Kishtwar Cloudburst: 46 शवों में से 23 की हुई पहचान... 38 लोगों की हालत गंभीर; 200 अभी तक लापता
जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ में बादल फटने से 46 लोगों की मौत हो गई है और 200 से ज्यादा लापता हैं। बचाव कार्य जारी है और अब तक 160 से अधिक लोगों को बचाया गया है जिनमें से 38 गंभीर रूप से घायल हैं। मृतकों की पहचान के लिए तस्वीरें साझा की जा रही हैं। प्रशासन ने हेल्पलाइन नंबर जारी किए हैं और नियंत्रण कक्ष स्थापित किया है।

डिजिटल डेस्क, जम्मू। जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ के अंतर्गत चशोटी गांव में बादल फटने से अब तक 46 लोगों की मौत हो चुकी हैं। 200 से ज्यादा लापता है, जिनकी खोज के लिए रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है।
अधिकारियों ने शुक्रवार को बताया कि बादल फटने से प्रभावित चिसोती गांव से निकाले गए 46 शवों में से 21 शवों की पहचान कर ली है। किश्तवाड़ के सुदूर पहाड़ी गाँव में गुरुवार को बादल फटने से आई भीषण बाढ़ में दो सीआईएसएफ कर्मियों सहित कम से कम 46 लोगों की मौत हो गई।
उन्होंने बताया कि मृतकों की पहचान के लिए, अधिकारियों ने एक व्हाट्सएप ग्रुप के माध्यम से प्रभावित परिवारों के साथ पीड़ितों की तस्वीरें साझा कीं, जिसके परिणामस्वरूप निकाले गए 46 शवों में से 21 की पहचान हो गई। अब तक 160 से ज़्यादा लोगों को बचाया जा चुका है और उनमें से 38 की हालत गंभीर बताई जा रही है।
मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका
अधिकारियों ने कहा है कि मृतकों की संख्या बढ़ सकती है क्योंकि और लोगों के फंसे होने की आशंका है। उन्होंने कहा कि हमने शवों की तस्वीरें उनके साथ साझा की हैं ताकि उनकी पहचान की जा सके। उन्होंने आगे कहा कि बादल फटने के बाद लोग अपने परिवार के सदस्यों का पता लगाने के लिए फोन कर रहे हैं।
गुरुवार को, जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने चोसिटी गांव से लगभग 15 किलोमीटर दूर पद्दार में अचानक आई बाढ़ के बाद लोगों और तीर्थयात्रियों की सहायता के लिए एक नियंत्रण कक्ष-सह-सहायता डेस्क स्थापित किया।
हेल्पलाइन नंबर जारी
नियंत्रण कक्ष के लिए पांच अधिकारियों को ड्यूटी पर लगाया गया है। हेल्पलाइन के लिए प्रशासन ने कुछ नंबर जारी किए हैं। ये नंबर हैं: 9858223125, 6006701934, 9797504078, 8492886895, 8493801381, और 7006463710।
इस बीच, ग्रामीणों ने बताया कि उन्होंने चिनाब नदी में 10 शव तैरते हुए देखे हैं और उन्हें निकालने के प्रयास भी जारी हैं। वहीं, भूस्खलन और मलबे के साथ आई बाढ़ ने घरों, दुकानों और वाहनों को दफन कर दिया, जिससे कई लोग हताहत हुए और कई लोग लापता हो गए।
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