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    हरियाणा में आयुष्मान कार्ड पर तकरार जारी, नायब सरकार ने जारी किए 300 करोड़, फिर भी अस्पताल हड़ताल पर अड़े

    Updated: Wed, 06 Aug 2025 02:49 PM (IST)

    इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आइएमए) हरियाणा ने आयुष्मान कार्डधारकों का इलाज बंद करने की चेतावनी दी है जिसके चलते सरकार ने 300 करोड़ रुपये जारी किए हैं लेकिन आइएमए हड़ताल पर अड़ा है। आइएमए का कहना है कि जारी राशि पुराने बिलों की है और जून-जुलाई के बिल अभी भी बाकी हैं।

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    हरियाणा में नायब सरकार ने जारी किए 300 करोड़ (फाइल फोटो)

    राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आइएमए) हरियाणा द्वारा सात अगस्त से आयुष्मान कार्डधारकों का इलाज नहीं करने की चेतावनी के बीच राज्य सरकार ने प्राइवेट अस्पतालों के बिलों की प्रतिपूर्ति करते हुए 300 करोड़ रुपये जारी किए हैं।

    यह राशि अभी प्राइवेट अस्पताल संचालकों के खातों में नहीं पहुंची है। सरकारी प्रक्रिया के तहत इस राशि के पहुंचने में दो से सात दिनों का समय लग सकता है। आइएमए ने कहा है कि राज्य सरकार द्वारा जारी की गई राशि पुराने अप्रैल व मई माह के बिलों की है।

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    हड़ताल पर अड़िग आइएमए

    अभी भी जून और जुलाई के बिलों का भुगतान बाकी है। इसलिए सात अगस्त की रात 12 बजे से होने वाली हड़ताल के फैसले पर आइएमए अडिग है।

    राज्य के प्राइवेट अस्पतालों को 300 करोड़ रुपये से अधिक की राशि जारी करने के दौरान हरियाणा के स्वास्थ्य महानिदेशक डॉ. मनीष बंसल ने आशंका जताई कि योजना के क्रियान्वयन में कहीं न कहीं अनियमितता बरती जा रही है। इसकी जांच चल रही है।

    आइएमए हरियाणा के अध्यक्ष डॉ. महावीर पी जैन और पूर्व अध्यक्ष डॉ. अजय महाजन ने कहा है कि मुख्य समस्या बिलों का भुगतान नहीं, बल्कि बजट अलॉट कराना और उसे जारी नहीं कर पाने की है। लंबे समय से ऐसा होता आ रहा है। स्वास्थ्य विभाग तिमाही तौर पर बजट का अलाटमेंट करवाता है और उसे जारी करने में समय लेता है।

    650 प्राइवेट अस्पतालों में नहीं होगा इलाज

    आइएमए ने कहा है कि जब तक बजट एकमुश्त अलाट नहीं होता और उसे जारी करने की प्रक्रिया को सुचारू नहीं बनाया जाता, तब तक समस्या बनी रहेगी। इसलिए सात अगस्त की रात 12 बजे के बाद से राज्य के 650 प्राइवेट अस्पतालों में आयुष्मान कार्ड धारकों का इलाज नहीं होगा।

    दूसरी तरफ, सरकार भी इस बार आइएमए के दबाव में आने के मूड में नहीं है। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने अस्पतालों द्वारा दाखिल बिलों की तह में जाना चालू कर दिया है, ताकि अनियमितताओं के प्रमाण मिलने की स्थिति में उन्हें सार्वजनिक किया जा सके।

    आइएमए ने कहा है कि सरकार का यह रवैया अपनी कमियां छिपाने के लिए है। हरियाणा सरकार की ओर से मंगलवार शाम को कहा गया है कि चार अगस्त को बजट प्राप्त हो गया है।

    एफआइएफओ के आधार पर हो रहा भुगतान पैनलबद्ध अस्पतालों को “पहले आओ, पहले पाओ” (एफआइएफओ) के आधार पर “आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना” के तहत बकाया पैसे का भुगतान शुरू कर दिया गया है।

    स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ने मई 2025 के पहले सप्ताह तक पैनलबद्ध अस्पतालों द्वारा प्रस्तुत दावों का निपटान और भुगतान कर दिया है। योजना की शुरुआत से अब तक अस्पतालों को कुल 2,900 करोड़ रुपये वितरित किए जा चुके हैं।