ऊधमपुर की दुष्कर्म पीड़िता को 21 वर्ष बाद मिला इंसाफ, अदालत ने आरोपी को सुनाई 7 साल की सजा
ऊधमपुर के मजालता क्षेत्र में 2004 में हुए अपहरण और दुष्कर्म मामले में 21 साल बाद पीड़िता को न्याय मिला। अदालत ने आरोपी मक्खन सिंह को दुष्कर्म का दोषी पाया और उसे 7 साल की कैद की सजा सुनाई। मक्खन सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी और मुकदमे के दौरान उसने अपना जुर्म कबूल कर लिया था।

जागरण संवाददाता, ऊधमपुर। उधमपुर जिले के मजालता क्षेत्र में वर्ष 2004 में हुए एक अपहरण और दुष्कर्म के मामले में आखिरकार 21 साल बाद पीड़िता को न्याय मिला है। प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश वरिंद्र सिंह भाऊ की अदालत ने दुष्कर्म आरोपी मक्खन सिंह को दोषी ठहराते हुए 7 वर्ष कारावास की सजा सुनाई है।
अभियोजन पक्ष के अनुसार घटना के बाद मजालता पुलिस स्टेशन में एफआईआर संख्या 20/2004 के तहत आरोपित मक्खन सिंह पुत्र रोमल सिंह और एक अन्य के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 366/376/342 व 34 के अंतर्गत मामला दर्ज किया गया था।
पुलिस ने आरोपित मक्खन सिंह को गिरर्फ्तार कर लिया। जबकि दूसरा आरोपी फरार चल रहा है। उसके खिलाफ धारा 512 सीआरपीसी के वारंट जारी कर भगोड़ा घोषित किया गया है।
यह भी पढ़ें- जम्मू-कश्मीर के 22 बच्चों की पढ़ाई का जिम्मा उठाएंगे राहुल गांधी, Operation Sindoor से है कनेक्शन
मुकदमे के दौरान लोक अभियोजक हिमांशु गुप्ता और सहायक लोक अभियोजक विनय की दलीलें सुनने के बाद अदालत ने पाया कि अभियुक्त ने बिना किसी दबाव, डर, जबरदस्ती या उकसावे के स्वतंत्र रूप से अपना जुर्म कबूल किया है।
अदालत ने अभियुक्त को धारा 376 आरपीसी के तहत 7 वर्ष के साधारण कारावास, धारा 366 के तहत तीन वर्ष के साधारण कारावास व एक हजार रुपये जुर्माने व धारा 342 के तहत एक माह के साधारण कारावास की सजा सुनाई है।
जुर्माना न भरने पर 1 माह की अतिरिक्त कैद की सजा काटनी होगी। सभी सजाएं एक सात चलेंगी और अभियुक्त के हिरासत में रहने की 4 वर्ष 10 माह 26 दिन की अवधि को भी कुल सजा में समायोजित किया जाएगा।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।