Himachal News: निजी अस्पताल में सरकारी डॉक्टर ने किया ऑपरेशन, लापरवाही से महिला की मौत
ऊना के एक निजी अस्पताल में ऑपरेशन के दौरान एक महिला की मौत हो गई जिसके बाद परिजनों ने जमकर हंगामा किया। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। महिला की मौत के कारणों का पता लगाया जा रहा है। क्षेत्रीय अस्पताल ऊना के एमएम डॉ. संजय मनकोटिया ने बताया कि निजी अस्पताल में महिला की मौत कैसे हुई। इसके बारे में कोई जानकारी नहीं है।

जागरण संवाददाता, ऊना। जिला मुख्यालय से सटे रक्कड़ कालोनी स्थित एक निजी अस्पताल में ऑपरेशन के दौरान महिला की मौत हो गई। महिला की मौत के बाद सोमवार देर रात स्वजनों ने जमकर रोष व्यक्त किया। पुलिस ने अस्पताल में पहुंचकर महिला के शव को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए टांडा अस्पताल में भेजा है।
पुलिस ने ऊना के क्षेत्रीय अस्पताल में तैनात चिकित्सक व निजी अस्पताल के खिलाफ जनकप्रीत कौर पुत्री महेन्द्र सिंह निवासी गांव मजारी डाकखाना भलडी तहसील नंगल, जिला रोपड पंजाव की शिकायत पर मामला दर्ज करके आगामी कार्रवाई शुरी की।
'सरकारी स्टाफ को निजी क्षेत्र में सेवा देने का अधिकार नहीं'
वहीं, क्षेत्रीय अस्पताल ऊना के एमएम डॉ. संजय मनकोटिया ने बताया कि निजी अस्पताल में महिला की मौत कैसे हुई। इसके बारे में कोई जानकारी नहीं है। लेकिन आरोपित चिकित्सक के खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई है। इसलिए अस्पताल प्रबंधन की तरफ से विस्तार से रिपोर्ट बनाकर विभाग को शिमला भेजी जाएगी।
क्योंकि किसी भी सरकारी अस्पताल में नियुक्त स्टाफ को निजी क्षेत्र में सेवाएं देने का कोई अधिकार नहीं होता। उन्होंने कहा कि क्षेत्रीय अस्पताल के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की जाएगी।
'हम खुद करेंगे ऑपरेशन, इस अस्पताल में आना'
बता दें, ऊना के क्षेत्रीय अस्पताल से सटे भलड़ी गांव के महेन्द्र सिंह अपनी पत्नी को रसोली के ऑपरेशन को लेकर गए थे। लेकिन वहां पर तैनात महिला चिकित्सक ने यह कहकर भेज दिया कि यहां पर सुविधाएं उपलब्ध नहीं है। इसलिए रक्कड़ कॉलोनी स्थित निजी अस्पताल में ले जाएं।
वह स्वयं आकर ऑपरेशन करेंगी। इसके बाद महिला चिकित्सक ने मंगलवार को ऑपरेशन किया। लेकिन उसके बाद महिला की तबीयत खराब हाे गई और बाद में मौत हो गई। इसके बाद वहां पर परिजनों की तरफ से जमकर प्रदर्शन किया गया।
वहीं, जिला के एसपी राकेश सिंह ने बताया कि एक अस्पताल में महिला की मौत हो गई। ऊना पुलिस थाना की टीम मौके पर पहुंची। पुलिस ने मामला दर्ज करके आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है।
रोगी को दी एक्सपायरी दवा
अपने इलाज करवाकर स्वस्थ होने की उम्मीद लेकर नेरचौक मेडिकल कॉलेज आने वाले मरीजों को बीमार करने की तैयारी मेडिकल कॉलेज कर रहा है। यहां पर तीन महीने पुरानी एक्सपायर दवा मरीजों को दी जा रही है। बुधवार को बंजार से आए बुजुर्ग दंपती के साथ यह वाक्या हुआ है।
उनको दर्द निवारक सिक्लोफनेक दवा दी गई, जो नौ सितंबर 2024 में एक्सपायर हो चुकी है। बाजार से दवा लेने के लिए पहुंचे यह 70 वर्षीय बुजुर्ग नियमित रूप से अपनी जांच के लिए नेरचौक मेडिकल कॉलेज आए थे। यहां पर इनको डॉक्टर की ओर से लिखी गई सिक्लोफनेक दवा दर्द से राहत देने के लिए लिखी गई थी।
बुजुर्ग ने यह दवा अस्पताल के अंदर ही निशुल्क मिलने वाली फार्मेसी से ली और अपने घर के लिए चले गए, लेकिन जब इनके बच्चों ने दवा को जांचा तो यह नौ सितंबर 2024 को अपनी समयावधि पूरी कर चुकी थी।
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