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    Board Exam Tips: तैयारी करते समय भूलकर भी न करें ये गलती, इन बातों का रखें ख्याल; पढ़िए करियर काउंसलर की सलाह

    By kumar GauravEdited By: Aysha Sheikh
    Updated: Fri, 15 Dec 2023 01:24 PM (IST)

    Board Exam Tips बोर्ड एग्जाम आने वाले हैं। विद्यार्थी जमकर परीक्षा की तैयारी कर रहे हैं। डेटशीट जारी हो चुकी है। छात्र और उनके अभिभावक अब अपने बच्चों के करियर को लेकर फिक्रमंद नजर आ रहे हैं। ऐसे में करियर काउंसलर जितेंद्र भारद्वाज कहते हैं कि फिलहाल बच्चों को बोर्ड की परीक्षा पर ही फोकस रहना चाहिए। पहले उसमें अपना शत प्रतिशत दें।

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    Board Exam Tips: तैयारी करते समय भूलकर भी न करें ये गलती, इन बातों का रखें ख्याल

    जागरण संवाददाता, रांची। एक ओर जहां सीबीएसई ने दसवीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षा को लेकर डेटशीट जारी कर दी है। वहीं छात्र छात्राओं की धड़कनें भी तेज हो गईं हैं। छात्र और उनके अभिभावक अब अपने बच्चों के करियर को लेकर फिक्रमंद नजर आ रहे हैं।

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    दसवीं और 12वीं की परीक्षा के साथ ही बच्चे विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारियों में जुट जाते हैं, उनपर दोहरा दबाव रहता है। आमतौर पर इंजीनियरिंग और मेडिकल की परीक्षा ही इन बच्चों का विकल्प बनती है लेकिन वर्तमान में कई ऐसे विकल्प भी मौजूद हैं जिसकी तैयारी बच्चे अपना करियर संवार सकते हैं।

    करियर काउंसलर की सलाह

    करियर काउंसलर जितेंद्र भारद्वाज कहते हैं कि फिलहाल बच्चों को बोर्ड की परीक्षा पर ही फोकस रहना चाहिए। पूरी तरह से सिलेबस तैयार है तो बेशक प्रतियोगी परीक्षाएं आसान हो जाती हैं। 10वीं और 12वीं बोर्ड परीक्षा के बाद एंट्रेंस एग्जाम की तैयारी को धार दें, जो परीक्षा बाकी है उसको गंभीरता से लें और बिना समय गंवाए अपनी तैयारी में लग जाएं। करियर को लेकर तनाव लेने की जरुरत नहीं है, जो सामने है पहले उसमें अपना शत प्रतिशत दें, इसके बाद ही आगे का रास्ता चुने।

    ये है दसवीं बोर्ड के बाद छात्रों के लिए सलाह

    कई स्कूल में 11वीं में नामांकन की प्रक्रिया शुरू हो गई है। कई बार अपने स्कूल में दाखिला मिल जाता है पर मनपसंद विषय नहीं मिलता। इसके अनुसार भी फार्म भरने का निर्णय लें। किसी न किसी कोचिंग संस्थान या शिक्षक के साथ अपनी पढ़ाई शुरू कर दें।

    करियर चुनाव है जरूरी

    करियर चुनाव से पहले स्ट्रीम साइंस, आर्ट्स और कामर्स का चुनाव जरूरी होता है। कोई विषय बहुत अच्छा या खराब नहीं है। यह जरुरी है कि आपकी अभी तक की पढ़ाई का लेवल क्या है, रूचि क्या है और किसमें आपके एक्सेल करने की संभावना है। इसके बाद यह जानना जरूरी है कि किस एंट्रेंस एग्जाम की तैयारी आपको करनी है।

    करियर आप्शन

    फिजिक्स, केमिस्ट्री और मैथ्स वालों के लिए :  जेइइ मेंस, जेइइ एडवांस, बिट-सैट, सीओएमईडीके, डब्ल्यूबी जेइइ, एनएटीए, सीयू-सैट, वीआइटी ईईई, एमईटी और एसआरएम जेइइ, केआइआइटीईई है।

    फिजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलाजी लेने वालों के लिए नीट सबसे बेहतर आप्शन है।

    काउंसलर गोपालजी झा कहते हैं कि कामर्स और आर्ट्स के छात्रों के लिए सीए, आइआइएम इंदौर के लिए आइपी-मैट, आइआइएम रोहतक के लिए एंट्रेंस टेस्ट, आइआइएम जम्मू और गया लिए एंट्रेंस टेस्ट, ला में करियर के लिए क्लैट और एल-सेट, फैशन में करियर के लिए निफ्ट और एनआईडी, होटल मैनेजमेंट में एंट्रेंस के लिए ज्वाइंट एंट्रेंस एग्जामिनेशन, बीबीए के लिए बैंगलुरु, पुणे, दिल्ली के टाप संस्थान के एंट्रेंस एग्जाम बेस्ट आप्शन है।

    वहीं सभी स्ट्रीम वालों के लिए सीयूईटी - दिल्ली यूनिवर्सिटी सहित देश 100 से ज्यादा संस्थानों में दाखिला के लिए और सैट विदेश में एडमिशन लेने के लिए बेस्ट आप्शन है।

    इन बातों का रखें ख्याल

    • स्कूल और बोर्ड परीक्षा को हल्के में न लें और न ही उससे भयभीत हों
    • स्कूल और बोर्ड की परीक्षा सब्जेक्टिव होती है और कोचिंग संस्थाओं में ज्यादा टेस्ट आब्जेक्टिव पैटर्न के होते हैं इसलिए समय समय पर सब्जेक्टिव टेस्ट देना चाहिए नहीं तो जानने के बावजूद बोर्ड परीक्षा में नंबर नहीं आते हैं
    • इंजीनियरिंग और मेडिकल में करियर बनाने वाले छात्रों को ये साफतौर पर समझना होगा बेसिक बुक और एनसीईआरटी की किताब का अध्ययन बहुत जरूरी है
    • अपना लक्ष्य कैसे हासिल हो इस पर ध्यान देना ज्यादा जरूरी है न कि दूसरे क्या कर रहे हैं। 12वीं के छात्र क्या करें
    • जेइइ मेंस की तैयारी कर रहे विद्यार्थी को यह जानना जरुरी है कि अपनी कैटेगरी के अनुसार समझ कर आगे का रोडमैप तय करना चाहिए
    • 99 परसेंटाइल लेकर ओवरकांफिडेंट और 97 परसेंटाइल लेकर जेइइ एडवांस्ड के लिए डेमोरलिज्ड नहीं होना चाहिए - जेइइ एडवांस्ड की तैयारी करनी है या अन्य एंट्रेंस एग्जाम का ये ठीक से समझना चाहिए
    • जेइइ मेंस क्वालिफाइड के बराबर परसेंटाइल का मतलब सिर्फ इतना है कि आप अपनी कैटेगरी के सबसे कम नंबर लाने वालों में है और आपको अपनी नई रणनीति बनानी होगी
    • प्राइवेट यूनिवर्सिटीज में सबसे महत्वपूर्ण परीक्षा बीट-सैट है - कोई भी कालेज बड़ा छोटा नहीं होता है, बड़ा या छोटा आपका परसेंटाइल होता है
    • जोसा काउंसिलिंग को ठीक से समझें, यह एक माह से ज्यादा चलने वाली प्रक्रिया है, ओपनिंग और क्लोजिंग रैंक राउंड वाइज समझना जरूरी है
    • आइआइटी में लड़कियों का दाखिला 20000 से ज्यादा रैंक पर भी होता है इसलिए अपनी कैटेगरी के हिसाब से ठीक से समझें
    • आइआइटी और एनआइटी के अलावा ट्रिपल आइटी और जीएफटीआइ भी जोसा काउंसिलिंग से मिलता है बीआइटी मेसरा की भी काउंसिलिंग इसी से होती है।

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