जम्मू में संकट आया तो मदद के लिए आगे आई ट्रेडर्स फेडरेशन, प्रभावित लोगों के लिए शुरू की लंगर सेवा
जम्मू की सबसे बड़ी थोक अनाज मंडी वेयर हाउस-नेहरू मार्केट ने बाढ़ प्रभावितों के लिए लंगर सेवा शुरू की है। 2014 की बाढ़ कोरोना महामारी और कश्मीर में श्रमिकों की हत्याओं के बाद पलायन के समय भी इस मंडी ने मदद की थी। तवी नदी में आई बाढ़ से पीरखोह गुज्जर नगर प्रेम नगर और बेलीचराना में भारी तबाही हुई है जिससे कई लोग बेघर हो गए।
जागरण संवाददाता, जम्मू। वर्ष 2014 की बाढ़ हो, कोरोना महामारी हो या फिर कश्मीर में अन्य राज्यों के श्रमिकों की हत्याओं के बाद पलायन हो, हर बार इंसानियत की मिसाल पेशकश करने वाली जम्मू की सबसे बड़ी थोक अनाज मंडी वेयर हाउस-नेहरू मार्केट मंगलवार की तबाही के बाद एक बार फिर इंसनियत की सेवा करने के लिए सामने आई।
मंगलवार को तवी नदी में आई बाढ़ के बाद जम्मू शहर के पीरखोह, गुज्जर नगर, प्रेम नगर और बेलीचराना में सबसे अधिक तबाही हुई और इन क्षेत्रों में सैंकड़ों लोग बेघर हो गए। इन लोगों के घरों का सामान बाढ़ में बह गया था और सिर छुपाने के लिए इन्हें सुरक्षित स्थान तो मिले लेकिन पेट की भूख शांत करने के लिए कोई प्रबंध नहीं था।
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ऐसे में अनाज मंडी के संगठन ट्रेडर्स फेडरेशन वेयर हाउस-नेहरू मार्केट के पदाधिकारियों ने इंसानियत का अपना फर्ज निभाते हुए ऐसे प्रभावित लोगों ने लिए लंगर सेवा शुरू की। फेडरेशन के प्रधान दीपक गुप्ता ने अपनी टीम के सदस्यों के साथ बुधवार की शाम को जोगी गेट स्थित शमशान घाट के साथ बसे प्रेम नगर में लंगर की व्यवस्था की और देर शाम तक यहां पर प्रभावित लोगों में लंगर वितरित किया गया।
फेडरेशन के प्रधान दीपक गुप्ता के अनुसार जम्मू शहर में हर प्रभावित परिवार तक फेडरेशन मदद पहुंचाएगी। उन्होंने कहा कि उनका यह प्रयास रहेगा कि जब तक इन इलाकों में हालात सामान्य नहीं हो जाते, यह सेवा जारी रखी जाए।
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बारिश में लाखों का सरकारी राशन नष्ट
सांबा में मंगलवार को शुरू हुई भारी बारिश से उपजे हालात के बीच उपभोक्ता मामले और सार्वजनिक वितरण विभाग के तहसील सप्लाई कार्यालय के स्टोर में रखा लाखों का सरकारी राशन नष्ट हो गया है। बारिश के चलते आरज़ी सांबा में बने सांबा तहसील का राशन डिपो के स्टोर में बाढ़ का पानी आने से डिपो में रखा लगभग सभी राशन ख़राब हो गया।
अधिकारीयों के मुताबिक स्टोर में 700 क्विंटल के लगभग चावल और 70 से 80 बोरियां आटे की पड़ी हुई थी। बुधवार को डिपो में पानी अधिक होने से शट्टर नहीं खोला गया जिससे अनुमान नहीं लगाया जा सकता है कि कितना राशन ख़राब हुआ है। वहीं डिपो में गोदाम से बाहर बना दफ्तर और खुली जगह में अभी तक लगभग 3 से 4 फीट तक पानी भरा हुआ है।
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विभाग के दो ट्रक भी अंदर लगे हुए है जिससे उनको भी नुकसान पहुंचा होगा। अधिकारीयों के मुताबिक राशन डिपो के लिए नए भवन का निर्माण होना है जिसका प्लान बनाकर उच्च अधिकारीयों को भेज दिया है उम्मीद है कि जल्द ही पैसे की मंजूरी मिल जाएगी और आगे आयने वाले समय में ऐसे समस्या नहीं आएगी।
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