Sonipat News: छह माह में शहरवासियों को सीवरेज समस्या से निजात दिलाने को एसएमडीए और नगर निगम ने मिलाया हाथ, किए जाएंगे ये काम
सोनीपत में सीवर समस्या से निजात दिलाने के लिए राठधना और डीक्रस्ट एसटीपी की क्षमता बढ़ेगी। एसएमडीए और नगर निगम मिलकर काम करेंगे। राठधना एसटीपी की क्षमता 30 से 60 एमएलडी होगी। शंभूदयाल डिस्पोजल बंद होगा सीवरेज ककरोई एसटीपी में जाएगा। सीवर संबंधी शिकायतें बढ़ीं दिसंबर तक प्लान लागू होगा।

जागरण संवाददाता, सोनीपत : दिसंबर के अंत तक शहरवासियों को सीवर समस्याओं से निजात मिलने की उम्मीद जगी है। हाल समय में शहर में सीवर समस्याएं अधिक होने से लोग भारी परेशानी झेल रहे हैं।
राठधना और डीक्रस्ट के पीछे एसटीपी की क्षमता बढ़ाने के लिए नगर निगम और सोनीपत विकास प्राधिकरण ने हाथ मिलाया है। राठधना एसटीपी की को 30 से 60 एमएलडी करने के लिए 90 करोड़ के टेंडर की तैयारी है ।
एसएमडीए ने दिसंबर के अंत तक काम पूरा करने का लक्ष्य रखा है। वहीं डीक्रस्ट के पीछे तीन एमएलडी के एसटीपी को साढ़े सात एमएलडी का किया जाएगा। इसका शोधित पानी वेस्ट टू एनर्जी प्लांट और डीक्रस्ट में इस्तेमाल करने की योजना है।
25 एमएलडी के ककरोई एसटीपी को पूरी क्षमता से चलाया जाएगा
25 एमएलडी के ककरोई एसटीपी को पूरी क्षमता से चलाया जाएगा, अभी यहां 10 एमएलडी सीवरेज शोधित किया जा रहा है।
इसके साथ ही शंभूदयाल डिस्पोजल को बंद किया जाएगा, यहां पहुंचने वाले दूषित पानी को ककरोई एसटीपी में ले जाया जाएगा। नगर निगम तिरंगा चौक के पास मुख्य सीवर लाइन में कनेक्शन कर एसटीपी तक पहुंचाएगा।
सहायक पर्यावरण अभियंता को निलंबित किया गया
पिछले महीने राठधना एसटीपी से 20 एमएलडी सीवरेज को बिना ट्रीट किए यमुना में बहा देने के बाद हरियाणा प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने सोनीपत में तैनात सहायक पर्यावरण अभियंता रविंद्र कुमार को निलंबित कर दिया था।
जांच में पता चला था कि अधिकारी को पता था कि एसटीपी की क्षमता 30 एमएलडी की है जबकि वहां पर 50 एमएलडी सीवरेज पहुंच रहा था, ऐसे में 20 एमएलडी पानी को बिना ट्रीट किए यमुना में भेजा रहा था।
इसके बाद से निगम क्षेत्र में रोजाना के कुल सीवरेज, कुल ट्रीटमेंट और निगम के एसटीपी की क्षमता का आंकलन किया गया है। इसके साथ ही निगम क्षेत्र की बढ़ती आबादी को देखते हुए भविष्य की कार्ययोजना तैयार की गई है।
10 एमएलडी पानी सीवर लाइनों में भरा, शिकायतें 32 प्रतिशत बढ़ीं
राठधना एसटीपी में क्षमता से अतिरिक्त पानी नहीं भेजा जा रहा था। अब इसे रोके जाने पर करीब 10 एमएलडी दूषित पानी शहर की विभिन्न सीवर लाइनों में भरा हुआ है।
इससे शहर में सीवर ओवरफ्लो की समस्याएं बढ़ गई हैं। नगर निगम कार्यालय में सीवर समस्याओं से संबंधित शिकायतों में करीब 32 प्रतिशत की बढ़ोतरी हो गई है।
निगम के समाधान शिविर में एक दिन में आईं 125 शिकायतों में 40 सीवर ओवरफ्लो की पहुंची हैं। मानसून के सीजन में शहर में भारी जलभराव होने की आशंका है क्योंकि अब राठधना एसटीपी में क्षमता से अधिक सीवरेज नहीं भेजा जा रहा।
हमने निगम क्षेत्र के कुल सीवरेज के हिसाब से अपने संसाधनों का आंकलन किया है। दो एसटीपी की क्षमता बढ़ाने की योजना है। यह काम एसएमडीए करेगा। टेंडर तैयार है। जल्द इसे मंजूरी मिल जाएगी। सीवर समस्याओं के समाधान के लिए भविष्य का एक्शन प्लान बना लिया गयर है। दिसंबर तक इसे लागू कर दिया जाएगा।
- हर्षित कुमार, आयुक्त, नगर निगम
कार्यकारी अभियंता को शोकाज नोटिस
राठधना एसटीपी से बिना शोधन के पानी को यमुना में बहाने के मामले में नगर निगम ने अपने एक्सईएन विशाल गर्ग और एसडीओ को शोकाज नोटिस जारी किया है।
वहीं एसडीओ का तबादला दूसरे जिले में हो जाने के कारण अब एक्सईएन इसका जवाब देंगे। एसटीपी में क्षमता से 20 एमएलडी दूषित पानी अधिक भेजने के लिए एक्सईएन व एसडीओ को जिम्मेदार माना था।
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