पदमपुर में सादगी के साथ होगी मां काली की पूजा
खरसावां के पदमपुर स्थित प्रसिद्ध काली मंदिर में मां काली की पूजा गुरुवार की रात पूरे विधि-विधान के साथ शुरू होगी जो अगले सात दिनों तक चलेगी। हालांकि कोरोना संक्रमण को देखते हुए एहतियात इस वर्ष भी यहां मेला लगाने में पर रोक है।

संवाद सूत्र, खरसावां : खरसावां के पदमपुर स्थित प्रसिद्ध काली मंदिर में मां काली की पूजा गुरुवार की रात पूरे विधि-विधान के साथ शुरू होगी, जो अगले सात दिनों तक चलेगी। हालांकि, कोरोना संक्रमण को देखते हुए एहतियात इस वर्ष भी यहां मेला लगाने में पर रोक है। बता दें, यहां देश के आजादी के पहले से ही वर्ष 1897 से मां काली की पूजा हो रही है। पिछले 124 साल में दूसरी बार ऐसा होगा जब यहां काली पूजा के दौरान मेला का आयोजन नहीं होगा।
मालूम हो कि यहां हर वर्ष सात दिनों तक भव्य मेला का आयोजन होता है, जिसमें 50 हजार से अधिक लोग पहुंचते है। पूजा समिति के सुब्रत सिंहदेव ने बताया कि इस बार मेला का आयोजन नहीं करने का निर्णय लिया गया है। पूजा के दौरान सरकार की ओर से जारी गाइड लाइन का अनुपालन करने की बात कही है। उन्होंने बताया कि पूजा में कोल्हान के विभिन्न क्षेत्रों के अलावे पड़ोशी राज्य बंगाल व ओड़िशा से भी बड़ी संख्या में श्रद्धालु यहां पहुंचते है। पदमपुर का काली मंदिर सिर्फ खरसावां ही नहीं बल्कि पूरे कोल्हान के लोगों के आस्था का केंद्र बन गया है। सात दिवसीय पूजा के दौरान इस वर्ष कोविड-19 को लेकर सरकार की ओर से जारी गाइड लाइन का अनुपालन किया जायेगा। भक्त शारीरिक दूरी बनाते हुए मास्क पहन कर पूजा के लिये मंदिर में जायेंगे। काली मंदिर में पूजा के लिये महिला व पुरुषो का अलग कतार बनाया जायेगा। हाल के वर्षों में यहां पुराने मंदिर के जगह भव्य मंदिर का निर्माण कार्य शुरु हुआ है। मंदिर के साथ साथ मुख्य द्वार का निर्माण कार्य पूर्ण कर इस वर्ष रंगाई-पुताई के कार्य को भी पूरा कर लिया गया है।
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