हिमाचल में 500 मिलीलीटर से कम साइज की बोतलों पर बैन, गाड़ियों में डस्ट बिन लगाना जरूरी; न लगाने पर लगेगा जुर्माना
हिमाचल प्रदेश में 1 जून से सरकारी कार्यक्रमों में 500 मिलीलीटर से कम की पानी की बोतलों पर रोक लगा दी गई है। प्लास्टिक कटलरी पर पहले से ही पाबंदी है। वहीं वाहनों में कचरा इकट्ठा करने के लिए बिन्स लगाना अनिवार्य किया गया है ऐसा न करने पर 10000 रुपये जुर्माना लगाया जाएगा। कचरा इधर-उधर फेंकने पर भी 1500 रुपये जुर्माना लगेगा। यह रूल 29 अप्रैल से लागू होंगे।

राज्य ब्यूरो, शिमला। हिमाचल प्रदेश के सभी सरकारी विभागों, बोर्ड व निगमों के साथ-साथ अन्य संस्थाओं द्वारा आयोजित किए जाने वाले सम्मेलनों, बैठकों व कार्यक्रमों में 500 मिलीलीटर से कम की बोतल बंद पानी के उपयोग पर एक जून से रोक लगा दी है।
प्लास्टिक कटलरी पर रोक लगाने वाला पहला राज्य
अधिसूचना के अनुसार, 500 मिलीलीटर क्षमता तक की प्लास्टिक की पानी की बोतलों के उपयोग पर रोक रहेगी। इसके साथ-साथ प्लास्टिक कटलरी पर पाबंदी लगाने वाला हिमाचल देश का पहला राज्य है।
प्लास्टिक से पर्यावरण को नुकसान
पर्यावरण विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के निदेशक डीसी राणा ने बताया कि यह निर्णय प्लास्टिक से बनी पानी की छोटी बोतलों के अत्यधिक उपयोग से पर्यावरण को भारी नुकसान होने के कारण लिया गया है। यह प्रतिबंध हिमाचल प्रदेश पर्यटन विकास निगम के होटलों सहित सभी निजी होटलों पर भी लागू होगा।
गाड़ियों में लगाने होंगे डस्ट बिन
राणा ने कहा कि राज्य सरकार ने सभी टैक्सी चालकों , सरकारी और निजी सार्वजनिक परिवहन वाहनों में कार डस्ट बिन लगाना भी अनिवार्य किया है ताकि वाहन में उत्पन्न कचरे को एकत्रित कर निर्धारित स्थानों पर फेंका जा सके। उन्होंने कहा कि क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी और मोटर वाहन निरीक्षक अब केवल उन्हीं वाहनों को पास करेंगे या पंजीकरण देंगे , जिनमें कार बिन्स लगाए गए हों। इसके लिए अधिकारियों को निरीक्षण की शक्तियां भी प्रदान की गई हैं।
10 हजार रुपये का जुर्माना
प्रदेश सरकार ने वाहन में कार बिन्स न लगाने पर 10 हजार रुपये और जैव कचरा इधर-उधर फेंकने पर 1500 रुपये का जुर्माना निर्धारित किया है। यह प्रावधान आगामी 29 अप्रैल से पूरे राज्य में लागू होंगे।

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