Weight Loss Tips: पहले मोटापे को समझें, फिर उसी हिसाब से प्लान करें अपनी डाइट और एक्सरसाइज
दैनिक जागरण के हेलो डॉक्टर कार्यक्रम में डॉ. सिद्धार्थ सिंह ने मोटापे से जुड़े सवालों के जवाब दिए। उन्होंने बीएमआई के अनुसार व्यायाम और खानपान पर जोर दिया। मोटापे से होने वाले रोगों और वजन घटाने के सही तरीकों पर भी जानकारी दी। उन्होंने यह भी कहा कि हर व्यक्ति के शरीर के लिए अलग योजना बनाना जरूरी होता है।
जासं, पटना। आरामतलब जीवनशैली, एसी में रहने, अधिक खाने व कार्बोनेट बिबरेज पीने की बढ़ती प्रवृत्ति से अधिक वजन की समस्या तेजी से बढ़ रही है।
दुनिया में हर वर्ष 40 लाख मौतें मोटापा संबंधी रोग के कारण होती हैं। देश की वयस्क आबादी में से 24 प्रतिशत पुरुष व 24 प्रतिशत महिलाएं मोटापे की चपेट में हैं।
मोटापा कम करना भी एक सतत प्रक्रिया
शहरी क्षेत्र में यह आंकड़ा 30 प्रतिशत से अधिक है। प्रदेश में 30 वर्ष से अधिक उम्र के लोग तेजी से मोटापे की चपेट में आ रहे हैं। जिस प्रकार मोटापा की समस्या एक दिन में नहीं होती, इसी प्रकार इसे घटाना भी एक सतत प्रक्रिया है।
मोटापे के अनुसार व्यायाम नहीं करने से उन्हें पूरा फायदा नहीं मिलता है। आमतौर लोग लोग सामान्य वजन वाले व्यक्ति के व्यायाम 40 मिनट टहलना या तेजी से टहलने को पर्याप्त मानते हैं लेकिन, ऐसा नहीं है।
जिस श्रेणी का मोटापा हो, डाक्टर के परामर्श पर उसी के अनुसार व्यायाम का निर्धारण करने पर ही फायदा होता है।
सबका शरीर अलग, इसलिए तरीका भी अलग
यही नहीं हर व्यक्ति की शारीरिक संरचना अलग होती है, इसलिए वजन घटाने की एक योजना सब पर लागू नहीं होती है। बीएमआइ के अनुसार खानपान-व्यायाम को अपनाना सबसे कारगर तरीका है।
ये बातें रविवार को दैनिक जागरण के लोकप्रिय कार्यक्रम हेलो डाक्टर में आइजीआइएमएस के जनरल मेडिसिन विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर डा. सिद्धार्थ सिंह ने सुधि पाठकों के सवालों के जवाब में कहीं।
डॉ. सिद्धार्थ सिंह।
मोटापा के साथ बीपी व शुगर है, पर वजन कम नहीं हो रहा? - मिथिलेश बेउर पटना, राजेश पांडेय आशियाना दीघा
खानपान में नियंत्रण व सिर्फ आधे घंटे टहलने से वजन कम नहीं होगा। इसके लिए बीएमआइ के अनुसार व्यायाम करने होंगे। 22 से 27 बीएमआइ में माइल्ड से माडरेट तो 30 से 35 में माइल्ड से हार्ड व्यायाम की ओर बढ़ना होगा। शुगर की कुछ दवाओं से वजन भी नियंत्रित होता है, डाक्टर से उनके बारे में परामर्श लें। वजन कम होने के साथ बीपी व शुगर स्तर खुद कम हो जाएगा।
गर्दन-जांघ के पास कालापन व बाल ज्यादा झड़ रहे हैं? - अर्पित दानापुर, मंजीत कुमार भिखना पहाड़ी
मोटापे के कारण होने वाला एंकोथोसिस निग्रिकैंस रोग है जो गर्दन, कमर, घुटनों, कोहनी, कांख में ज्यादा होता है। यह मधुमेह अन्य हार्मोनल समस्याएं व कुछ दवा से भी ऐसा हो सकता है। भोजन में संयम व व्यायाम से वजन कम करें, आराम नहीं हो तो कार्टिसोल टेस्ट कराएं। उसके बाद डाक्टर से परामर्श लें।
वजन कम करना है पर घुटने में दर्द से व्यायाम नहीं कर सकते? - अनीता कुमारी पटना, अखिलेश कुमार कंकड़बाग
जीवनशैली व खानपान में संयम के साथ वजन कम करने के लिए व्यायाम जरूरी है। आप अपने फिजियोथेरेपिस्ट या डाक्टर से परामर्श लें, वे ऐसे व्यायाम बता देंगे जिन्हें करने से घुटने पर जोर नहीं पड़ेगा। इससे घुटने का दर्द नहीं बढ़ेगा। छह माह में यदि इन उपायों से 8 से 10 किलोग्राम वजन कम नहीं होता है तो दवाओं पर आना होगा। दवाओं का दुष्प्रभाव भी होता है इसलिए रोगी अपनी पूरी मेडिकल हिस्ट्री बताकर डाक्टर से परामर्श लें। रोगी के हिसाब से इन दवाओं का चयन जरूरी है।
इन्होंने भी पूछे सवाल
सुरेंद्र सिंह आरा, सुषमा पार्क रोड, अजय पंडित बेउर अनीसाबाद, आरती तिवारी पटना, दिवाकर सिंह बुद्धा कालोनी, जीवेश कुमार राजीव नगर, रविंद्र कुमार कुर्जी आदि।
बाडी मास इंडेक्स (बीएमआइ) के अनुसार वजन की श्रेणियां
- 18 से कम बीएमआइ - कम वजन
- 18.5–24.9 बीएमआइ सामान्य वजन
- 25–29.9 तक बीएमआइ अधिक वजन
- 30 से अधिक बीएमआइ को मोटापे की श्रेणी में रखा जाता है।
बाडी मास इंडेक्स (बीएमआइ) के अनुसार मोटापे की श्रेणियां
- 30 से 34.9 तक बीएमआइ ग्रेड-1 का मोटापा
- 35 से 39.9 तक बीएमआइ ग्रेड-2 को मोटापा
- 40 से अधिक बीएमआइ को गंभीर या खतरनाक मोटापा माना जाता है।
हर श्रेणी के लिए वजन नियंत्रित करने का सामान्य उपाय
- 18.5–24.9 बीएमआइ सामान्य वजन : सप्ताह में 5 दिन 30-40 मिनट टहलना, योग या हल्की जागिंग। खाने में फल, हरी मौसमी सब्जियों की मात्रा अधिक, साबुत अनाज आदि। सामान्य वजन के व्यक्तियों में हृदय व मधुमेह रोग की आशंका 60 प्रतिशत तक कम होती है।
- 25–29.9 2. बीएमआइ यानी अधिक वजन : सप्ताह में 5 से 6 दिन 40–50 मिनट कार्डियो व स्ट्रेंथ संबंधी व्यायाम। खाने में कम कैलोरी यानी खीरा, ककड़ी व कच्ची सब्जियां व हाई फाइबर साबुत अनाज की मात्रा ज्यादा। इस श्रेणी में 10 प्रतिशत वजन घटाने से ब्लड प्रेशर व ब्लड शुगर स्तर में सुधार होता है।
- 30 से अधिक बीएमआइ यानी मोटापा : टहलने-योगा जैसे हल्के व्यायाम से शुरू कर शारीरिक क्षमता बढ़ाएं व धीरे-धीरे मशल्स स्ट्रेंथिंग व्यायाम, एरोबिक, तैराकी आदि करें। खानपान में कम वसा, कम कैलोरी, हाई प्रोटीन व फाइबर, सीमित मात्रा में खाना उपयोगी। मोटे लोगों में टाइप-2 मधुमेह का खतरा 3 गुना तो हार्ट अटैक का की आशंका 2.5 गुना तक बढ़ जाती है।
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