हटाने के लिए आपको रेजर, स्क्रब या ब्लीच का सहारा लेना पड़ता है, जिसमें खर्चा भी अधिक आता है। वहीं, इस फिश पेडिक्योर में आपको न ज्यादा पैसे चुकाने पड़ते हैं और न ही ये बहुत लंबा प्रोसीजर है। इस स्पा में आपको बस कुछ मिनट के लिए पैरों को पानी में डालना होता है और बाकी का सारा काम मछली खुद कर देती है। इस प्रकिया में आपको थोड़ी गुदगुदी फील हो सकती है, जिसे कई लोग पसंद करते हैं।
कितना सेफ है पेडिक्योर का ये तरीका?
अमेरिका, कनाडा और यूरोप जैसे कई देशों में इस स्पा पर बैन है। इसके पीछे इससे होने वाले खतरे एक बड़ी वजह हैं, जिन्हें आपको इसे करवाने से पहले जरूर जान लेना चाहिए। इस ट्रीटमेंट में इन्फेक्शन का जोखिम रहता है। चूंकि कई बार इस स्पा में साफ-साफाई का ध्यान सलॉन वाले नहीं रखते हैं। ऐसे में बैक्टीरिया के पनपने का खतरा रहता है। इसके अलावा इस पेडिक्योर को अगर सही ढंग से न किया जाए तो अनइवेन और बंपी स्किन टोन का भी रिस्क रहता है। साथ ही, सेंसिटिव स्किन या कटी-फटी त्वचा वाले लोगों को तो इसे भूलकर भी नहीं करवाना चाहिए, क्योंकि इसमें पैरों से खून निकलने का खतरा रहता है, जिससे आप रक्त-जनित बीमारियों के शिकार हो सकते हैं। ऐसे में सुंदर और चमकदार एड़ियों की चाहत में सोरायसिस, एक्जीमा और एचआईवी जैसे खतरों को मोल लेना किसी भी तरह से समझदारी का सौदा नहीं है।
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Disclaimer: लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।
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