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    हवा खिलाफ और समस्याओं का पहाड़, हौसले पर सवार होकर छू लिया आसमान; पढ़िए दिव्यांग अमन धवन की Success Story

    Updated: Fri, 10 Jan 2025 03:11 PM (IST)

    दिव्यांग अमन धवन ने दुनिया के सबसे ऊंचे मोटरेबल पास उमलिंग ला पर चढ़ाई करके इतिहास रच दिया है। अमन ने यह उपलब्धि रेट्रोफिटेड बाइक पर हासिल की है। उन्होंने अक्टूबर 2024 में दादरी स्थित निवास स्थान से उमलिंग ला पास तक पहुंचने और वापस घर तक करीब 2800 किमी की यात्रा अपनी रेट्रोफिटेड रायल इनफील्ड बाइक पर तय की थी।

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    हौसले पर सवार होकर छू लिया आसमान; पढ़िए दिव्यांग अमन धवन की Success Story। (जागरण फोटो)

    सचिन गुप्ता, चरखी दादरी। दादरी के घिकाड़ा रोड निवासी अमन धवन जन्म के करीब डेढ़ माह बाद ही गलत इंजेक्शन लगने की वजह से 70 प्रतिशत पैरों से दिव्यांग हो गए थे। मन में अपने जैसे दिव्यांगों को दुनिया के साथ कदमताल की प्रेरणा भरने की ठान ली। अपनी जिद को मंजिल तक पहुंचाने के लिए दिव्यांगजनों के तत्वाधान में दिल्ली से नेपाल के काठमांडू तक आयोजित पहली अंतरराष्ट्रीय बाइक यात्रा में भी भाग लिया। प्रतिष्ठा मिली। प्रण आगे बढ़ा।

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    दादरी से लेह के रास्ते पर दारचा तक करीब 1700 किमी और समूह में उत्तराखंड के टहरी गढ़वाल तक बाइक यात्रा की। फिर, अक्टूबर 2021 में दुनिया की सबसे ऊंची जागरूकता बाइक रैली में भाग लिया। अब अक्टूबर 2024 में रेट्रोफिटेड बाइक पर समुद्र तल से 19024 फीट की ऊंचाई पर लद्दाख स्थित विश्व के सबसे ऊंचे मोटरेबल पास उमलिंग ला का शिखर छू लिया।

    33 वर्ष के अमन ने उमलिंग ला में पहुंच इंटरनेशनल बुक आफ रिकार्ड्स में नाम दर्ज करा लिया। यह रिकार्ड अमन के लिए आसान नहीं था। वह बताते हैं कि उन्होंने 12 अक्टूबर को रेट्रोफिटेड बाइक पर यात्रा शुरू की थी।

    होटल में हो रही थी बड़ी दिक्कत

    मनाली, श्रीनगर, कारगिल, लेह इत्यादि क्षेत्र होते हुए वे उमलिंग ला पास पर पहुंचे। लेकिन वापसी कठिन थी। 21 अक्टूबर को नकीला पास पर पहुंचे तो अचानक बर्फबारी शुरू हो गई। लेकिन हिम्मत नहीं हारी और बेहद धीमी गति से आगे बढ़ते रहे। श्रीनगर व आसपास के क्षेत्र में लगभग सभी होटल में ग्राउंड फ्लोर पर कमरे नहीं हैं। ऐसे में उन्हें भारी ठंड में काफी मशक्कत कर होटलों में पहली मंजिल पर बने कमरों तक पहुंचना पड़ा।

    रॉयल इनफील्ड बाइक पर तय की थी यात्रा

    श्रीनगर से आगे कारगिल होते हुए उमलिंग ला पास तक कई-कई किमी के दायरे में कोई दुकानें नहीं है। इस स्थिति में वहां तैनात भारतीय सेना के जवानों ने उनका हौंसला बढ़ाया और संपर्क सूत्र तक साझा किए। हौसले की पीठ पर सवार होकर उपलिब्ध का आसमान छू लिया। उन्होंने अक्टूबर 2024 में दादरी स्थित निवास स्थान से उमलिंग ला पास तक पहुंचने और वापस घर तक करीब 2800 किमी की यात्रा अपनी रेट्रोफिटेड रायल इनफील्ड बाइक पर तय की थी।

    बैंक में सीनियर मैनेजर हैं अमन धवन

    वर्ष 2016 में उन्होंने हिसार स्थित हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय से एग्रीकल्चर विषय में एमएससी की डिग्री प्राप्त की। चार जुलाई 2016 को वे पंजाब नेशनल बैंक में भर्ती हो गए थे। वर्तमान में वे महेंद्रगढ़ जिले के गांव सेहलंग स्थित पीएनबी में वरिष्ठ प्रबंधक के पद पर कार्यरत हैं।

    कर चुके हैं कई बाइक यात्रा

    दिव्यांग अमन धवन लोगों को नारी सशक्तीकरण सहित अन्य सामाजिक विषयों के प्रति जागरूक करने के उद्देश्यों को लेकर दुनिया की सबसे ऊंची जागरूकता बाइक रैली इत्यादि में भी सफलतापूर्वक भाग ले चुके हैं।

    दिव्यांगों के अधिकारों और सुविधाओं की आवाज उठाने के लिए वे दिव्यांगजनों द्वारा दिल्ली से नेपाल के काठमांडू तक आयोजित पहली अंतरराष्ट्रीय बाइक यात्रा में भी भाग ले चुके हैं। अमन धवन ने अक्टूबर 2021 में दुनिया की सबसे ऊंची जागरूकता बाइक रैली में भाग लिया था।

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