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    नए और पुराने गुरुग्राम की कनेक्टिविटी होगी बेहतर, साइबर सिटी में मेट्रो विस्तार से बदलेगी तस्वीर

    Updated: Fri, 05 Sep 2025 05:09 PM (IST)

    साइबर सिटी में मेट्रो विस्तार का काम शुरू हो गया है जिससे नए और पुराने गुरुग्राम की कनेक्टिविटी बेहतर होगी। 28.5 किलोमीटर लंबे इस काॅरिडोर में 27 स्टेशन होंगे और इसके निर्माण पर 5452.72 करोॅड़ रुपये खर्च होंगे। इसका लक्ष्य दिसंबर 2028 तक पूरा करना है जिससे ट्रैफिक और प्रदूषण की समस्या कम होगी। यह काॅरिडोर रिंगमेन सिस्टम की तरह काम करेगा जिससे प्रतिदिन लाखों लोग लाभान्वित होंगे।

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    मेट्रो विस्तार से बदलेगी साइबर सिटी की तस्वीर।

    जागरण संवाददाता, गुरुग्राम। लंबे इंतजार के बाद पांच सितंबर से साइबर सिटी में मेट्रो विस्तार का कार्य शुरू हो गया। दो चरण में विस्तार किया जाना है। फिलहाल पहले चरण का कार्य शुरू किया गया है। जल्द ही दूसरे चरण का भी काम शुरू होगा।

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    प्रोजेक्ट के पूरा होने के बाद जहां नए एवं पुराने गुरुग्राम की कनेक्टिविटी बेहतर होगी वहीं ट्रैफिक का दबाव कम होगा। ट्रैफिक का दबाव कम होने से प्रदूषण का स्तर कम होगा। ट्रैफिक जाम एवं प्रदूषण की समस्या की वजह से भी साइबर सिटी की किरकिरी होती रहती है।

    नया काॅरिडोर मिलेनियम सिटी सेंटर गुरुग्राम मेट्रो स्टेशन के आगे से शुरू होकर रिहायशी इलाकों के साथ ही सेक्टर-37, सेक्टर-34, बसई औद्योगिक क्षेत्र,कादीपुर औद्योगिक क्षेत्र, दौलताबाद औद्योगिक क्षेत्र, उद्योग विहार से होकर गुजरेगा।

    डिजाइन इस तरह से तैयार किया गया है कि कारिडोर पुराने गुरुग्राम के इलाकों से होते हुए एंबियंस माल के सामने रैपिड मेट्रो स्टेशन से जुड़ जाएगा। मेट्रो स्टेशनों से शहर में कहीं भी जाने के लिए बाइक व कार की सुविधा उपलब्ध होगी। यह सुविधा मेट्रो के कार्ड से उपलब्ध होगी।

    इससे लाभ यह होगा कि लोगों को शहर के अधिकतर इलाकों में जाने के लिए अपने निजी वाहनों का इस्तेमाल नहीं करना पड़ेगा। 

    मेट्रो विस्तार का पूरा प्रोजेक्ट

    • प्रोजेक्ट का निर्माण गुरुग्राम मेट्रो रेल लिमिटेड करेगी
    • नया काॅरिडोर 28.5 किलोमीटर लंबा होगा
    • काॅरिडोर पर कुल 27 स्टेशन होंगे
    • आठ मेट्रो स्टेशन माॅडल स्टेशन होंगे
    • कुल 35 ट्रेनें नए काॅरिडोर पर चलेंंगी
    • दिसंबर 2028 तक प्राेजेक्ट पूरा करने का लक्ष्य
    • फिलहाल कोचों की संख्या तीन होगी
    • बाद में कोचों की संख्या छह की जाएगी
    • ट्रेनों की अधिकतम स्पीड 80 किलोमीटर प्रति घंटा होगी
    • निर्माण पर लगभग 5,452.72 करोड़ रुपये खर्च होंगे
    • हरियाणा एवं केंद्र सरकार संयुक्त रूप से निर्माण पर खर्च करेगी
    • हरियाणा सरकार 4,556.53 करोड़ रुपये खर्च करेगी
    • केंद्र सरकार 896.19 करोड़ रुपये खर्च करेगी

    इन स्थानों पर बनाए जाएंगे स्टेशन

    नए काॅरिडोर पर सबसे पहला स्टेशन मिलेनियम सिटी सेंटर गुरुग्राम मेट्राे स्टेशन से आगे सेक्टर-45 होगा। इसके बाद साइबर पार्क, सेक्टर-47, सुभाष चौक, सेक्टर-48, सेक्टर-72ए, हीरो होंडा चौक, उद्योग विहार फेज-छह, सेक्टर-10, सेक्टर-37, बसई गांव, सेक्टर-9, सेक्टर-सात में स्टेशन बनेंगे।

    इससे आगे सेक्टर-चार, सेक्टर-पांच, अशोक विहार, सेक्टर-तीन, बजघेड़ा रोड, पालम विहार एक्सटेंशन, पालम विहार, सेक्टर-23ए, सेक्टर-22, उद्योग विहार फेज-चार, उद्योग विहार फेज-पांच एवं साइबर हब के नजदीक स्टेशन होगा। पहले चरण में सेक्टर-9 तक यानी लगभग साढ़े 15 किलोमीटर मेट्रो का विस्तार होगा।

    रिंगमेन की तरह हो जाएगा काॅरिडोर

    साइबर सिटी के कुछ इलाकों में ही फिलहाल दिल्ली मेट्रो एवं रैपिड मेट्रो की सुविधा है। नए काॅरिडोर का विस्तार के बाद काॅरिडोर रिंगमेन सिस्टम की तरह दिखाई देगा।

    मिलेनियम सिटी गुरुग्राम मेट्रो स्टेशन के आगे से शुरू होने वाला नया काॅरिडोर एंबियंस माल के सामने रैपिड मेट्रो स्टेशन से जुड़ जाएगा। इससे शहर के अधिकतर इलाके के लोग कहीं से भी अपने इलाके में जाने के लिए मेट्रो की सुविधा का लाभ उठा सकेंगे।

    फिलहाल अनुमान है कि प्रतिदिन औसतन 10 लाख लोग सुविधा का लाभ उठाएंगे। आने वाले समय में रेजांगला चौक से दिल्ली के द्वारका तक एवं सेक्टर-56 से पचगांव चौक तक मेट्रो का विस्तार किए जाने की योजना है।

    दोनों काॅरिडोर के विकसित होने के बाद प्रतिदिन औसतन 20 लाख लोगों द्वारा मेट्रो की सुविधा हासिल करने की उम्मीद है।

    मेट्रो विस्तार से साइबर सिटी की तस्वीर बदल जाएगी। पुराने गुरुग्राम में ट्रैफिक का दबाव अधिक है। मेट्रो विस्तार से न केवल ट्रैफिक का दबाव कम होगा बल्कि प्रदूषण का स्तर कम होगा।

    फिलहाल कई इलाकों में ट्रैफिक का दबाव इतना अधिक है कि पीक आवर के दौरान कुछ किलोमीटर की दूरी तय करने में काफी समय लगता है।

    इसे देखते हुए निर्धारित समय सीमा के भीतर प्रोजेक्ट पूरा करने का लक्ष्य प्रदेश सरकार ने रखा है। इसे ध्यान में रखकर ही दो पैकेज में बांटकर काम करने का निर्णय लिया गया है।

    -- मुकेश शर्मा, विधायक, गुड़गांव

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